नई दिल्ली/गुरुग्रामः पटौदी कस्बे में ताइक्वांडो खिलाड़ी की हत्या को तकरीबन 1 महीने से ज्यादा हो चुका है, लेकिन अभी भी पुलिस के हाथ खाली हैं और हत्यारा पुलिस की गिरफ्त से बाहर है. मृतक खिलाड़ी की बीमार मां बेटी के हत्यारे को पकड़वाने के लिए दर-दर भटक रही है. कभी बिलासपुर के थाने में तो कभी पुलिस कमिश्नर दफ्तर में लेकिन 1 महीने बीत जाने के बाद भी सिर्फ आश्वासन ही मिल रहा है.
मां के सामने मारी थी गोली
दरअसल गुरुग्राम के पटौदी कस्बे में ताइक्वांडो खिलाड़ी को सरफिरे आशिक ने उसकी मां के सामने गोली मारकर हत्या कर दी थी. खिलाड़ी की गलती सिर्फ इतनी थी कि उसने युवक से शादी करने से इंकार कर दिया. जिसके बाद सिरफिरे आशिक ने युवती के घर में ही गोली मारकर उसे मौत के घाट उतार दिया था और मौके से फरार हो गया.
सबूतों के बावजूद हत्यारा गिरफ्त से बाहर
घटना के बाद मृतक के परिजनों ने गुरुग्राम पुलिस को तमाम सबूत सौंप दिए थे लेकिन आज भी हत्यारा पुलिस के गिरफ्त से बाहर है. वहीं मृतक की मां का आरोप है कि पुलिस हत्यारे को पकड़ना ही नहीं चाहती और मामले को गोलमोल कर रही है.
उनका कहना है कि सभी सबूत दिए जाने के बाद भी आजतक पुलिस के हाथ क्यों खाली है. उन्होंने कहा कि उन्हें अपनी बेटी के हत्यारे को सलाखों के पीछे देखना है और यही उनकी बेटी के लिए इंसाफ होगा.
बॉक्सिंग और सुमो की थी खिलाड़ी
परिजनों की मानें तो युवती बॉक्सिंग और सुमो ताइक्वांडो की प्लेयर रह चुकी थी. ग्रेजुएशन करने के बाद जयपुर के एक निजी संस्थान में टीचर लगी हुई थी. वहीं परिजनों के मुताबिक आरोपी सोमवीर ने पूरी वारदात को अकेले ही अंजाम दिया था. उनका कहना है कि शादी के लिए मना करने पर बदमाश ने उनकी बेटी की गोली मारकर हत्या कर दी थी.
कब मिलेगा इंसाफ?
सवाल यहां पर ये उठता है कि आखिर क्यों नहीं पुलिस के हत्थे अब अभी तक आरोपी चढ़ा. आखिर क्यों अभी तक आरोपी फरार है. पुलिस के पास सभी सबूत होने के बावजूद भी क्यों नहीं पुलिस के हाथ हत्यारे तक पहुंचे. फिलहाल देखना होगा कि कब तक ताइक्वांडो खिलाड़ी का हत्यारा पकड़ा जाता है और खिलाड़ी की मां को इंसाफ मिलता है.