चंडीगढ़: हरियाणा के सरकारी स्कूलों में 4 लाख बच्चों के रजिस्ट्रेशन कम होने के मामले में पंजाब एंड हरियाणा हाईकोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाया है. हाईकोर्ट ने सीबीआई को मामले की जांच करने के आदेश दे दिए हैं.
सरकारी स्कूलों में चार लाख बोगस एडमिशन का मामला
हाईकोर्ट ने सरकारी स्कूल में बोगस प्रवेश दिखाने के मामले पर सुनवाई करते हुए सीबीआई को मामले की जांच करने के आदेश दिए हैं. हाई कोर्ट ने राज्य विजलेंस ब्यूरो को आदेश दिए हैं कि उनके पास इस मामले का जो भी रिकॉर्ड है, वो एक हफ्ते के अंदर एसपी सीबीआई चंडीगढ़ को सौप दिया जाए. इसके साथ ही हाईकोर्ट ने सीबीआई को भी तीन महीने के अंदर जांच कर रिपोर्ट कोर्ट में पेश करने को कहा है.
कोर्ट ने सीबीआई को दिए जांच के आदेश
हरियाणा के सरकारी स्कूलों में 4 लाख बोगस प्रवेश दिखाने के मामले में हाई कोर्ट ने फैसला 31 अक्टूबर को सुरक्षित कर लिया था. जिसे कोर्ट ने आज सुनाया है. हाईकोर्ट ने इस मामले की सीबीआई जांच के आदेश दे दिए है.
क्या है हरियाणा के सरकारी स्कूलों में बोगस प्रवेश का मामला ?
दरअसल मामला 2016 का है , जब गेस्ट शिक्षकों को बचाने के लिए हरियाणा सरकार ने अपील दाखिल की थी. इस दौरान कोर्ट के सामने कुछ चौंकाने वाले आंकड़े सामने आए थे. कोर्ट ने पाया था कि 2014-15 में सरकारी स्कूलों में 22 लाख छात्र थे, जबकि 2015 -16 में इनकी संख्या घटकर सिर्फ 18 लाख रह गई थी.
सरकार ने बार-बार की कोर्ट के आदेशों की अवेहलना
इसके बाद हाईकोर्ट ने हरियाणा सरकार से पूछा था कि अचानक 4 लाख बच्चे कहां गायब हो गए? इस पर हरियाणा सरकार संतोषजनक जवाब नहीं दे पाई. इस पर हाईकोर्ट ने हरियाणा सरकार को निर्देश दिया कि 4 लाख फर्जी दाखिले कर सरकारी राशि हड़पने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए. इसके लिए सरकार अधिकारियों की एक कमेटी बनाए जो ये देखें कि फर्जी दाखिले फंड का हड़पने के लिए थे या सरप्लस गेस्ट टीचर को बचाने के लिए दिखाए गए थे. इस मामले में सीनियर आईपीएस अधिकारी को जांच का जिम्मा सौंपने के आदेश दिए गए थे.
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3 महीने के अंदर सीबीआई को सौंपनी होगी रिपोर्ट
इसके बाद भी सरकार ने हाईकोर्ट के निर्देश का सही से पालन नहीं किया. सरकार ने सीनियर आईपीएस अधिकारी की जगब रिटायर सेशन जज को जांच का जिम्मा सौंप दिया गया. जिसके बाद हाईकोर्ट ने सरकार को फिर खरी-खरी सुनाई. ऐसा होने के बाद एजी ने कोर्ट को विजिलेंस से इस मामले की जांच करने की सलाह दी थी. हाईकोर्ट ने एजी की सलाह पर मामले की जांच विजिलेंस को सौंपते हुए निर्देश दिया था कि इस मामले की जांच एसपी स्तर के अधिकारी करे और उनको सहयोग के लिए शिक्षा निदेशालय के दो अधिकारी उनको सहयोग करे. लेकिन जब इस मामले विजिलेंस जांच भी स्पष्ठ नहीं हो पाई तो अब हाईकोर्ट ने सीबीआई को मामले की जांच करने के आदेश दिए हैं.