नई दिल्ली/नोएडा: ग्रेटर नोएडा के कासना बस डिपो पर कांग्रेस नेता पहुंचे. उन्होंने वहां प्रवासी मजदूरों से बातचीत की उनके हालातों का जायजा लिया. इस दौरान प्रदेश कांग्रेस के नेताओं ने यूपी सरकार और बीजेपी पर ओछी राजनीति करने का आरोप लगाया. बोले कि कांग्रेस की बसों के आने से पहले ही लोगों को तेजी से भेजा जा रहा है.
'मजदूरों को घर भेजने पर हो रही राजनीति'
यूपी में प्रवासी मजदूरों को घर भेजने के लिए बसों के इंतजाम का मामला गरमाया हुआ है. गौतमबुद्ध नगर जिले में भी राजनीति तेज हो गई हैं. नोएडा जिला कांग्रेस के नेताओं का कहना है कि यूपी सरकार प्रियंका गांधी के हस्तक्षेप से जागी है. प्रदेश सरकार आनन-फानन में मजदूरों को भेज रही है. साथ ही उन्होंने आरोप लगाया है कि हमारी बसों को बॉर्डरों पर रोका गया, बसों के आने से पहले ही लोगों को इधर-उधर किया जा रहा है.
'प्रियंका गांधी के कहने के बाद ही प्रदेश सरकार जागी'
जिला कांग्रेस अध्यक्ष मनोज चौधरी ने मीडिया से बात करते हुए बताया कि नोएडा जिला प्रशासन आनन-फानन में श्रमिक मजदूरों को बसों के जरिए भेजने का काम कर रही है. प्रदेश सरकार की इच्छा नहीं थी कि वो श्रमिकों को उनके घरों तक भेजें. क्योंकि प्रियंका गांधी के कहने के बाद ही प्रदेश सरकार जागी और बसों के जरिए लोगों को उनके घर भेजा जा रहा है. जबकि श्रमिक पिछले 3 महीने से पैदल ही सफर कर रहे थे.
'मथुरा बॉर्डर पर 500 बसें रोकी गई'
कांग्रेस पार्टी के प्रदेश महासचिव वीरेंद्र गुरु ने बताया कि प्रियंका गांधी के जरिए सीएम योगी आदित्यनाथ से 500 बसें चलाने की इजाजत मांगी गई थी. ये बसें राजस्थान से यूपी आ रही थी. लेकिन बॉर्डर पर ही जिला प्रशासन के लोगों ने बसों को रोक लिया. प्रदेश महासचिव ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर श्रमिकों को उनके घर भिजवाने पर राजनीति करने का आरोप लगाया है. उनका कहना है कि प्रदेश सरकार की मंशा सही नहीं है. उनकी कथनी और करनी में फर्क साफ दिखाई दे रहा है.