नई दिल्ली: जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में इन दिनों प्रदर्शन का दौर जारी है. जेएनयू में छात्र संगठन प्रशासन के खिलाफ लगातार विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं. वहीं ताजा मामला है जेएनयू प्रशासन द्वारा पीएसआर को लॉक किए जाने का. विरोध प्रदर्शन में छात्रों ने जेएनयू प्रशासन द्वारा लॉक किए गए पार्थ सारथी रॉक ( पीएसआर ) गेट के ताले तोड़ दिए.
'मिलिट्री राज स्थापित करने की कोशिश'
प्रशासन द्वारा इस तरह की कार्रवाई को लेकर छात्रों का आरोप है कि छात्रसंघ चुनाव में जब प्रशासन की दाल नहीं गली, तो वह नए-नए हथकंडे अपना रहा है. जिससे छात्र अपनी बात को आगे ना रख सकें. जेएनयू के छात्रों का आरोप है कि जेएनयू प्रशासन छात्रों से उनकी स्वतंत्रता छीन कर मिलिट्री राज स्थापित करने की कोशिश कर रहा है लेकिन जेएनयू के छात्र ऐसा हरगिज़ होने नहीं देंगे.
'प्रशासन की कोई मनमानी बर्दाश्त नहीं करेंगे'
वहीं छात्रों ने डीन ऑफ स्टूडेंट्स उमेश कदम को इन सब के लिए जिम्मेदार ठहराया है. छात्रों ने कहा कि इसके पहले भी प्रशासन ने हॉस्टल को लेकर एक तानाशाही फरमान जारी किया था. जिसे छात्रों ने सिरे से खारिज कर दिया था और इस बार भी छात्र प्रशासन की कोई मनमानी बर्दाश्त नहीं करेंगे.
'कैंपस में जनतंत्र बनाए रखने में मदद करें'
जेएनयू छात्रों ने प्रशासन की ओर से उठाए जा रहे इन सभी कदमों के प्रति सचेत होने को कहा है. साथ ही कहा है कि जेएनयू के छात्र किसी भी स्थिति में छात्रों की आजादी और स्वाधीनता को इस संघी प्रबंधन के नापाक मंसूबों की बलि नहीं चढ़ने देंगे. वहीं जेएनयू के छात्र नेताओं ने जेएनयू छात्रों से आग्रह किया है कि ज्यादा से ज्यादा संख्या में उनका साथ दें और कैंपस में जनतंत्र बनाए रखने में मदद करें.
'प्रशासन को उसके मंसूबे पर कामयाब नहीं होने देंगे'
वहीं एबीवीपी ने भी प्रशासन के इस रवैया का कड़ा विरोध किया है. एबीवीपी के जेएनयू इकाई के मंत्री मनीष जांगिड़ ने कहा कि प्रशासन अपनी मनमानी पर उतर आया है. लेकिन एबीवीपी प्रशासन को उसके मंसूबे पर कामयाब नहीं होने देगी.