रायपुर: भारत के श्रीमंत झा ने अब वर्ल्ड चैंपियनशिप को भी अपने नाम कर लिया है. उन्होंने पैरा आर्म रेसलिंग में वर्ल्ड चैंपियनशिप में भारत के लिए ब्रॉन्ज मेडल जीता है. कजाकिस्तान में वर्ल्ड पैरा आर्म रेसलिंग चैंपियनशिप में पहुंचने से पहले उन्होंने हर वो मेडल जीता, जो वो जीत सकते थे. पीआईयूएच वर्ग में प्रतिस्पर्धा करते हुए श्रीमंत झा कजाकिस्तान की निकिता चेबाकोव, जॉर्जिया की रति अराबुली को हराकर ब्रॉन्ज मेडल अपने नाम किया है.
श्रीमंत झा ने खेल मंत्री का जताया आभार: भिलाई के रहने वाले आर्म रेसलर श्रीमंत झा ने छत्तीसगढ़ ही नहीं बल्कि भारत का नाम रौशन किया है. यह आयोजन कजाकिस्तान में 24 अगस्त 2023 से 03 सितंबर 2023 तक आयोजित है. श्रीमंत झा ने खेल मंत्री अनुराग ठाकुर और जिंदल स्टील एंड पावर के अध्यक्ष नवीन जिंदल को धन्यवाद दिया है.
मैं पीपुल्स आर्म रेसलिंग फेडरेशन इंडिया की अध्यक्ष प्रीति झंगियानी और महासचिव लक्ष्मण सिंह भंडारी और चेयरमैन सुरेश बेब को धन्यवाद देना चाहता हूं. कोच और फिटनेस कोच ऋषभ जैन और राजू साहू ने दो महीने पहले छत्तीसगढ़ में जो काम किया, उससे मुझे यह पदक पाने में मदद मिली. अपनी जीत के बाद यह मेरे लिए एक विशेष जीत है, क्योंकि 3 साल के टूर्नामेंट के अंतराल के बाद यह मेरे लिए पहली विश्व चैंपियन जीत है. -श्रीमंत झा, आर्म रेसलिंग के चैंपियन
'इसरो के वैज्ञानिकों को समर्पित करना चाहता हूं पदक': वास्तव में कड़ी मेहनत की है और यह एक महत्वपूर्ण कदम है. श्रीमंत झा ने कहा कि अब मेरा ध्यान आगामी अंतर्राष्ट्रीय टूर्नामेंट पर है, मैं आज जो हासिल किया उसे दोहराना चाहूंगा. युवा खेल पर ध्यान दें, कुछ भी मुश्किल नहीं है. मैं जन्म से दिव्यांग हूं लेकिन फिर भी अपने देश के लिए पदक जीत रहा हूं. श्रीमंत ने 42 वां अंतर्राष्ट्रीय पदक हासिल किया. वर्ल्ड नंबर 3 और एशिया नंबर 1 पैरा-आर्म रेसलिंग बेशक, यह पदक देश की जनता का है, लेकिन मैं इसे मिशन चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग पर इसरो के महान वैज्ञानिकों को भी समर्पित करना चाहता हूं. उन्होने पदक जीतने का सारा श्रेय अपने माता-पिता और जिंदल स्टील एंड पावर के चेयरमैन नवीन जिंदल को दिया, जिनके आशीर्वाद और समर्थन के कारण ही वो आज इस मुकाम पर पहुंच पाए.