नई दिल्ली: सीबीएसई की 10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षा जल्दी ही शुरू हो रही हैं. ऐसे में सीबीएसई की प्रवक्ता रमा शर्मा बताती हैं बोर्ड परीक्षा को लेकर छात्र दबाव ना मबसूस करें, बल्कि सामान्य जीवन शैली जीते हुए छात्र तनाव मुक्त होकर और सही खानपान के जरिए परीक्षा में बेहतर प्रदर्शन कर सकते हैं. सीबीएसई की प्रवक्ता रमा शर्मा का कहना है कि छात्र परीक्षा देने के शॉर्टकट भी पूछ रहे हैं.
छात्र पूछ रहे हैं एग्जाम देने का शॉर्टकट
वहीं छात्रों के तनाव को दूर करने के लिए सीबीएसई की ओर से चलाए जा रहे टेली काउंसलिंग के जरिए छात्र लगातार अपनी परीक्षा संबंधी परेशानियां सीबीएससी विशेषज्ञों से बता रहे हैं. वहीं सीबीएसई की प्रवक्ता रमा शर्मा ने बताया अब तक के सवालों में सबसे ज्यादा प्रश्न यही पूछे जा रहे हैं कि परीक्षा देने का कोई शॉर्टकट तरीका बताएं या फिर बचे हुए दिनों में किस तरह सभी विषयों की तैयारी की जाए. साथ ही अभिभावकों को ये संदेह है कि अगर बच्चे के प्री बोर्ड में कम नंबर आए तो क्या बोर्ड में भी उतने ही अंक आने की संभावना है या बोर्ड का पेपर प्री बोर्ड से कुछ आसान होता है.
टाइम मैनेजमेंट जरूरी
वहीं इन सभी सवालों का जवाब देते हुए रमा शर्मा बताती हैं कि बोर्ड की परीक्षा में सबसे अहम है टाइम मैनेजमेंट. साथ ही जरूरी है कि छात्र किसी भी तरह का तनाव ना लें और अपने खाने-पीने पर विशेष रूप से ध्यान दें. उन्होंने बताया कि सही खानपान से छात्रों की ध्यान लगाने की क्षमता बढ़ेगी. जिससे वो अच्छे से अपनी परीक्षा की तैयारी कर सकेंगे.
सैंपल पेपर करें सॉल्व
वहीं उन्होंने कहा कि अब परीक्षा में समय बहुत कम है. ऐसे में जरूरी है कि छात्र ज्यादा से ज्यादा सैंपल पेपर सॉल्व करें. उन सैंपल पेपर्स को सॉल्व करते समय टाइम सेट कर लें और देखें कि पेपर कितनी देर में हल हो रहा है. उससे अपनी कमियां निकाल कर दुबारा से कम समय में हल करने की कोशिश करें.
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बच्चों की तुलना करने से बचें
वहीं अभिभावकों के प्रश्नों को लेकर रमा शर्मा सलाह देती है कि वो अपने बच्चे की तुलना किसी और बच्चे से ना करें बल्कि उसके साथ बैठकर उसका मनोबल बढ़ाएं. साथ ही उन्होंने कहा कि अक्सर अभिभावकों को ये शिकायत रहती है कि वो बच्चे को जब भी पढ़ने के लिए बोलते हैं, तो बच्चा पढ़ने नहीं बैठता. ऐसे में रमा अभिभावकों को सलाह देती हैं कि हर समय बच्चे को पढ़ने के लिए ना बैठाएं, बल्कि कुछ देर उन्हें मनोरंजन भी करने दें. जिससे बच्चे का दिमाग फ्रेश रहे और पढ़ा हुआ बच्चे को याद रह जाए.
पढ़ाई के साथ-साथ अच्छा खानपान भी जरूरी
उन्होंने खानपान और सामान्य जीवन शैली को भी परीक्षा में अहम हिस्सा बताया. रमा ने कहा कि छात्र अपनी जगह निर्धारित कर लें. जहां उसका ध्यान सबसे ज्यादा केंद्रित होता है. साथ ही कोई ऐसा समय जब वो शांति से अच्छे से पढ़ सकता है और उसी समय ज्यादा कठिन विषयों को लेकर पढ़ाई करें. इसके अलावा उन्होंने बताया कि बच्चों के लिए रात की नींद भी बहुत जरूरी है. साथ ही स्वस्थ खानपान पर भी छात्रों को विशेष ध्यान देना चाहिए जिससे उन्हें कोई अन्य शारीरिक परेशानी ना हो और वह केंद्रित होकर अपनी परीक्षा की तैयारी कर सकें.