नई दिल्ली: भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के उपाध्यक्ष महिम वर्मा ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. बीसीसीआई उनके इस्तीफे पर आधिकारिक रूप से तब फैसला लेगा जब इसका नियमित कामकाज मुंबई स्थित मुख्यालय में शुरू होगा.
महिम वर्मा ने उत्तरासंघ क्रिकेट संघ का सचिव बनने के बाद भारतीय क्रिकेट बोर्ड के उपाध्यक्ष के पद से इस्तीफा दिया है.
वर्मा ने कहा, 'मुझे अपने राज्य संघ की भी देखरेख करनी है जिसका संचालन अभी तक अच्छे से नहीं हो रहा था. मैने सीईओ राहुल जोहरी को इस्तीफा दे दिया है. मुझे यकीन है कि इसे स्वीकार किया जायेगा.'
इस मामले की जानकारी रखने वाले सूत्रों ने मीडिया से बातचीत में कहा कि वर्मा ने अपना त्याग पत्र को बोर्ड को भेज दिया है. वर्मा क्रिकेट एसोसिएशन ऑफ उत्तराखंड (सीएयू) के सचिव भी रह चुके हैं.
वर्मा को पद छोड़ना पड़ा क्योंकि बीसीसीआई संविधान एक व्यक्ति को एक ही समय पर राष्ट्रीय और प्रांतीय स्तर पर दो पदों पर रहने की अनुमति नहीं देता.
वर्मा ने कहा, ‘मैनें बोर्ड सचिव जय शाह को पहले की बता दिया था. यदि मैं प्रदेश संघ का प्रभार नहीं लेता तो वहां काम सुचारू रूप से नहीं चल पाता. मैने चुनाव भी इसलिए ही लड़ा था.'
एक स्टेट एसोसिएशन से संबद्ध अधिकारी ने कहा कि वर्मा के फैसले ने एक बार फिर लोढ़ा पैनल की रिपोर्ट के साथ मुद्दों को उजागर किया है.
अधिकारी ने कहा, "इसने लोढ़ा रिपोर्ट की कई दिक्कतों में से एक को उजागर किया है. उपाध्यक्ष का कार्यकाल एक पदाधिकारी के कार्यकाल के रूप में माना जाता है और फिर भी अध्यक्ष के अधिकारविहीन होने तक इंतजार करने के अलावा और कोई वास्तविक अधिकार नहीं है."
बता दें कि वर्मा को पिछले साल 23 अक्टूबर को बीसीसीआई का उपाध्यक्ष बनाया गया था. जबकि सौरभ गांगुली को अध्यक्ष, जय शाह को सचिव, जयेश जॉर्ज को सह सचिव और बृजेश पटेल को आईपीएल चेयरमैन चुना गया था.