नई दिल्ली/नोएडा: जिले में हादसों में कमी लाने और बेहतर यातायात के लिए सर्वे होगा. लखनऊ के क्षेत्रीय नगर एवं पर्यावरण अध्ययन केंद्र व अर्बन लिंक की टीम सर्वे करेगी. इसके लिए भौगोलिक सूचना तकनीक और दुर्घटना के आंकड़ों का सहयोग लिया जाएगा. सेक्टर-14ए स्थित डीपीसी यातायात कार्यालय में ट्रैफिक सुरक्षा को लेकर बैठक हुई थी.
डीसीपी यातायात गणेश साहा ने बताया कि अध्ययन केंद्र के रोड सेफ्टी व यातायात के विशेषज्ञ अरबाब अहमद और सोनम गुप्ता ने प्रस्तुतिकरण दिया. उन्होंने बताया कि सड़क हादसों को कम करने और यातायात को और बेहतर बनाने के प्रयासों की कड़ी में आगे बढ़ते हुए तकनीक सहारा लिया जाएगा. भौगोलिक सूचना तकनीकी के जरिए पता किया जाएगा कि किस स्थान पर पार्किंग के कारण यातायात प्रभावित हो रहा है. पार्किंग को और किस स्थान पर स्थानांतरित किया जा सकता है. किन स्थानों पर पार्किंग में बदलाव किया जाना जरूरी है आदि का अध्ययन होगा. इसके अलावा रोड इंजीनियरिंग में क्या सुधार होने चाहिए, किन स्थानों पर यूटर्न में बदलाव किया जाना चाहिए, कहां-कहां पर यू टर्न बंद किए जाने चाहिए, चौराहों में बदलाव, ब्लैक स्पॉट खत्म करने आदि शामिल होंगे. यह यातायात व्यवस्था को काफी बेहतर बनाने में सहायक साबित होगा.
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डीसीपी ट्रैफिक गणेश साहा का कहा कि तीन साल के दुर्घटनाओं को लेकर हुई एफआईआर के आधार पर अध्ययन किया जाएगा. जिन स्थानों पर अधिक दुर्घटना हुई हैं, उसके कारणों को खत्म किया जाएगा. रोड सेफ्टी प्लान में नोएडा व ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण के साथ मिल कर काम किया जाएगा. स्कूल और अस्पताल के पास वाहनों की गति को कम करने के लिए प्रयास किए जाएंगे. इससे आम लोगों और बच्चों को सुरक्षित हो सकेंगे. उन्होंने कहा विशेषज्ञों ने लखनऊ समेत प्रदेश के कुछ शहरों में यातायात व्यवस्था को लेकर काम किया है, जो काफी कारगर साबित हुआ है.