कोलकाता : पश्चिम बंगाल पुलिस पांच जनवरी को छापेमारी के दौरान केंद्रीय एजेंसी के अधिकारियों पर भीड़ के हमले के संबंध में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के एक अधिकारी का बयान बुधवार को दर्ज नहीं कर सकी. राज्य पुलिस के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी. संदेशखली इलाके में ईडी अधिकारियों और केंद्रीय सुरक्षा बलों के कर्मियों पर उस समय हमला किया गया था जब वे राशन वितरण घोटाले के संबंध में तृणमूल कांग्रेस के नेता शाहजहां शेख के आवास पर छापा मारने जा रहे थे.
राज्य पुलिस की एक टीम उस उप निदेशक का बयान दर्ज करने के लिए ईडी कार्यालय गई, जिन्होंने संदेशखली में ईडी अधिकारियों पर हमले को लेकर पुलिस में शिकायत दर्ज कराई थी. पुलिस टीम का नेतृत्व करने वाले अधिकारी ने कहा कि वे शिकायत दर्ज करने वाले ईडी के उप निदेशक से बात नहीं कर सके क्योंकि उन्हें बताया गया कि वह व्यस्त हैं. उन्होंने यहां साल्ट लेक स्थित एजेंसी कार्यालय से निकलते हुए संवाददाताओं से कहा कि शिकायतकर्ता ईडी उपनिदेशक अन्य कार्यों में व्यस्त हैं.
उन्होंने कहा कि ईडी को तीन बार नोटिस भेजा गया था और यह दूसरी बार था जब पुलिस टीम उसके कार्यालय गई लेकिन संदेशखली घटना के संबंध में शिकायतकर्ता से बात नहीं हो सकी. ईडी ने कहा था कि पश्चिम बंगाल के 24 परगना जिले में इसकी छापेमारी के दौरान एक भीड़ के हमले में इसके अधिकारी गंभीर रूप से घायल हो गये थे और मोबाइल फोन एवं बटुआ जैसी उनकी वस्तुओं को लूट लिया गया. एजेंसी ने कहा था कि ईडी अधिकारियों के कर्तव्य निर्वहन करने के दौरान उन पर भीड़ ने हमला किया.
ईडी ने कहा था कि इस घटना में तीन अधिकारी गंभीर रूप से घायल हो गये थे. शाहजहां फरार है और ईडी ने उनके खिलाफ ‘लुक-आउट सर्कुलर’ जारी किया है. पांच जनवरी को ही उक्त जिले के बनगांव में एक अन्य तृणमूल कांग्रेस नेता शंकर आद्या की गिरफ्तारी के दौरान एजेंसी की एक और टीम पर हमला किया गया था और उनका वाहन क्षतिग्रस्त कर दिया गया था.