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जींद में सक्रिय हुए फर्जी जन्म प्रमाण पत्र बनाने वाले गैंग, रु 2500 में बना रहे नकली कागज - फर्जी जन्म प्रमाण पत्र बनाने वाला गैंग जींद

जींद के हर गली-मोहल्ले की दीवारों और बिजली के खंभों पर 2500 रुपये में जन्म प्रमाण पत्र बनाने के पोस्टर चिपकाए गए हैं. पोस्टर लगाने के बाद सुरक्षा एजेंसियां हरकत में आई और शहर थाना में मामला दर्ज करवाया गया है.

Gangs creating fake birth certificates in Jind
रु 2500 में नकली कागज
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Published : Feb 20, 2020, 4:58 PM IST

Updated : Feb 20, 2020, 5:03 PM IST

जींद: पूरे देश मे एनआरसी को लेकर विरोध और समर्थन के बीच गहमागहमी है जारी है. इस बीच हरियाणा के जींद में फर्जी जन्म प्रमाण पत्र बनाने का काम शुरू हो गया है. जिले के हर गली-मोहल्ले की दीवारों और बिजली खंबों पर 2500 रुपये में जन्म प्रमाण पत्र बनाने के पोस्टर चिपकाए गए हैं.

पोस्टर लगाने के बाद सुरक्षा एजेंसिया हरकत में आई और शहर थाना में मामला दर्ज करवाया गया है. स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों का कहना है की ये एक बड़ा फ्रॉड है और लोगों को इससे बचना चाहिए. मामले पर जब जींद शहर थाना प्रभारी से बात की गई तो उन्होंने बताया कि अज्ञात के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है. आरोपियों के खिलाफ धारा 420 यानी चीटिंग और अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है.

जींद में सक्रिय हुए फर्जी जन्म प्रमाण पत्र बनाने वाले गैंग

उन्होंने कहा कि इस तरह से कोई प्रमाण पत्र नही बनता है, इसलिए ये एक धोखाधड़ी है. मामले की शिकायत हरियाणा पुलिस की सुरक्षा एजेंसी में कार्यरत सुरक्षा सहायक की तरफ से की गई थी, जिसके बाद मामला दर्ज किया गया है और जांच शुरु कर दी गई है.

ये भी पढ़िए: बजट सत्र में राज्यपाल के अभिभाषण में ना सरकार की दिशा ना कोई दशा: हुड्डा

जब स्वास्थ्य विभाग के डिप्टी सिविल सर्जन से बात की गई तो उन्होंने कहा कि बाहर के किसी आदमी के पास ऐसा कोई नियम नही है कि वो जन्म प्रमाण पत्र जारी कर सके. ये सरासर एक बड़ा फर्जीवाड़ा है, जिस पर कार्रवाई होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि लोगों को इस तरह के मामले से बचना चाहिए. इसके अलावा जन्म प्रमाण पत्र अगर समय अवधि समाप्त होने पर बनवाना है तो उसके लिए 10 या 11 कागजी सबूत जैसे जन्म का सबूत, गांव या शहर में टीकाकरण का सबूत, राशन कार्ड, क्षेत्र के मुख्य आदमियों की गवाही, स्कूल रिकॉर्ड की जरूरत पड़ती है और तभी प्रमाण पत्र जारी किया जा सकता है.

कैसे मिलता है जन्म या मृत्यु प्रमाण पत्र?

जन्म प्रमाण पत्र या मृत्यु प्रमाण पत्र को लेकर नियम बिल्कुल साफ है. उन्होंने बताया कि जन्म या मृत्यु के 21 दिन तक संबंधित क्षेत्र के अधिकारियों से मुफ्त में प्राप्त किया जा सकता है. इसके बाद 21 से 28 दिन तक संबंधित स्थानीय अधिकारी इनको जारी कर सकते हैं. 28 से एक साल तक डिप्टी रजिस्ट्रार यानी सिविल सर्जन के पास इसकी पावर होती है कि वो जांच के बाद प्रमाण पत्र जारी कर सकता है. अगर एक साल से ऊपर किसी का जन्म या मृत्यु प्रमाण पत्र बनवाना है तो जिले का उपायुक्त राजस्व अधिकारी यानी कोई भी पटवारी या संबंधित तहसीलदार की जांच के बाद जारी कर सकता है.

जींद: पूरे देश मे एनआरसी को लेकर विरोध और समर्थन के बीच गहमागहमी है जारी है. इस बीच हरियाणा के जींद में फर्जी जन्म प्रमाण पत्र बनाने का काम शुरू हो गया है. जिले के हर गली-मोहल्ले की दीवारों और बिजली खंबों पर 2500 रुपये में जन्म प्रमाण पत्र बनाने के पोस्टर चिपकाए गए हैं.

पोस्टर लगाने के बाद सुरक्षा एजेंसिया हरकत में आई और शहर थाना में मामला दर्ज करवाया गया है. स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों का कहना है की ये एक बड़ा फ्रॉड है और लोगों को इससे बचना चाहिए. मामले पर जब जींद शहर थाना प्रभारी से बात की गई तो उन्होंने बताया कि अज्ञात के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया गया है. आरोपियों के खिलाफ धारा 420 यानी चीटिंग और अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है.

जींद में सक्रिय हुए फर्जी जन्म प्रमाण पत्र बनाने वाले गैंग

उन्होंने कहा कि इस तरह से कोई प्रमाण पत्र नही बनता है, इसलिए ये एक धोखाधड़ी है. मामले की शिकायत हरियाणा पुलिस की सुरक्षा एजेंसी में कार्यरत सुरक्षा सहायक की तरफ से की गई थी, जिसके बाद मामला दर्ज किया गया है और जांच शुरु कर दी गई है.

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जब स्वास्थ्य विभाग के डिप्टी सिविल सर्जन से बात की गई तो उन्होंने कहा कि बाहर के किसी आदमी के पास ऐसा कोई नियम नही है कि वो जन्म प्रमाण पत्र जारी कर सके. ये सरासर एक बड़ा फर्जीवाड़ा है, जिस पर कार्रवाई होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि लोगों को इस तरह के मामले से बचना चाहिए. इसके अलावा जन्म प्रमाण पत्र अगर समय अवधि समाप्त होने पर बनवाना है तो उसके लिए 10 या 11 कागजी सबूत जैसे जन्म का सबूत, गांव या शहर में टीकाकरण का सबूत, राशन कार्ड, क्षेत्र के मुख्य आदमियों की गवाही, स्कूल रिकॉर्ड की जरूरत पड़ती है और तभी प्रमाण पत्र जारी किया जा सकता है.

कैसे मिलता है जन्म या मृत्यु प्रमाण पत्र?

जन्म प्रमाण पत्र या मृत्यु प्रमाण पत्र को लेकर नियम बिल्कुल साफ है. उन्होंने बताया कि जन्म या मृत्यु के 21 दिन तक संबंधित क्षेत्र के अधिकारियों से मुफ्त में प्राप्त किया जा सकता है. इसके बाद 21 से 28 दिन तक संबंधित स्थानीय अधिकारी इनको जारी कर सकते हैं. 28 से एक साल तक डिप्टी रजिस्ट्रार यानी सिविल सर्जन के पास इसकी पावर होती है कि वो जांच के बाद प्रमाण पत्र जारी कर सकता है. अगर एक साल से ऊपर किसी का जन्म या मृत्यु प्रमाण पत्र बनवाना है तो जिले का उपायुक्त राजस्व अधिकारी यानी कोई भी पटवारी या संबंधित तहसीलदार की जांच के बाद जारी कर सकता है.

Last Updated : Feb 20, 2020, 5:03 PM IST
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