जब एक लड़की का मासिक धर्म शुरू होता है, तो उसके शरीर में बहुत से परिवर्तन आते है. इन परिवर्तनों के लिए शरीर के हार्मोन काफी हद तक जिम्मेदार होते है. इन हार्मोन के चलते शरीर में सभी जरूरी बदलाव संभव हो पाते है. लेकिन वहीं इनके असंतुलन के चलते कुछ समस्याओं का भी सामना करना पड़ सकता है. ऐसे ही एक समस्या है, पीरियड एक्ने या टीन एज एक्ने भी कहा जाता है. इस अवस्था में मासिक धर्म के दौरान चेहरे पर मुंहासे निकल आते हैं.
पीरियड एक्ने
जब एक लड़की का मासिक चक्र शुरू होता है, तो उसके शरीर में कई बदलाव का दौर भी शुरू होता है. धीरे-धीरे उसकी शारीरिक संरचना और आवाज में परिवर्तन आता है.
शारीरिक विकास के इस दौर में कई बार मासिक धर्म के समय उसके शरीर में एस्ट्रोजन तथा प्रोजेस्टेरोन हार्मोन का स्तर कम-ज्यादा होता रहता है. इस प्रक्रिया में जब प्रोजेस्टेरोन का स्तर बढ़ता है, तो त्वचा की सतह के नीचे सीबम का निर्माण होता है. सीबम के अधिक उत्पादन से हमारी त्वचा के छिद्र बंद होने लगते हैं और वहां जीवाणु उत्पन्न होने लगते हैं, जो मुंहासों का कारण बनता है. ये मुंहासे हमारी त्वचा में ज्यादातर वहीं उगते है, जहां तेल ग्रंथिया ज्यादा सक्रिय होती है. कई बार ये मुहांसे काफी बड़े और पस से भरे भी हो सकते है. पस के चलते ये मुंहासे काफी दर्ददायक भी हो सकते है.
कुछ उपायों को अपनाकर मासिक धर्म के दौरान होने वाली मुंहासों की समस्या को रोका जा सकता है. इसके अलावा खान पान पर नियंत्रण, साफ सफाई और थोड़ी सी सावधानी बरतने से मुंहासों को नियंत्रित किया जा सकता है.
पीरियड्स के दौरान होने वाले मुंहासों का घरेलू उपचार
मासिक धर्म की तारीख के आसपास होने वाले मुंहासों की समस्या से छुटकारा पाने के लिए सावधानी तथा इलाज दोनों ही जरूरी है. यदि इनकी देखभाल ना की जाए, तो स्थिति गंभीर हो सकती हैं. इसलिए जरूरी है कि पीरियड्स एक्ने से बचने के लिए त्वचा की साफ-सफाई का पूरा ध्यान रखा जाए. जिसके लिए दिन में कम से कम दो बार चेहरे को एक सौम्य क्लिंजर से धोना जरूरी है. इसके अलावा जितना संभव हो सके चेहरे को छूने से बचना चाहिए, क्योंकि हाथों पर लगी गंदगी एक्ने के बैक्टीरिया को और पनपने का मौका देती है, जिससे मुंहासे ज्यादा संख्या में फैलते है.
मासिक धर्म के कारण होने वाले इन मुंहासों की समस्या को दूर करने में हमारी दादी, नानी के नुस्खे भी काफी फायदेमंद हो सकते हैं. एक्ने से बचने के लिए आप इन घरेलू उपचार की मदद ले सकते हैं.
1. एलोवेरा
एलोवेरा जिसे धृत कुमारी या ग्वारपाठा भी कहा जाता है, एक औषधीय पौधा कहलाता है. इसका जूस का नियमित सेवन स्वास्थ के लिए जितना लाभकारी होता है, उतना ही उसका जेल हमारी त्वचा को निरोगी तथा बैक्टीरिया मुक्त रखने में सहायक होता है. इसके सूजनरोधी और जीवणुरोधक गुण मुंहासों को ठीक करने में काफी मदद करते है.
2. हल्दी
हल्दी जीवाणुरोधक यानि एंटी बैक्टीरियल गुणों से भरपूर होती है, जो मुंहासों के इलाज में मददगार साबित हो सकती है. चेहरे के मुंहासों को कम करने तथा दाग धब्बों को साफ करने के लिए नियमित रूप से हल्दी का फेस पैक या पेस्ट बनाकर अपने चेहरे पर लगा सकते हैं. इससे अलावा गरम दूध में हल्दी मिलकर पीने से भी स्वास्थ्य को काफी फायदा पहुंचता है.
3. शहद
शहद में भी एंटी बैक्टीरियल गुण होते हैं. शहद को गरम पानी में मिलाकर पीने से शरीर के टॉक्सिन यानि हानिकारक तत्व शरीर से बाहर निकल जाते है. शहद त्वचा की नमी को बनाए रखता है तथा रोम छिद्रों की गंदगी को दूर करके मुंहासों को ठीक करने की कोशिश भी करता है.
स्वस्थ खानपान तथा व्यायाम
कम तेल-मसाले वाला स्वस्थ खानपान तथा नियमित योग या व्यायाम भी मुंहासों को दूर रखने में काफी मददगार साबित होते हैं. योग तथा व्यायाम के बाद शरीर से निकालने वाला पसीना त्वचा के छिद्रों में फंसे तेल और धूल के कणों को बाहर निकालने में मदद करता है. जरूरी है की व्यायाम के बाद आने वाले पसीने को पानी से ना धोएं बल्कि सूती कपड़े से साफ कर दें.
इन सभी उपायों के अलावा बहुत जरूरी है की ज्यादा से ज्यादा पानी पिया जाए. इन सभी घरेलू उपायों के बाद भी यदि मुंहासे ठीक नहीं होते है, तो बहुत जरूरी है की किसी त्वचा रोग विशेषज्ञ से परामर्श लिया जाए.