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20 हजार में बेची नाबालिग, एक साल बाद लौट कर सुनाई जहन्नुम की दास्तान

फरीदाबाद में 9वीं कक्षा की छात्रा का अपहरण कर उसके साथ जबरन शादी रचाने और उसको 20 हजार रुपये में बेचने का मामला सामने आया है, मामले में पुलिस की कार्यशैली पर पीड़िता के माता-पिता ने सवाल उठाए हैं

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Published : Jun 11, 2019, 12:07 AM IST

फरीदाबाद: मामला एक साल से ज्यादा पुराना है, जब फरवरी 2018 में बादशाह खान चौक से एक 14 वर्षीय लड़की अपहरण कर लिया गया और फिर 20 हजार में बेच दिया गया, इस दौरान उसे एक 45 साल के आदमी ने खरीदा और उससे काफी दिनों तक बंधक बना कर रखा और उसके साथ रेप भी किया.


पीड़िता के पिता पिछले एक साल से लगातार अपनी बेटी तलाश में जुटे हुए थे, लेकिन लाख कोशिश के बाद भी वो अपनी बेटी को नहीं ढूंढ पा रहे थे. तकरीबन 4 महीने पहले ही पुलिस ने मामले की जांच की फाइल बंद कर दी.


पीड़िता के पिता पुलिस की जांच रिपोर्ट से संतुष्ट नहीं हो पाए और उन्होंने अपने स्तर पर जांच कर फाइल को दोबारा से खुलवाया और लगातार अपनी बेटी की तलाश करते रहे फरवरी 2019 में उनके पास एक फोन आया और फोन पर उनकी बेटी ने उन्हें अपनी लोकेशन बताई, जिसके बाद पीड़िता के पिता ने उसे उस नरक से बाहर निकाला, जहां वो घुट-घुट कर जीने को मजबूर थी.


पीड़िता के पिता ने बताया कि उनकी बेटी ने उनको बताया कि उसको सबसे पहले दिल्ली ले जाया गया, जहां उसका सौदा 20,000 में मुजफ्फरनगर के रहने वाले एक 45 साल के आदमी से कर दिया गया.


आरोपी ने उसको शारीरिक और मानसिक रूप से टॉर्चर करते हुए उसके साथ कई बार रेप किया. पीड़िता के पिता ने बताया वो खुद होमगार्ड में नौकरी कर रहे हैं और पुलिस ने मामले में शुरू से ही उनकी मदद नहीं की.

क्लिक कर सुनें पूरी बातचीत.


पीड़िता की मां ने बताया कि जब वो थाने जाते थे, वहां उनकी मदद करने के बजाए उल्टे उन्हें धमकाया जाता था. पीड़िता ने खुद ईटीवी भारत पर बातचीत करते हुए अपनी आपबीती बताई. पीड़िता अभी अस्पताल में भर्ती है.


पुलिसिया कार्रवाई की बात करें तो कार्रवाई के नाम पर मात्र एक आरोपी की गिरफ्तारी की गई, जबकि 4 अन्य अभी भी पुलिस की गिरफ्त से बाहर हैं. पुलिस इस मामले में अभी कुछ भी कहने से बच रही है.

फरीदाबाद: मामला एक साल से ज्यादा पुराना है, जब फरवरी 2018 में बादशाह खान चौक से एक 14 वर्षीय लड़की अपहरण कर लिया गया और फिर 20 हजार में बेच दिया गया, इस दौरान उसे एक 45 साल के आदमी ने खरीदा और उससे काफी दिनों तक बंधक बना कर रखा और उसके साथ रेप भी किया.


पीड़िता के पिता पिछले एक साल से लगातार अपनी बेटी तलाश में जुटे हुए थे, लेकिन लाख कोशिश के बाद भी वो अपनी बेटी को नहीं ढूंढ पा रहे थे. तकरीबन 4 महीने पहले ही पुलिस ने मामले की जांच की फाइल बंद कर दी.


पीड़िता के पिता पुलिस की जांच रिपोर्ट से संतुष्ट नहीं हो पाए और उन्होंने अपने स्तर पर जांच कर फाइल को दोबारा से खुलवाया और लगातार अपनी बेटी की तलाश करते रहे फरवरी 2019 में उनके पास एक फोन आया और फोन पर उनकी बेटी ने उन्हें अपनी लोकेशन बताई, जिसके बाद पीड़िता के पिता ने उसे उस नरक से बाहर निकाला, जहां वो घुट-घुट कर जीने को मजबूर थी.


पीड़िता के पिता ने बताया कि उनकी बेटी ने उनको बताया कि उसको सबसे पहले दिल्ली ले जाया गया, जहां उसका सौदा 20,000 में मुजफ्फरनगर के रहने वाले एक 45 साल के आदमी से कर दिया गया.


आरोपी ने उसको शारीरिक और मानसिक रूप से टॉर्चर करते हुए उसके साथ कई बार रेप किया. पीड़िता के पिता ने बताया वो खुद होमगार्ड में नौकरी कर रहे हैं और पुलिस ने मामले में शुरू से ही उनकी मदद नहीं की.

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पीड़िता की मां ने बताया कि जब वो थाने जाते थे, वहां उनकी मदद करने के बजाए उल्टे उन्हें धमकाया जाता था. पीड़िता ने खुद ईटीवी भारत पर बातचीत करते हुए अपनी आपबीती बताई. पीड़िता अभी अस्पताल में भर्ती है.


पुलिसिया कार्रवाई की बात करें तो कार्रवाई के नाम पर मात्र एक आरोपी की गिरफ्तारी की गई, जबकि 4 अन्य अभी भी पुलिस की गिरफ्त से बाहर हैं. पुलिस इस मामले में अभी कुछ भी कहने से बच रही है.

Intro:फरीदाबाद में 19 वीं कक्षा की छात्रा का अपहरण कर उसके साथ जबरन शादी रचाने और उसको ₹20000 में बेचने का मामला सामने आया है इस मामले में जहां पीड़िता के पिता ने 1 साल लगातार तलाश करने के बाद उसको ढूंढ निकाला वहीं इस मामले में पुलिस की कार्यशैली पर पीड़िता के माता-पिता सवाल उठा रहे हैं


Body:फरवरी 2018 में दोपहर के समय फरीदाबाद के बादशाह खान चौक से ऑटो में बैठी 14 वर्षीय 9 वीं कक्षा की छात्रा (सोनम, बदला हुआ नाम) को एक महिला व ऑटो चालक बेहोश कर उसका अपहरण करके दिल्ली ले जाकर उसको ₹20000 में बेच देते हैं उसको खरीदने वाले की उम्र उससे तकरीबन 3 गुना ज्यादा होती है पीड़िता के साथ जबरन शारीरिक संबंध बनाए जाते हैं और पीड़िता को बंधक बनाकर घर के अंदर रखा जाता है उधर पीड़िता के पिता (सोहनलाल बदला हुआ नाम) दिन रात एक कर पीड़िता को ढूंढते रहते हैं और आखिरकार पीड़िता के हाथ एक दिन फोन लग जाता है जिससे वह अपनी जानकारी अपने पिता को देती है जिसके बाद पिता उसको उन जालिमों के चुंगल से छुड़ाकर लाता है

यह कहानी सुनने में आपको भले ही फिल्मी लगे लेकिन फरीदाबाद के गांव सोते ही निवासी सोनम और सोहन लाल के परिवार के लिए यह सच्ची घटना है पूरी घटना के बारे में जानकारी देते हुए पीड़िता के पिता सोहन लाल ने बताया कि फरवरी 2018 में उनका एक्सीडेंट हुआ जिस कारण वह बादशाह खान अस्पताल में दाखिल थे तब उनकी नौवीं कक्षा में पढ़ने वाली बेटी उनके पास ऑटो में बैठ कर आ रही थी तो बादशाह खान अस्पताल आते समय बीके चौक से उसका अपहरण कर लिया गया और अपहरण करने वाले कोई और नहीं जिस ऑटो में वह बैठ कर आ रही थी उसी ऑटो में बैठी एक महिला और उसका चालक था बेटी के नाम पहुंचने पर सोहन लाल के परिवार ने उसकी तलाश शुरू की और मामले की सूचना पुलिस को दी तकरीबन 4 महीने बाद पुलिस ने जांच कर पीड़िता की फाइल को बंद कर दिया 4 महीने बाद अस्पताल से वापस आए पीड़िता के पिता सोहन पाल पुलिस की जांच रिपोर्ट से संतुष्ट नहीं होय और उन्होंने अपने स्तर पर जांच कर फाइल को दोबारा से खुलवाया और लगातार अपनी बेटी की तलाश करते रहे फरवरी 2019 में उनके पास एक फोन आता है फोन पर उनकी बेटी उनको अपनी लोकेशन की जानकारी देती है जिसके बाद वह बड़ी समझदारी से तलाश करते हुए उसी स्थान पर पहुंचते हैं और अपनी बेटी को आरोपियों के चंगुल से छुड़ाकर ले कर आते हैं जिसके बाद पीड़िता फरीदाबाद के सिविल अस्पताल में 6 जून को एक बच्चे को जन्म देती है इस मामले में पीड़िता के पिता ने बताया कि उनकी बेटी ने उनको बताया कि उसको पहले दिल्ली ले जाया गया जहां उसका सौदा ₹20000 में मुजफ्फरनगर के रहने वाले एक 45 साल के आदमी से कर दिया गया उसको शारीरिक और मानसिक रूप से टॉर्चर किया जाता उसके साथ संबंध बनाए जाते और उसको घर में बंद रखा जाता पीड़िता के पिता ने पुलिस की कार्यवाही पर असंतोष जताते हुए कहा कि वह खुद पुलिस में होमगार्ड की नौकरी कर रहे हैं और पुलिस ने ही शुरू से इस मामले में उनकी मदद नहीं की क्योंकि अगर पुलिस मदद करती है तो वह अपनी बेटी को बहुत पहले ही ढूंढ कर ले आते पीड़िता की मां ने बताया कि जब वह थाने जाते तो उल्टा पुलिस उनको ही धमका तिथि और किसी प्रकार का सहयोग नहीं करती थी पीड़िता ने खुद ईटीवी भारत पर बातचीत करते हुए अपने टॉर्चर के बारे में बताया पीड़िता फरीदाबाद के बादशाह खान अस्पताल में दाखिल है और उसका बच्चा भी अब स्वस्थ है और पुलिस ने अभी तक इस मामले में केवल एक ही आरोपी को गिरफ्तार किया है जबकि अन्य चार आरोपी अभी पुलिस की गिरफ्त से बाहर हैं पुलिस इस मामले में अभी कुछ भी कहने से बच रही है लेकिन जहां इस मामले ने पुलिस की कार्यशैली पर सवाल लगाए । पीड़ित परिवार की मांग है कि अन्य आरोपियों को भी जल्द ही गिरफ्तार किया जाए


Conclusion:hr_fbd_chatra rape nd kidneping mamla one to one 2019_7203403
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