बस्तर: जगदलपुर के नगरनार स्थित NMDC स्टील प्लांट के निजीकरण को लेकर बस्तर में विरोध तेज हो गया है. सुकमा जिला पंचायत अध्यक्ष हरीश कवासी ने विरोध के तौर पर पदयात्रा का ऐलान कर दिया है. बता दें हरीश कवासी कांग्रेस नेता हैं. साथ ही बस्तर इलाके के जमीनी नेता के रूप में जाने जाते हैं. उन्होंने NMDC के निजीकरण के खिलाफ पदयात्रा करने का ऐलान किया है. जानकारी के मुताबिक पदयात्रा 23 सितंबर से शुरू होगी. लगभग 130 किलोमीटर की पदयात्रा सुकमा से होकर जगदलपुर से नगरनार प्लांट तक पहुंचेगी. हड़ताल और प्रदर्शन के बाद यहां यात्रा खत्म होगी.
PM मोदी की नीतियों को बताया गलत
सुकमा जिला पंचायत अध्यक्ष हरीश कवासी ने बताया कि जिस तरह से केंद्र की मोदी सरकार सरकारी उपक्रमों और उद्योगों को बेचना चाह रही है, वह बस्तर के लोग कभी होने नहीं देंगे. बस्तरवासी केंद्र को बताएंगे कि संविधान की ताकत क्या होती है. फिर चाहे वह विरोध की ताकत हो या फिर पांचवी अनुसूची में ग्राम पंचायत और स्थानीय लोगों को दिए गए ताकत की बात हो. उन्होंने कहा कि किसी भी कीमत पर NMDC स्टील प्लांट का निजीकरण होने नहीं दिया जाएगा.
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हरीश ने कहा कि बस्तर में लंबे संघर्ष के बाद नगरनार एनएमडीसी आयरन एंड स्टील प्लांट की स्थापना का मार्ग प्रशस्त हुआ है. लंबे समय से स्टील प्लांट की स्थापना की राह देखी जा रही थी. सभी लोगों के प्रयासों से और नगरनार क्षेत्र के किसानों के जमीन उपलब्ध कराने के बाद यह संभव हो सका है. मोदी सरकार ने स्टील प्लांट को बेचने का निर्णय लिया है, इस पर तत्परता से कार्रवाई करते हुए एनएमडीसी ने भी हामी भर दी है. केंद्र सरकार और NMDC दोनों इसका निर्णय लेकर बस्तर के साथ धोखा करने जा रहे हैं. हम लोगों के साथ मिलकर इसका पुरजोर विरोध करते हुए 23 सितंबर से पदयात्रा करेंगे.
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5 सितंबर को होनी थी रैली
हरीश कवासी ने कहा कि यह पदयात्रा 5 सितंबर से शुरू होने वाली थी. लेकिन बस्तर और सुकमा दोनों जिला प्रशासन ने केंद्र सरकार की गाइडलाइन प्रेषित करते हुए 1 सितंबर से 21 सितंबर तक सभी राजनीतिक रैलियां बंद रहने की बात कही है. जिस वजह से अब 23 सितंबर से यह पदयात्रा निकाली जाएगी. हरीश कवासी ने बताया कि इस पदयात्रा में बस्तर संभाग के सभी विधायकों और जनप्रतिनिधियों को भी आमंत्रित किया गया है. इसके अलावा बस्तर के युवा बेरोजगार और किसान इस पदयात्रा में शामिल होंगे.