नई दिल्ली: कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण के चलते सभी शैक्षणिक संस्थान बंद हैं, लेकिन कुछ छात्र किन्ही कारणों की वजह से अभी भी हॉस्टल में रुके हुए हैं. वहीं जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय में देर रात दो छात्र गुटों के बीच झड़प हुई है. जिसमें विवेक नाम के एक छात्र को चोट लगी है. इस पूरे मामले को लेकर उन्होंने दिल्ली पुलिस में शिकायत दर्ज करा दी है.
घायल छात्र विवेक ऑल इंडिया स्टूडेंट एसोसिएशन (आइसा) का कार्यकर्ता है. उन्होंने इस पूरे घटना के लिए एबीवीपी के कार्यकर्ताओं को जिम्मेदार ठहराया है. कहा कि एबीवीपी के 16 कार्यकर्ताओं ने उनके ऊपर हॉस्टल के कमरे में घुसकर देर रात जानलेवा हमला किया है. तो उधर एबीवीपी उनके सभी आरोपों को सिरे से खारिज और आरोप को बेबुनियाद बताया है.
घटना की पुलिस में शिकायत की
वहीं छात्र विवेक का कहना है कि देर रात उनके हॉस्टल में कुछ छात्र आए. जिन्होंने उनके साथ मारपीट की है. उन्होंने कहा देर रात उनके हॉस्टल में करीब 16 लोग घुस आए और ये कहकर मारपीट करने लगे कि उनकी शिकायत की गई है. वहीं उन्होंने दावा किया कि वो सभी 16 लोग एबीवीपी के कार्यकर्ता हैं. जिनमें से कुछ लोगों के नाम पुलिस कंप्लेंट में भी लिखा है. इसके अलावा उन्होंने कहा कि या पूरी घटना सुनियोजित थी.
छात्र ने घटना के लिए प्रशासन पर लगाए आरोप
बता दें कि छात्र विवेक माही मांडवी हॉस्टल में रहते हैं. उन्होंने कहा कि देर रात जब उनके साथ ये घटना घटी, तो उन्होंने अपने दोस्तों को तुरंत सूचित किया. उन्होंने कहा कि कैंपस में जो भी कुछ हो रहा है. उसमें बिना प्रशासन के मिलीभगत के कुछ भी नहीं हो सकता है. साथ ही कहा कि इस तरीके से वारदात को अंजाम देने के लिए विश्वविद्यालय प्रशासन कुछ ऐसे छात्रों को शह दे रहा है.
वहीं उन्होंने इस पूरी घटना के लिए दिल्ली पुलिस और विश्वविद्यालय प्रशासन से निष्पक्ष जांच और जो भी दोषी है. उन्हें जल्द से जल्द सख्त सजा देने की भी मांग की है. जिससे कि दोबारा किसी छात्र के साथ कोई भी इस तरीके की घटना को अंजाम न दे सके.
छात्र संघ ने घटना के लिए ABVP को ठहराया जिम्मेदार
वहीं इस पूरे घटना को लेकर जेएनयू छात्र संघ के संयुक्त सचिव मोहम्मद दानिश ने कहा कि कैंपस में बहुत सारे एबीवीपी के कार्यकर्ता अनाधिकृत रूप से आ गए हैं. जिसको लेकर वार्डन से शिकायत भी की गई, लेकिन उन्होंने उन छात्रों पर कोई कार्रवाई नहीं की है.
उन्होंने कहा कि इस घटना में वो लोग भी शामिल हैं. इनमें ज्यादातर वो लोग हैं जो 4 महीने से हॉस्टल में नहीं थे और अब कैंपस में लौट आए हैं. वहीं उन्होंने इस पूरी घटना को लेकर एबीवीपी के कार्यकर्ताओं को जिम्मेदार ठहराया है. उसके अलावा विश्वविद्यालय प्रशासन और दिल्ली पुलिस से सख्त कार्रवाई करने की मांग की है.
एबीवीपी ने आरोप को किया सिरे से खारिज
वहीं पूरे मामले को लेकर अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के जेएनयू इकाई के अध्यक्ष शिवम चौरसिया ने कहा कि हॉस्टल में इस तरीके की घटना आम है, लेकिन जिस तरीके से कुछ भी कैंपस घटना घटती है. उसमें एबीवीपी पर आरोप लगाना वो पूरी तरह से गलत है. साथ ही उन्होंने कहा कि इस पूरी घटना में जिस तरीके से एबीवीपी पर आरोप लगाए जा रहे हैं वो पूरी तरह से बेबुनियाद है.