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भिवानी: 45 करोड़ का सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट हुआ ठप, पानी के ओवरफ्लो से लोग परेशान

वर्ष 2014 में भिवानी के टिकट बना मोड़ पर 45 करोड़ की लागत से सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाया गया था. जिसका कार्य दूषित पानी का प्रबंधन था. जो सेक्टर 13 और 23 के पानी की पंपिंग करता था, लेकिन अब वह ठप पड़ा हुआ है.

sewerage treatment plant
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Published : Mar 15, 2021, 1:07 PM IST

भिवानी: भिवानी शहर के सेक्टर 13 और 23 के लोग अब बरसात के सीजन से डरने लगे हैं. क्योंकि सीवर ओवरफलों की समस्या बनी हुई है तथा कॉलोनियों सेक्टर के ग्रीन बेल्ट सहित विभिन्न गलियों में सीवरेज का पानी भर रहा है. वर्ष 2014 में भिवानी के टिकट बना मोड़ पर 45 करोड़ की लागत से सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाया गया था. जिसका कार्य दूषित पानी का प्रबंधन था. जो सेक्टर 13 और 23 के पानी की पंपिंग करता था. अब वह ठप पड़ा हुआ है.

सेक्टर 13 और 23 के निवासियों का कहना है कि वे शिविर और ओवरफ्लो की समस्या को लेकर कई बार अधिकारियों से मिल चुके हैं. इसके अलावा मुख्यमंत्री को भी पंचायत भवन में 2018 में खुले दरबार में शिकायत की थी. परंतु उन्हें अब तक सिर्फ आश्वासन ही मिला है. उनकी समस्या को हल नहीं किया है. कॉलोनी वासियों का कहना है कि सेक्टर 13 में 3580 मकान है तथा करीब 15 हजार की आबादी है. इसी प्रकार सेक्टर 23 में 1006 से मकान है जिनकी आबादी लगभग 4000 है. ऐसे में 19,000 की आबादी के लिए समुचित व्यवस्था किए जाने की जरूरत है.

ये भी पढ़ें- यमुनानगर: मंदिर में जल रहे दिए से घर में लगी आग, लाखों रुपए का सामान जलकर हुआ राख

लगभग 45 करोड़ के सीवर ट्रीटमेंट प्लांट चार करोड़ की लागत से बने पंपिंग स्टेशन को यदि प्रशासन दुरुस्त करता है तो दोनों सेक्टरों के 19000 आबादी को राहत होगी. यहां के निवासियों ने कहा है कि सरकार व प्रशासन इस दिशा में जल्द ध्यान दें.

भिवानी: भिवानी शहर के सेक्टर 13 और 23 के लोग अब बरसात के सीजन से डरने लगे हैं. क्योंकि सीवर ओवरफलों की समस्या बनी हुई है तथा कॉलोनियों सेक्टर के ग्रीन बेल्ट सहित विभिन्न गलियों में सीवरेज का पानी भर रहा है. वर्ष 2014 में भिवानी के टिकट बना मोड़ पर 45 करोड़ की लागत से सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट लगाया गया था. जिसका कार्य दूषित पानी का प्रबंधन था. जो सेक्टर 13 और 23 के पानी की पंपिंग करता था. अब वह ठप पड़ा हुआ है.

सेक्टर 13 और 23 के निवासियों का कहना है कि वे शिविर और ओवरफ्लो की समस्या को लेकर कई बार अधिकारियों से मिल चुके हैं. इसके अलावा मुख्यमंत्री को भी पंचायत भवन में 2018 में खुले दरबार में शिकायत की थी. परंतु उन्हें अब तक सिर्फ आश्वासन ही मिला है. उनकी समस्या को हल नहीं किया है. कॉलोनी वासियों का कहना है कि सेक्टर 13 में 3580 मकान है तथा करीब 15 हजार की आबादी है. इसी प्रकार सेक्टर 23 में 1006 से मकान है जिनकी आबादी लगभग 4000 है. ऐसे में 19,000 की आबादी के लिए समुचित व्यवस्था किए जाने की जरूरत है.

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लगभग 45 करोड़ के सीवर ट्रीटमेंट प्लांट चार करोड़ की लागत से बने पंपिंग स्टेशन को यदि प्रशासन दुरुस्त करता है तो दोनों सेक्टरों के 19000 आबादी को राहत होगी. यहां के निवासियों ने कहा है कि सरकार व प्रशासन इस दिशा में जल्द ध्यान दें.

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