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हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन के सेवन से स्वास्थ्यकर्मियों में संक्रमण का खतरा कम : आईसीएमआर

इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) ने कहा कि एंटी मलेरिया दवा हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन की सही खुराक लेने के साथ ही अच्छे तरीके से पीपीई (व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण) किट का इस्तेमाल करने से स्वास्थ्यकर्मियों में कोरोना वायरस संक्रमण की चपेट में आने का खतरा कम हो सकता है. पढ़ें पूरी खबर...

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हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्वीन
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Published : Jun 1, 2020, 8:06 PM IST

नई दिल्ली : इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) ने कहा कि पीपीई के उपयोग के साथ हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन (HCQ) दवा का सेवन स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं में कोरोना के रोकने में मदद करता है.

एंटी मलेरिया दवा हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन की सही खुराक लेने के साथ ही अच्छे तरीके से पीपीई (व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण) किट का इस्तेमाल करने से स्वास्थ्यकर्मियों में कोरोना वायरस संक्रमण की चपेट में आने का खतरा कम हो सकता है. भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के एक अध्ययन में ऐसे नतीजे सामने आए हैं.

ईटीवी भारत को मिली जानकारी के मुताबिक, आईसीएमआर के अध्ययन में शामिल लोगों को चार से पांच हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन की संतुलित खुराक देने पर उनमें सार्स-सीओवी-2 संक्रमण के खतरे में महत्वपूर्ण कमी देखी गई.

अनुसंधानकर्ताओं ने अध्ययन में कहा है कि पीपीई किट का उपयुक्त इस्तेमाल भी लाभकारी साबित हुआ. अध्ययन में कहा गया कि स्वास्थ्यकर्मियों को संक्रमित होने का सबसे अधिक जोखिम होता है.

आपको बता दें कि विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्लूएचओ) ने हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन का परीक्षण फिलहाल रोक दिया है.

देश में कोरोना
स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक देश में अब तक कुल 1,90,535 सकारात्मक मामले सामने आए हैं. इनमें एक्टिव केस की संख्या 93,322 के करीब है. यानी देश के विभिन्न अस्पतालों में इतने मरीजों का इलाज चल रहा है. वहीं अब तक कुल 91,818 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं.

महाराष्ट्र में कुल संक्रमितों की संख्या 67 हजार के पार
कोरोना संक्रमण से सबसे ज्यादा प्रभावित राज्य महाराष्ट्र है. राज्य में अब तक 67,655 मामले आ चुके हैं. वहीं शनिवार को राज्य में 99 मौतें हुईं थी. प्रदेश में कुल एक्टिव केस 36,040 हैं जबकि मृतकों का आंकड़ा 2,286 तक पहुंच चुका है. महाराष्ट्र में 28,081 मरीज इलाज के बाद ठीक हो चुके हैं.

गौतरलब है कि दो हफ्ते पहले आईसीएमआर के वरिष्ठ वैज्ञानिक में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई थी.

नई दिल्ली : इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) ने कहा कि पीपीई के उपयोग के साथ हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन (HCQ) दवा का सेवन स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं में कोरोना के रोकने में मदद करता है.

एंटी मलेरिया दवा हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन की सही खुराक लेने के साथ ही अच्छे तरीके से पीपीई (व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण) किट का इस्तेमाल करने से स्वास्थ्यकर्मियों में कोरोना वायरस संक्रमण की चपेट में आने का खतरा कम हो सकता है. भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) के एक अध्ययन में ऐसे नतीजे सामने आए हैं.

ईटीवी भारत को मिली जानकारी के मुताबिक, आईसीएमआर के अध्ययन में शामिल लोगों को चार से पांच हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन की संतुलित खुराक देने पर उनमें सार्स-सीओवी-2 संक्रमण के खतरे में महत्वपूर्ण कमी देखी गई.

अनुसंधानकर्ताओं ने अध्ययन में कहा है कि पीपीई किट का उपयुक्त इस्तेमाल भी लाभकारी साबित हुआ. अध्ययन में कहा गया कि स्वास्थ्यकर्मियों को संक्रमित होने का सबसे अधिक जोखिम होता है.

आपको बता दें कि विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्लूएचओ) ने हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन का परीक्षण फिलहाल रोक दिया है.

देश में कोरोना
स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक देश में अब तक कुल 1,90,535 सकारात्मक मामले सामने आए हैं. इनमें एक्टिव केस की संख्या 93,322 के करीब है. यानी देश के विभिन्न अस्पतालों में इतने मरीजों का इलाज चल रहा है. वहीं अब तक कुल 91,818 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं.

महाराष्ट्र में कुल संक्रमितों की संख्या 67 हजार के पार
कोरोना संक्रमण से सबसे ज्यादा प्रभावित राज्य महाराष्ट्र है. राज्य में अब तक 67,655 मामले आ चुके हैं. वहीं शनिवार को राज्य में 99 मौतें हुईं थी. प्रदेश में कुल एक्टिव केस 36,040 हैं जबकि मृतकों का आंकड़ा 2,286 तक पहुंच चुका है. महाराष्ट्र में 28,081 मरीज इलाज के बाद ठीक हो चुके हैं.

गौतरलब है कि दो हफ्ते पहले आईसीएमआर के वरिष्ठ वैज्ञानिक में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई थी.

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