मंदसौर। इश्क इबादत, इश्क ही पूजा, इश्क खुदा का नाम है दूजा. दुनिया में प्रेम ही ऐसा रिश्ता है जिसके आगे जाति व धर्म का बंधन कोई मायने नहीं रखता. मंदसौर में ये बात एक बार फिर साबित हुई है. दूल्हे के परिवार ने जोधपुर से आई मुस्लिम लड़की को इकरा की जगह नया नाम इशिका वर्मा देते हुए उसे अपना लिया है. मंदसौर निवासी राहुल वर्मा पिछले कई सालों से राजस्थान के जोधपुर में रहकर वहां डांस क्लास चलाते हैं. इसी दौरान वहां पड़ोस में रहने वाली मुस्लिम युवती इकरा बी से उनके प्रेम संबंध बन गए. जिसके बाद दोनों शुक्रवार देर रात मंदसौर के एक मंदिर में शादी कर ली.
मंजिल तक पहुंचा प्यार : राहुल और इकरा दोनों ने पहले एक-दूसरे को जाना और ठीक से पहचाना, फिर उन्हें लगा कि शायद वे एक-दूसरे के लिए ही बने हैं. इसके बाद उन्होंने शादी करने का फैसला कर लिया, लेकिन राहुल ने जब बताया कि दोनों के धर्म अलग हैं, इस वजह से यह शादी नहीं हो सकेगी. इसके बाद इकरा ने अपना मजहब छोड़कर हिंदू धर्म अपनाने का वादा किया. जिसके बाद वह मंदसौर आ गई यहां राहुल और उसके परिजनों ने वैदिक रीतिरिवाज से उसका धर्म परिवर्तन करवा कर दोनों का विवाह करा दिया है. मंदसौर के कालाखेत स्थित गायत्री मंदिर में शुक्रवार देर रात हुए विवाह के दौरान कुछ महीने पहले मुस्लिम छोड़कर हिंदू धर्म अपनाने वाले चैतन्य सिंह राजपूत भी मौजूद थे.
दोनों ने मर्जी से की शादी : शादी की रस्म के बाद इकरा ने मीडिया से बातचीत करते हुए इस शादी को अपना व्यक्तिगत फैसला बताया है, वहीं राहुल वर्मा ने भी कहा कि शादी दोनों की मर्जी से ही हुई है. बताया जा रहा है कि शादी से पहले राहुल और इकरा ने सिटी कोतवाली थाने पर जाकर शादी का इकरारनामा भी दिया है. महज चार महीने के भीतर ही मंदसौर में मुस्लिम धर्म छोड़कर सनातन हिंदू धर्म अपनाने का यह दूसरा मामला है.