सोनीपत: गोहाना शहर में कर्मचारी संगठनों ने सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. अपनी विभिन्न मांगों को लेकर मजदूरों ने कहा कि सरकार कोरोना की आड़ में कई काले कानून बना रही है. ये कानून मजदूर विरोधी है. इस कानून को बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
बता दें कि ये मजदूरों की मांग को लेकर जन संघर्ष मंच ने बेरोजगारी के खिलाफ मोर्चा खोला. जन संघर्ष मंच के बैनर के साथ अन्य सामाजिक संगठनों ने बढ़ रही बेरोजगारी और मजदूरों के ऊपर लगाए गए जा कानून के विरोध में प्रदर्शन करते हुए जुलूस निकाला.
उन्होंने सरकार से मांग की है कि लॉकडाउन के दौरान जिन मजदूरों का रोजगार खत्म हो गया है उनको सरकार आर्थिक सहायता करें. जन संघर्ष मंच के प्रधान सीडी शर्मा ने बताया कि प्रदर्शन करने का मुख्य रूप से उद्देश्य है कि सरकार ने मजदूरों के पक्ष का कानून खत्म करके काला कानून बना दिया है.
मजदूरों ने 150 वर्षों तक अपना बलिदान देकर जो कानून बनाया था सरकार लॉकडाउन की आड़ में उसे खत्म कर रही है. उन्होंने कहा कि पहले 8 घंटे काम करने का कानून था लेकिन अब 12 घंटे हो चुका है और कई सरकारों ने 1000 दिन तक मजदूर कानून अपने राज्यों से खत्म कर दिया है जिसके परिणाम बहुत भयंकर होंगे.
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सीडी शर्मा ने कहा कि मुख्य रूप से यही एजेंडा है कि लॉकडाउन के दौरान बहुत सारे मजदूर बेघर हो चुके हैं जिनके पास काम नहीं है मनरेगा के तहत उनको काम दिया जाए और15 हजार रुपये हर महीने मजदूरों को दिया.