चंडीगढ़: हरियाणा विधानसभा बजट सत्र के दूसरे चरण की कार्यवाही जारी है. बजट सत्र के दूसरे चरण में मुख्यमंत्री मनोहरलाल खट्टर की तरफ से बतौर वित्त मंत्री 23 फरवरी को पेश किए गए बजट पर चर्चा की गई. इस दौरान विपक्ष ने सरकार को हरियाणा में सरपंचों का विरोध प्रदर्शन, महंगाई और बेरोजगारी जैसे मुद्दों पर घेरा. ई टेंडरिंग और राइट टू रिकॉल जैसे मुद्दे भी विपक्ष की ओर से सदन में उठाए गए.
विधानसभा के बजट सत्र के दूसरे चरण की कार्यवाही प्रश्नकाल से शुरू हुई. प्रश्नकाल के दौरान अभय चौटाला ने किसानों के कृषि ऋण का मुद्दा उठाते हुए सरकार से किसानों को दिए गए ऋण, बकाया राशि और कर्ज की जानकारी मांगी. अभय चौटाला ने सरकार से पूछा कि हरियाणा के किसानों ने बैंकों से कितना कर्ज लिया है और अभी कितना कृषि ऋण बकाया चल रहा है.
इसके साथ ही उन्होंने किसानों के कर्ज माफी के लिए सरकार द्वारा किए गए कार्यों की जानकारी भी सदन को देने की मांग की. किसानों पर बैंकों के कर्ज को लेकर सदन में जोरदार बहस हुई. सहकारिता मंत्री बनवारी लाल ने अभय चौटाला के सवाल का जवाब देते हुए बताया कि हरियाणा में 3 लाख 612 किसानों पर 2 हजार 932 करोड़ रुपए बकाया है.
पढ़ें: मिशन 2024 में जुटी हरियाणा बीजेपी, पानीपत में 19 मार्च को होगा शक्ति केंद्र संगम
वहीं, सिरसा विधायक ने सदन में थेहड़ विस्थापितों को लेकर सवाल पूछा तो विधायक गोपाल कांडा ने विस्थापितों के पुनर्वास को लेकर सरकार की ओर से किए गए कार्यों की जानकारी देने की मांग की. एमएलए गोपाल कांडा ने पूछा कि जिन लोगों को शिफ्ट किया गया था, क्या उनके पास बिजली-पानी का कनेक्शन है, अगर इनके पास बिजली-पानी का कनेक्शन है तो सरकार बताएं कि क्या वह नियमानुसार सही है.
उन्होंने सरकार से पूछा कि विस्थापितों को स्थाई तौर पर आवास कब तक दिए जाएंगे. सरकार ने इसको लेकर कोई तारीख तय की है, तो वह भी सदन को बताएं. इस दौरान उन्होंने सरकार से पूछा कि सरकार अन्य परिवारों को नहीं उजाड़ेगी, इसकी क्या गारंटी है. इस पर मंत्री कंवरपाल गुर्जर ने सदन में जवाब देते हुए बताया कि जिनके मकान गिरे हैं उन्हें सरकार मकान देगी. गौरतलब है कि हरियाणा विधानसभा का बजट सत्र 20 फरवरी से शुरु हुआ था, यह 22 मार्च तक चलेगा.
पढ़ें: ई टेंडरिंग मामला: सरपंच आज से करेंगे विधानसभा का घेराव, मांगें पूरी होने तक जारी रहेगा आंदोलन
इसके अलावा निर्दलीय विधायक बलराज कुंडू ने सरकार के सबका साथ सबका विकास के नारे पर सवाल उठाया. उन्होंने कहा कि महम में महिला कॉलेज की लगातार मांग कर रहा हूं. सरकार कोई कार्रवाई नहीं कर रही है. प्रदेश में गायों की दुदर्शा है. वोट लेने के लिए गाय की बात होती है, इसके बाद उनकी कोई सुध नहीं ली जाती. बलराज कुंडू ने अपने क्षेत्र की कई समस्याओं को सदन में रखा. उन्होंने कहा कि सरपंच छोटी सरकार है, लेकिन उन पर लाठीचार्ज किया गया और सरकार ने उन्हें दो फाड़ किया है. बलराज कुंडू ने कहा ये छोटी सरकार अपने अपमान का बदला इस बड़ी सरकार से चुनाव में लेगी.