नई दिल्ली : भारत को हमेशा एक कृषि प्रधान देश माना जाता है. वहीं देश की जीडीपी में कृषि का 18 प्रतिशत का योगदान रहता है. ऐसे में किसानों की मदद के लिए सरकार कई तरह की योजनाएं लेकर आती रहती है जिससे उन्हें किसानी में मदद मिले और साथ ही आर्थिक सहायता मिले. लेकिन शुक्रवार को केंद्र ने नागरिकों को कुछ धोखाधड़ी करने वाली वेबसाइटों को लेकर आगाह किया. इसमें कहा गया है कि पीएम-कुसुम योजना (PM Kusum Yojana) के नाम पर ठगी की जा रही है. बता दें कि इस स्कीम के जरिए ग्रामीण क्षेत्रों में सौर पैनलों के लिए सरकार द्वारा सब्सिडी प्रदान की जाती है.
इस बारे में नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (एमएनआरई) के एक अधिकारी ने कहा कि योजना शुरू होने के बाद हमने देखा है कि कुछ फर्जी वेबसाइटों के द्वारा पीएम-कुसुम योजना के लिए पंजीकरण पोर्टल होने का दावा किया है. अधिकारियों के मुताबिक इस तरह की अनाधिकृत वेबसाइट योजना में दिलचस्पी रखने वाे लोगों से पैसा और जानकारी जुटा रही हैं. इस संबंध में मंत्रालय के द्वारा लोगों को किसी भी तरह के नुकसान से बचाने के लिए पूर्व में भी कई नोटिस जारी किए गए थे.
साथ ही लोगों को सलाह दी गई थी कि वे ऐसी वेबसाइटों पर कोई रजिस्ट्रेशन शुल्क जमा नहीं करें या कोई भी व्यक्तिगत जानकारी को साझा न करें. अधिकारियों ने बताया कि शिकायत मिलने पर दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की है और कई फर्जी पंजीकरण करने वाले पोर्टलों को बंद कर दिया गया है. उन्होंने कहा कि फर्जी वेबसाइटों के अलावा संभावित लाभार्थियों को गुमराह करने के लिए व्हाट्सएप और अन्य माध्यमों का प्रयोग किया जा रहा है.
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नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय के द्वारा प्रधानमंत्री किसान ऊर्जा सुरक्षा और उत्थान महाभियान योजना लागू की जा रही है. इसके अंर्तगत सोलर पंप की स्थापना और सोलर कृषि पंपों को लगाए जाने पर सब्सिडी प्रदान की जाती है. इसके तहत किसान 2 मेगावाट तक की ग्रिड से जुड़े सौर ऊर्जा संयंत्र स्थापित कर सकते हैं. यह योजना राज्य सरकारों के नामित विभागों के द्वारा कार्यान्वित की जा रही है. योजना की अधिक जानकारी के लिए नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (MNRE) की आधिकारिक वेबसाइट www.mnre.gov.in पर अथवा टोल फ्री नंबर 1800-180-3333 डायल कर ली जा सकती है.