हैदराबाद : अगर आप भी कॉर्पोरेट सेक्टर का हिस्सा हैं और अपनी कंपनी के लिए महत्वपूर्ण डेटा, चालान या बिल भेजते हैं, तो यह खबर आपके लिए उपयोगी है. दरअसल, साइबर हैकर्स अब कॉर्पोरेट्स को निशाना बनाने के लिए ई-मेल फॉरवर्डर का उपयोग कर रहे हैं.
हाल ही में एक हैकर ने एक नामी कंपनी के ई-मेल अकाउंट को फॉरवर्ड कर हैक कर लिया और कंपनी के बैंक खाते की जानकारी के साथ एक विदेशी ग्राहक को 38 लाख रुपये का बिल भेजा दिया. जल्द ही कंपनी के मेल से हैकर ने ग्राहक को एक और मेल में बिल भेजा. नए मेल में उसने अपना बैंक खाता जोड़ा और ग्राहक से कंपनी के खाते के बजाए दूसरे चालान में भेजे गए बैंक खाते में भुगतान करने के लिए कहा.
हालांकि, क्लाइंट ने कंपनी के अधिकारियों से संपर्क किया और हैकर द्वारा भेजे गए बैंक खाते में भुगतान जमा करने से पहले बिल और बैंक खाते के बारे में पूछताछ की.
ग्राहक द्वारा सही समय पर उठाए गए सही कदम से कंपनी को यह जानने में मदद मिली कि उनका अकाउंट हैक कर लिया गया था.
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ई-मेल फॉर्वरडिंग को लेकर साइबर सिक्योरिटी एक्सपर्ट सचिन शर्मा ने कहा कि कॉर्पोरेट सेक्टर की सभी कंपनियों को साइबर हैकर्स की इन जालसाजी में फंसने से बचने के लिए ईमेल सुरक्षा पर विशेष ध्यान देना चाहिए.
साथ ही उन्हें हर कंप्यूटर सिस्टम में एंटीवायरस को एनेबल करना चाहिए. साथ ही कंपनियों को कंप्यूटर से पायरेटेड एंटीवायरस हटा देना चाहिए. साइबर हमले उन्हें कमजोर कर रहे हैं. इसलिए कंपनियों को साइबर हमलों के लिए संवेदनशील रहना चाहिए.