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गन्ना किसानों के लिए बड़ा फैसला, 3,500 करोड़ रुपये के चीनी निर्यात पर सब्सिडी देगी सरकार

केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने बताया है कि केंद्र सरकार ने इस वर्ष गन्ना के बंपर उत्पादन के मद्देनजर चीनी का निर्यात करने का फैसला लिया है. उन्होंने बताया कि 60 लाख टन गन्ना निर्यात के बाद सीधे किसानों के खातों में बड़ी रकम जमा कराई जाएगी.

यूनियन कैबिनेट की बैठक
यूनियन कैबिनेट की बैठक
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Published : Dec 16, 2020, 3:12 PM IST

Updated : Dec 16, 2020, 7:02 PM IST

नई दिल्ली: सरकार ने चीनी मिलों के लिए चालू विपणन वर्ष (2020-21) में 60 लाख टन चीनी निर्यात को 3,500 करोड़ रुपये की निर्यात सब्सिडी को मंजूरी दे दी है. उम्मीद है कि इससे चीनी मिलों की बिक्री बढ़ेगी और नकद धन आने से उन्हें किसानों के गन्ने का के बकाये का भुगतान करने में मदद मिलेगी.

केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर

सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने बुधवार को मंत्रिमंडल की आर्थिक मामलों की समिति (सीसीईए) की बैठक के बाद बताया कि सीसीईए ने 60 लाख टन चीनी निर्यात के लिए 3,500 करोड़ रुपये की सब्सिडी को मंजूरी दी है. सब्सिडी की राशि सीधे किसानों को दी जाएगी.

जावड़ेकर ने कहा कि चीनी उद्योग के साथ गन्ना किसान भी संकट में हैं. देश में चीनी का उत्पादन खपत से अधिक है. इस बार उप्तादन अनुमानित 310 लाख टन रहेगा जबकि घरेलू मांग 260 लाख टन की है. उन्होंने कहा कि इस फैसले से पांच करोड़ किसानों को लाभ होगा.

सरकार ने 2019-20 के विपणन वर्ष (अक्टूबर-सितंबर) के दौरान एकमुश्त 10,448 रुपये प्रति टन की निर्यात सब्सिडी दी थी. इससे सरकारी खजाने पर 6,268 करोड़ रुपये का बोझ पड़ा था.

आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार चीनी मिलों ने 2019-20 के विपणन सत्र में 60 लाख टन निर्धारित कोटा की तुलना में 57 लाख टन चीनी का निर्यात किया था.

ये भी पढ़ें: 50 रुपये महंगी हुई रसोई गैस, एटीएफ की कीमतों में भी 6.3 फीसदी की वृद्धि

नई दिल्ली: सरकार ने चीनी मिलों के लिए चालू विपणन वर्ष (2020-21) में 60 लाख टन चीनी निर्यात को 3,500 करोड़ रुपये की निर्यात सब्सिडी को मंजूरी दे दी है. उम्मीद है कि इससे चीनी मिलों की बिक्री बढ़ेगी और नकद धन आने से उन्हें किसानों के गन्ने का के बकाये का भुगतान करने में मदद मिलेगी.

केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर

सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने बुधवार को मंत्रिमंडल की आर्थिक मामलों की समिति (सीसीईए) की बैठक के बाद बताया कि सीसीईए ने 60 लाख टन चीनी निर्यात के लिए 3,500 करोड़ रुपये की सब्सिडी को मंजूरी दी है. सब्सिडी की राशि सीधे किसानों को दी जाएगी.

जावड़ेकर ने कहा कि चीनी उद्योग के साथ गन्ना किसान भी संकट में हैं. देश में चीनी का उत्पादन खपत से अधिक है. इस बार उप्तादन अनुमानित 310 लाख टन रहेगा जबकि घरेलू मांग 260 लाख टन की है. उन्होंने कहा कि इस फैसले से पांच करोड़ किसानों को लाभ होगा.

सरकार ने 2019-20 के विपणन वर्ष (अक्टूबर-सितंबर) के दौरान एकमुश्त 10,448 रुपये प्रति टन की निर्यात सब्सिडी दी थी. इससे सरकारी खजाने पर 6,268 करोड़ रुपये का बोझ पड़ा था.

आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार चीनी मिलों ने 2019-20 के विपणन सत्र में 60 लाख टन निर्धारित कोटा की तुलना में 57 लाख टन चीनी का निर्यात किया था.

ये भी पढ़ें: 50 रुपये महंगी हुई रसोई गैस, एटीएफ की कीमतों में भी 6.3 फीसदी की वृद्धि

Last Updated : Dec 16, 2020, 7:02 PM IST
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