ETV Bharat / bharat

यूपी व उत्तराखंड के बीच संपत्तियों के बंटवारे का विवाद खत्म, जानें किस पर कितनी देनदारी - यूपी उत्तराखंड का विवाद खत्म

उत्तर प्रदेश व उत्तराखंड (Uttar Pradesh and Uttarakhand ) से 21 साल पुराना संपत्तियों का बंटवारा (division of assets ) सोमवार को हो गया. संपत्तियों के बंटवारे से जुड़े मुद्दों को सुलझाने के लिए पिछले महीने दोनों राज्यों के मुख्यमंत्रियों के बीच बैठक हुई थी. बैठक में लिए गए निर्णयों के आधार पर, उत्तर प्रदेश पुनर्गठन समन्वय विभाग ने संबंधित विभागों को आवश्यक कार्यवाही करने के लिए शासनादेश जारी कर दिया है.

up and uttarakhand 21 year old distribution of properties dispute now settled
यूपी व उत्तराखंड के बीच संपत्तियों के बंटवारे का विवाद खत्म, जानें किस पर कितनी देनदारी
author img

By

Published : Dec 21, 2021, 7:35 AM IST

लखनऊ : उत्तर प्रदेश व उत्तराखंड (Uttar Pradesh and Uttarakhand ) के बीच संपत्तियों का बंटवारा (division of assets ) हो गया है. शासनादेश उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से सोमवार को जारी कर दिया गया. दोनों राज्य सरकारों के बीच 18 नवंबर को हुए समझौते के अनुसार, हरिद्वार में कुंभ मेले की जमीन अभी भी यूपी के पास ही रहेगी. धोरा बैगुल बैग, नानक सागर जलाशय उत्तराखंड को मिले हैं. उधम सिंह नगर उत्तराखंड को दे दिया गया है. अलकनंदा पर्यटक आवास हरिद्वार उत्तराखंड को दिया गया है, जबकि बनबसा बैराज का मेंटेनेंस उत्तर प्रदेश सरकार ही करवाएगी.

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी (Uttarakhand Chief Minister Pushkar Singh Dhami ) ने गुरुवार को भाजपा मुख्यालय पहुंचे और उन्होंने यहां कहा कि सारे विवाद जो कि 21 साल से उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश के बीच थे वे हल हो गए हैं. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उनके बड़े भाई हैं और यही रिश्ता उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश के बीच भी है. हमारा छोटा और बड़े भाई का रिश्ता है.

बंटवारे के अनुसार, सिंचाई विभाग की 5700 हेक्टेयर भूमि और 1700 मकान का विभाजन दोनों राज्यों के बीच होगा. इसके अलावा सारे विवाद समाप्त हुआ. आवास विभाग की संपत्ति और धनराशि 50-50 फीसदी बांट दी जाएगी. वन विभाग के 90 करोड़ के भुगतान यूपी करेगा. दोनों प्रदेशों के बीच. हाईकोर्ट में जो केस हैं वे वापस लिए जाएंगे. हरिद्वार का अलकनन्दा होटल यूपी उत्तराखंड को हस्तांतरित कर देगा. इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ हरिद्वार आएंगे.

सिंचाई विभाग के वर्ष 2019 तक के 57.87 करोड़ रुपये की बिजली के बिलों में ₹37 करोड़ के सरचार्ज को घटाते हुए उत्तर प्रदेश सिंचाई विभाग ₹20 करोड़ या वास्तविक देयक भुगतान यूपीसीएल उत्तराखंड को करेगा. ब्याज नहीं दिया जाएगा. उत्तर प्रदेश की ओर से भारतीय रिजर्व बैंक, भारतीय स्टेट बैंक के लिए, लिए गए ऋण में अपने अंश के 105.42 करोड़ रुपए के मूल धन के भुगतान के लिए उत्तराखंड सहमत है.

उत्तर प्रदेश परिवहन विभाग की ओर से उत्तराखंड के परिवहन विभाग को 205 करोड़ रुपए का भुगतान उत्तर प्रदेश के खाद्य नागरिक आपूर्ति विभाग को करना था, जो निर्णय पर सहमत है. उत्तर प्रदेश परिवहन विभाग 100 करोड़ रुपए का भुगतान उत्तराखंड के परिवहन विभाग को करेगा. यह अभी निर्णय हुआ है कि उत्तर प्रदेश परिवहन विभाग सुप्रीम कोर्ट उत्तराखंड परिवहन विभाग नैनीताल हाईकोर्ट में विचाराधीन को वापस लेगा.

ये भी पढ़ें-संसद में जया बच्चन का BJP पर हमला, कहा- मैं श्राप देती हूं आप लोगों के बुरे दिन आएंगे

उत्तर प्रदेश वन निगम उत्तराखंड वन विकास निगम के 20 संपत्तियों के विभाजन के क्रम में उत्तर प्रदेश व उत्तराखंड वन विकास निगम को भुगतान करेगा. आवास विकास परिषद की उत्तराखंड में संपत्तियों के निस्तारण से प्राप्त आय को खोले गए अकाउंट में डाला जाएगा और इशानी को 50-50 के अनुपात में बांट दिया जाएगा.

लखनऊ : उत्तर प्रदेश व उत्तराखंड (Uttar Pradesh and Uttarakhand ) के बीच संपत्तियों का बंटवारा (division of assets ) हो गया है. शासनादेश उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से सोमवार को जारी कर दिया गया. दोनों राज्य सरकारों के बीच 18 नवंबर को हुए समझौते के अनुसार, हरिद्वार में कुंभ मेले की जमीन अभी भी यूपी के पास ही रहेगी. धोरा बैगुल बैग, नानक सागर जलाशय उत्तराखंड को मिले हैं. उधम सिंह नगर उत्तराखंड को दे दिया गया है. अलकनंदा पर्यटक आवास हरिद्वार उत्तराखंड को दिया गया है, जबकि बनबसा बैराज का मेंटेनेंस उत्तर प्रदेश सरकार ही करवाएगी.

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी (Uttarakhand Chief Minister Pushkar Singh Dhami ) ने गुरुवार को भाजपा मुख्यालय पहुंचे और उन्होंने यहां कहा कि सारे विवाद जो कि 21 साल से उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश के बीच थे वे हल हो गए हैं. उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उनके बड़े भाई हैं और यही रिश्ता उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश के बीच भी है. हमारा छोटा और बड़े भाई का रिश्ता है.

बंटवारे के अनुसार, सिंचाई विभाग की 5700 हेक्टेयर भूमि और 1700 मकान का विभाजन दोनों राज्यों के बीच होगा. इसके अलावा सारे विवाद समाप्त हुआ. आवास विभाग की संपत्ति और धनराशि 50-50 फीसदी बांट दी जाएगी. वन विभाग के 90 करोड़ के भुगतान यूपी करेगा. दोनों प्रदेशों के बीच. हाईकोर्ट में जो केस हैं वे वापस लिए जाएंगे. हरिद्वार का अलकनन्दा होटल यूपी उत्तराखंड को हस्तांतरित कर देगा. इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ हरिद्वार आएंगे.

सिंचाई विभाग के वर्ष 2019 तक के 57.87 करोड़ रुपये की बिजली के बिलों में ₹37 करोड़ के सरचार्ज को घटाते हुए उत्तर प्रदेश सिंचाई विभाग ₹20 करोड़ या वास्तविक देयक भुगतान यूपीसीएल उत्तराखंड को करेगा. ब्याज नहीं दिया जाएगा. उत्तर प्रदेश की ओर से भारतीय रिजर्व बैंक, भारतीय स्टेट बैंक के लिए, लिए गए ऋण में अपने अंश के 105.42 करोड़ रुपए के मूल धन के भुगतान के लिए उत्तराखंड सहमत है.

उत्तर प्रदेश परिवहन विभाग की ओर से उत्तराखंड के परिवहन विभाग को 205 करोड़ रुपए का भुगतान उत्तर प्रदेश के खाद्य नागरिक आपूर्ति विभाग को करना था, जो निर्णय पर सहमत है. उत्तर प्रदेश परिवहन विभाग 100 करोड़ रुपए का भुगतान उत्तराखंड के परिवहन विभाग को करेगा. यह अभी निर्णय हुआ है कि उत्तर प्रदेश परिवहन विभाग सुप्रीम कोर्ट उत्तराखंड परिवहन विभाग नैनीताल हाईकोर्ट में विचाराधीन को वापस लेगा.

ये भी पढ़ें-संसद में जया बच्चन का BJP पर हमला, कहा- मैं श्राप देती हूं आप लोगों के बुरे दिन आएंगे

उत्तर प्रदेश वन निगम उत्तराखंड वन विकास निगम के 20 संपत्तियों के विभाजन के क्रम में उत्तर प्रदेश व उत्तराखंड वन विकास निगम को भुगतान करेगा. आवास विकास परिषद की उत्तराखंड में संपत्तियों के निस्तारण से प्राप्त आय को खोले गए अकाउंट में डाला जाएगा और इशानी को 50-50 के अनुपात में बांट दिया जाएगा.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.