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dhamtari crime news धमतरी में आरक्षक साइबर फ्रॉड का शिकार, तीन माह बाद भी कार्रवाई नहीं

धमतरी में एक पुलिस आरक्षक ही ऑनलाइन ठगों का शिकार बन गया. वहीं शिकायत के तीन माह बाद भी कोई कार्रवाई नही हुई है.मामले में आरक्षक को ठगों ने करीब एक महीने तक बेवकूफ बनाया और किस्तों में एक लाख बीस हजार रुपए अपने खाते में जमा करवा ली. सामान की डिलिवरी नहीं होने पर आरक्षक को ठगी का पता चला.dhamtari crime news

धमतरी में आरक्षक साइबर फ्रॉड का शिकार
धमतरी में आरक्षक साइबर फ्रॉड का शिकार
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Published : Dec 2, 2022, 5:35 PM IST

Updated : Dec 2, 2022, 7:31 PM IST

धमतरी : ठगी के मामले रोजाना बढ़ते जा रहे हैं . ठग तरह तरह के हथकंडों के साथ लोगों को अपनी जाल में फंसाकर ठग रहे हैं. ताजा मामला धमतरी का है जहां धमतरी में एक पुलिस आरक्षक ही ऑनलाइन ठगों का शिकार बन गया. हद तो तब हो गई जब शिकायत के तीन माह बाद भी थाना ने कोई कार्रवाई नही की. पहले ठगों से फिर अपने ही महकमे से पीड़ित आरक्षक ने अब आईजी के सामने पेश होने के लिए एसपी से अनुमति मांगी है.

कहां का है मामला : आरक्षक वेदरामा धमतरी के अछोटा गांव का रहने वाला है. उसने बताया कि वह एक नामी कंपनी की इलेक्ट्रिक स्कूटर खरीदने का फैसला किया. ये कंपनी ऑनलाइन बुकिंग के बाद ऑनलाइन ही पेमेंट लेती है. स्कूटर को होम डिलीवरी करती है. इस कारण आरक्षक ने ऑनलाइन पेमेंट के लिए नम्बर सर्च किया. जो नम्बर मिला वो ठगों का था. आरक्षक ने उस नम्बर पर यूपीआई से 1 लाख 15 हजार ट्रांसफर कर दिये. ये रकम कंपनी के खाते में नहीं गई. जब इसका पता चला तो अगस्त माह में आरक्षक ने अर्जुनी थाना (Arjuni Police Station) में शिकायत दर्ज करवाई. लेकिन अब तक पुलिस ने इस ठगी के मामले में कोई भी कार्रवाई नही की है.

ऑनलाइन देखा था स्कूटर : आरक्षक वेदरामा देवांगन ने बताया कि '' अगस्त 2022 में ओला कंपनी की स्कूटर खरीदने के लिए उसने गूगल में कंपनी की साइट में जाकर नंबर निकाला था. इस नंबर पर बात करने पर अज्ञात व्यक्ति ने सबसे पहले बुकिंग चार्ज के नाम से 499 रूपये बारकोड के जरिए जमा कराए. जिसके बाद डाउन पेमेंट के नाम से करीब 20 हजार रूपये फिर जमा कराया. लगातार जालसाज स्कूटर देने के नाम से अलग-अलग किस्तों में करीब एक लाख रूपये अपने खाते में जमा करवाया.'' वहीं जालसाज हर बार आरक्षक को गाड़ी डिलिवरी का झांसा देता रहा.लेकिन समय बीतने पर जब स्कूटर नहीं आया तो आरक्षक को ठगी का अहसास हुआ.

ये भी पढ़ें- धमतरी में दुष्कर्म पीड़िता ने एसपी से लगाई इंसाफ की गुहार

साइबर सेल में की शिकायत : स्कूटर नहीं आने पर आरक्षक ने इसकी शिकायत रूद्री थाना और साइबर सेल में की. आरक्षक का कहना है कि मामले को तीन माह होने के बाद भी इसमें किसी तरह की कोई कार्रवाई नही हुई है. जिसके कारण आरक्षक ठगी करने वाले की जल्द गिरफ्तारी कर रकम वापस दिलाने की मांग कर रहा है. वहीं पुलिस प्रशासन का कहना है कि मामले की जांच चल रही है और जल्द आरोपी की गिरफ्तारी की जायेगी. अब देखना होगा कि इस आरक्षक को उसका पैसा पुलिस दिलवा पाती है या नही. लेकिन ये तो साफ दिख रहा है कि जब पुलिस वाले का काम ही पुलिस नही कर रही तो आम आदमी का काम थानों में किस गति से होता होगा आप समझ सकते हैं.dhamtari crime news

धमतरी : ठगी के मामले रोजाना बढ़ते जा रहे हैं . ठग तरह तरह के हथकंडों के साथ लोगों को अपनी जाल में फंसाकर ठग रहे हैं. ताजा मामला धमतरी का है जहां धमतरी में एक पुलिस आरक्षक ही ऑनलाइन ठगों का शिकार बन गया. हद तो तब हो गई जब शिकायत के तीन माह बाद भी थाना ने कोई कार्रवाई नही की. पहले ठगों से फिर अपने ही महकमे से पीड़ित आरक्षक ने अब आईजी के सामने पेश होने के लिए एसपी से अनुमति मांगी है.

कहां का है मामला : आरक्षक वेदरामा धमतरी के अछोटा गांव का रहने वाला है. उसने बताया कि वह एक नामी कंपनी की इलेक्ट्रिक स्कूटर खरीदने का फैसला किया. ये कंपनी ऑनलाइन बुकिंग के बाद ऑनलाइन ही पेमेंट लेती है. स्कूटर को होम डिलीवरी करती है. इस कारण आरक्षक ने ऑनलाइन पेमेंट के लिए नम्बर सर्च किया. जो नम्बर मिला वो ठगों का था. आरक्षक ने उस नम्बर पर यूपीआई से 1 लाख 15 हजार ट्रांसफर कर दिये. ये रकम कंपनी के खाते में नहीं गई. जब इसका पता चला तो अगस्त माह में आरक्षक ने अर्जुनी थाना (Arjuni Police Station) में शिकायत दर्ज करवाई. लेकिन अब तक पुलिस ने इस ठगी के मामले में कोई भी कार्रवाई नही की है.

ऑनलाइन देखा था स्कूटर : आरक्षक वेदरामा देवांगन ने बताया कि '' अगस्त 2022 में ओला कंपनी की स्कूटर खरीदने के लिए उसने गूगल में कंपनी की साइट में जाकर नंबर निकाला था. इस नंबर पर बात करने पर अज्ञात व्यक्ति ने सबसे पहले बुकिंग चार्ज के नाम से 499 रूपये बारकोड के जरिए जमा कराए. जिसके बाद डाउन पेमेंट के नाम से करीब 20 हजार रूपये फिर जमा कराया. लगातार जालसाज स्कूटर देने के नाम से अलग-अलग किस्तों में करीब एक लाख रूपये अपने खाते में जमा करवाया.'' वहीं जालसाज हर बार आरक्षक को गाड़ी डिलिवरी का झांसा देता रहा.लेकिन समय बीतने पर जब स्कूटर नहीं आया तो आरक्षक को ठगी का अहसास हुआ.

ये भी पढ़ें- धमतरी में दुष्कर्म पीड़िता ने एसपी से लगाई इंसाफ की गुहार

साइबर सेल में की शिकायत : स्कूटर नहीं आने पर आरक्षक ने इसकी शिकायत रूद्री थाना और साइबर सेल में की. आरक्षक का कहना है कि मामले को तीन माह होने के बाद भी इसमें किसी तरह की कोई कार्रवाई नही हुई है. जिसके कारण आरक्षक ठगी करने वाले की जल्द गिरफ्तारी कर रकम वापस दिलाने की मांग कर रहा है. वहीं पुलिस प्रशासन का कहना है कि मामले की जांच चल रही है और जल्द आरोपी की गिरफ्तारी की जायेगी. अब देखना होगा कि इस आरक्षक को उसका पैसा पुलिस दिलवा पाती है या नही. लेकिन ये तो साफ दिख रहा है कि जब पुलिस वाले का काम ही पुलिस नही कर रही तो आम आदमी का काम थानों में किस गति से होता होगा आप समझ सकते हैं.dhamtari crime news

Last Updated : Dec 2, 2022, 7:31 PM IST
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