चंडीगढ़: कांग्रेस अध्यक्ष पद से प्रदीप छाबड़ा को हटाने के बाद कांग्रेस कार्यकर्ताओं में जबरदस्त नाराज़गी देखने को मिली. मंगलवार को स्थानीय कांग्रेस की सोशल मीडिया संबंधित अध्यक्ष और पूरी टीम ने इस्तीफ़ा दे दिया. इसको लेकर सोशल मीडिया सेल के अध्यक्ष डॉक्टर मयंक पुरी ने कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी को एक चिट्ठी लिख कर नाराज़गी भी जताई है.
इस संबंध में कांग्रेस के कुछ वरिष्ठ नेताओं का कहना है कि पार्टी में ऐसी कोई प्रथा ही नहीं रही है कि बताकर अध्यक्ष पद से हटाया जाए. इसलिए इस बार भी पहले जैसा ही हुआ है कि प्रदीप छाबड़ा को प्रदेश अध्यक्ष पद से हटाने से पहले नहीं बताया गया.
सोनिया गांधी को लिखी चिट्ठी
वहीं कांग्रेस के अन्य नेताओं का कहना है कि जब बिना बताए पद से हटाने की प्रथा थी. तब कांग्रेस का देश में एक छत्र राज हुआ करता था. ऐसी प्रथा के कारण इस पार्टी का भट्ठा बैठ गया है. यही हालत रही तो आने वाले समय में इस पार्टी का नाम लेने वाला सिर्फ वही होगा, जिसने जमकर सत्ता का भोग किया है. इसलिए पार्टी के कर्णधारों और नीति निर्धारकों को सोचना पड़ेगा.
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सोनिया गांधी को लिखी गई चिट्ठी में डॉक्टर मयंक ने पुरी ने कहा है कि जैसे ही प्रदीप छाबड़ा को अचानक प्रदेश अध्यक्ष पद से हटा दिया गया. इससे पार्टी में कार्यकर्ताओं और नेताओं में सभी का मनोबल टूटा गया. मयंक के अनुसार छाबड़ा को अध्यक्ष पद से हटाने के इस निर्णय पर पहुंचने से पहले केंद्रीय नेतृत्व को सही रिपोर्ट नहीं दी गई.