हमीरपुर: मानसून सत्र के दौरान पुरानी पेंशन बहाली के मुद्दे पर अब कर्मचारी परिवारों सहित सड़कों पर उतर कर राजधानी शिमला में सरकार को घेरेंगे. राजधानी में नई पेंशन कर्मचारी महासंघ के बैनर तले मॉनसून सत्र के दौरान बड़ा प्रदर्शन होगा. यह प्रदर्शन 3 मार्च को हुए महा प्रदर्शन से कहीं अधिक होगा. इस प्रदर्शन में एक लाख से अधिक कर्मचारी और कर्मचारियों के परिजनों को (New Pension Scheme Karamchari Mahasangh) जुटाए जाने का लक्ष्य रखा गया है. न्यू पेंशन कर्मचारी महासंघ की हमीरपुर में आयोजित राज्य स्तरीय कार्यकारिणी की बैठक में यह निर्णय लिया गया है. इस बैठक की अध्यक्षता महासंघ के अध्यक्ष प्रदीप ठाकुर ने की.
इस बैठक में (meeting of New Pension Employees Federation in Hamirpur) प्रदेश कार्यकारिणी के पदाधिकारी और प्रदेश के सभी जिलों के अध्यक्ष मौजूद रहे. इस बैठक में सभी कर्मचारी नेताओं ने काले बिल्ले लगाए और कहा कि 15 मई को ब्लैक डे के रूप में मनाया जा रहा है. 15 मई 2003 को नई पेंशन योजना प्रदेश में लागू हुई थी जिसके चलते प्रदेश भर में कर्मचारियों द्वारा ब्लैक डे वीक मनाया जा रहा है. बैठक के बाद मीडिया कर्मी से रूबरू होते हुए महासंघ के प्रदेश अध्यक्ष प्रदीप ठाकुर ने कहा कि प्रदेश कार्यकारिणी के बैठक में कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं जिसमें सबसे अहम निर्णय मानसून सत्र के दौरान प्रदर्शन का है.
उन्होंने कहा कि पिछले 3 मार्च को महासंघ ने इतिहास रचते हुए एक बड़ा प्रदर्शन किया था, लेकिन अभी तक पुरानी पेंशन योजना बहाल नहीं हो पाई है. पुरानी पेंशन बहाली के लिए इस बैठक में आगामी रणनीति बनाई गई है. अब मानसून सत्र के दौरान बड़ा प्रदर्शन (NPS employees protest in Shimla) राजधानी शिमला में किया जाएगा. बैठक में कई सदस्यों द्वारा यह सुझाव दिया गया है कि इस प्रदर्शन में वह अपने परिवार के सदस्यों को भी लाना चाहते हैं. पिछली बार प्रदर्शन में लगभग 70000 के कर्मचारी शामिल हुए थे अब यह आंकड़ा एक डेढ़ लाख से अधिक होगा.
इस बड़े प्रदर्शन से (Demand for NPS employees in Himachal) पहले जिला स्तर पर महासंघ सम्मेलन आयोजित करेगा. जिला स्तरीय बैठकों में आंदोलन को लेकर रूपरेखा विस्तार से तैयार की जाएगी. उन्होंने कहा कि किसी समय मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर महासंघ से जुड़े हुए कर्मचारियों को मिलने का समय तक नहीं देते थे लेकिन अब बीच का रास्ता निकालने की बात कह रहे हैं. उन्होंने विश्वास जताया कि महासंघ और कर्मचारियों का संघर्ष जरूर पुरानी पेंशन को बहाल करवाएगा.