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पाकिस्तान : मंदिर तोड़फोड़ मामले में 12 पुलिस अधिकारी बर्खास्त - रिपोर्ट के आधार पर ही दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई

पाकिस्तान में खैबर पख्तूनख्वा प्रांत की सरकार ने यहां एक हिंदू मंदिर को बचाने में लापरवाही के दोषी पाए गए 12 पुलिस अधिकारियों को बर्खास्त कर दिया है. सरकार ने घटना के सिलसिले में 33 पुलिस अधिकारियों की एक साल की सेवा भी निलंबित कर दी है.

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Published : Jan 14, 2021, 5:34 PM IST

पेशावर : पाकिस्तान में खैबर पख्तूनख्वा प्रांत की सरकार ने यहां एक हिंदू मंदिर को बचाने में लापरवाही के दोषी पाए गए 12 पुलिस अधिकारियों को बर्खास्त कर दिया है. एक चरमपंथी इस्लामी पार्टी के सदस्यों के नेतृत्व में भीड़ ने खैबर पख्तूनख्वा प्रांत में स्थित मंदिर में तोड़फोड़ के बाद आग लगा दी थी. सरकार ने घटना के सिलसिले में 33 पुलिस अधिकारियों की एक साल की सेवा भी निलंबित कर दी है.

खैबर पख्तूनख्वा के करक जिले के तेरी गांव में 30 दिसंबर को भीड़ ने मंदिर पर हमला कर दिया था. इससे पहले ही हिंदू समुदाय के सदस्यों को दशकों पुराने मंदिर के जीर्णोद्धार के लिए स्थानीय अधिकारियों से अनुमति मिली थी. भीड़ ने मंदिर के पुराने भवन के साथ ही नए निर्माण कार्यों को भी गिरा दिया. कोहट क्षेत्र के पुलिस उप महानिरीक्षक तैयब हाफिज चीमा ने घटना की जांच के लिए पुलिस अधीक्षक (जांच प्रकोष्ठ) जहीर शाह को जांच अधिकारी नियुक्त किया था और एक सप्ताह के अंदर इस मामले में रिपोर्ट सौंपी गयी.

यह भी पढ़ें-पाकिस्तान : गुरुद्वारा ननकाना साहिब तोड़फोड़ मामले में तीन लोग दोषी करार

रिपोर्ट के आधार पर ही दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई की गई.

पेशावर : पाकिस्तान में खैबर पख्तूनख्वा प्रांत की सरकार ने यहां एक हिंदू मंदिर को बचाने में लापरवाही के दोषी पाए गए 12 पुलिस अधिकारियों को बर्खास्त कर दिया है. एक चरमपंथी इस्लामी पार्टी के सदस्यों के नेतृत्व में भीड़ ने खैबर पख्तूनख्वा प्रांत में स्थित मंदिर में तोड़फोड़ के बाद आग लगा दी थी. सरकार ने घटना के सिलसिले में 33 पुलिस अधिकारियों की एक साल की सेवा भी निलंबित कर दी है.

खैबर पख्तूनख्वा के करक जिले के तेरी गांव में 30 दिसंबर को भीड़ ने मंदिर पर हमला कर दिया था. इससे पहले ही हिंदू समुदाय के सदस्यों को दशकों पुराने मंदिर के जीर्णोद्धार के लिए स्थानीय अधिकारियों से अनुमति मिली थी. भीड़ ने मंदिर के पुराने भवन के साथ ही नए निर्माण कार्यों को भी गिरा दिया. कोहट क्षेत्र के पुलिस उप महानिरीक्षक तैयब हाफिज चीमा ने घटना की जांच के लिए पुलिस अधीक्षक (जांच प्रकोष्ठ) जहीर शाह को जांच अधिकारी नियुक्त किया था और एक सप्ताह के अंदर इस मामले में रिपोर्ट सौंपी गयी.

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रिपोर्ट के आधार पर ही दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई की गई.

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