बेंगलुरु : कर्नाटक में बसव'राज' शुरू हो गया है. वरिष्ठ भाजपा नेता बसवराज बोम्मई (Basavaraj Bommai) ने आज कर्नाटक के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली. बेंगलुरु स्थित राजभवन में राज्यपाल थावर चंद गहलोत ने उन्हें पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई. शपथ ग्रहण कार्यक्रम में पूर्व मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा समेत बीजेपी के कई वरिष्ठ नेता भी मौजूद रहे.
बसवराज बोम्मई लिंगायत समुदाय से आते हैं. 61 वर्षीय बोम्मई इससे पहले येदियुरप्पा सरकार में गृह, कानून, संसदीय मामलों एवं विधायी कार्य मंत्रालयों की जिम्मेदारी संभाल रहे थे और साथ ही हावेरी और उडुपी जिलों के प्रभारी मंत्री भी थे.
कर्नाटक में नेतृत्व परिवर्तन को लेकर भाजपा में लंबे मंथन के बाद बीएस येदियुरप्पा ने सोमवार को मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था. येदियुरप्पा के करीबी माने जाने बसवराज सोमप्पा बोम्मई के मंगलवार को कर्नाटक भाजपा विधायक दल का नेता चुना गया था.
पीएम मोदी ने बोम्मई को दी बधाई, येदियुरप्पा के योगदान को सराहा
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कर्नाटक के नए मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई को बधाई दी है और उन्हें अच्छे और सार्थक कार्यकाल के लिए शुभकामनाएं दीं. मोदी ने पूर्व मुख्यमंत्री येदियुरप्पा की भी सराहना की. मोदी ने कहा कि कर्नाटक के विकास और वहां भाजपा को मजबूती प्रदान करने में उनके विशाल योगदान का वर्णन करने के लिए शब्द कम पड़ जाएंगे.
मोदी ने ट्वीट में कहा, कर्नाटक के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ लेने पर बसवराज बोम्मई को बधाई. उनके पास विधायी और प्रशासनिक कामकाज का लंबा अनुभव है. मुझे उम्मीद है कि राज्य में हमारी सरकार द्वारा किए गए असाधारण कार्य को वह आगे बढ़ाएंगे। उन्हें बेहतरीन व सार्थक कार्यकाल की बधाई.
एक अन्य ट्वीट में प्रधानमंत्री ने येदियुरप्पा की सराहना करते हुए कहा, कर्नाटक के विकास और वहां पार्टी को मजबूती प्रदान करने में उनके विशाल योगदान का वर्णन करने के लिए शब्द कम पड़ जाएंगे. दशकों तक उन्होंने कड़ी मेहनत की, कर्नाटक के सभी इलाकों का दौरा किया और लोगों के साथ आत्मीय संबंध बनाए. समाज कल्याण को लेकर उनकी प्रतिबद्धता की सभी प्रशंसा करते हैं.
प्रारंभिक जीवन
बसवराज बोम्मई के पिता एसआर बोम्मई कर्नाटक के 11वें मुख्यमंत्री थे. हुबली में 28 जनवरी 1960 को जन्मे बसवराज बोम्मई ने मकेनिकल इंजीनियरिंग की पढ़ाई की है. उन्होंने पुणे में तीन साल तक टाटा मोटर्स में काम किया और फिर उद्यमी बने. उनकी जाति, शैक्षणिक योग्यता, प्रशासनिक क्षमताएं और येदियुरप्पा व भाजपा के केंद्रीय नेताओं से करीबी इस पद के लिये उनके चयन की प्रमुख वजहों में बताई जा रही हैं.
परिवार की बात करें तो बोम्मई का विवाह चेनम्मा से हुआ है और उनके एक बेटा व एक बेटी हैं.
बोम्मई प्रभावशाली वीराशैव-लिंगायत समुदाय से आते हैं और येदियुरप्पा भी इसी समुदाय से हैं. राज्य की कुल आबादी में समुदाय की हिस्सेदारी 16-17 प्रतिशत है और इसे भाजपा के मजबूत वोटबैंक के तौर पर देखा जाता है.
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