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बेतिया: नेपाल में हो रही बारिश ने बढ़ाई परेशानी, ददरी पंचायत पर मंडरा रहा कटाव का खतरा - Flood in Bihar

नेपाल में हो रही बारिश के कारण दादरी पंचायत में स्तिथ छोटा भापसा नदी उफान पर है. जिस वजह से इलाके में तेजी से कटाव हो रहा है. कटाव के कारण दर्जनों किसानों की फसल भी बर्बाद हो चुकी है.

Betiya
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Published : Sep 18, 2020, 6:43 PM IST

बेतिया(वाल्मीकिनगर): नेपाल के पहाड़ी क्षेत्रों में लगातार हो रही बारिश से ददरी पंचायत के पछफेड़वा गांव के किसानों पर पहाड़ी नदी (छोटा भापसा) नदी का कहर जारी है. दरअसल, नदी से हो रहे कटाव के कारण किसानों के खेत में लगे गन्ना की फसल नदी की गर्भ में समाहित हो रहे हैं. लगातार जारी कटाव के कारण इलाके के किसानों में बेचैनी बढ़ गई है.

दर्जनों किसान परेशान

शुक्रवार शुक्रवार को भी कटाव में दर्जनों किसान के कई एकड़ की फसल नदी की गर्भ में समाहित हो गए. जिसमें बरड़लाल खतईत की ढेड़ एकड़, चन्द्रलाल खतईत की तीन एकड़, ओमप्रकाश महतो की एक एकड़, राज खतईत की एक एकड़, नन्दकिशोर खतईत की ढाई एकड़, बेचनलाल काजी एक एकड़, राजेश काजी की एक एकड़ सहित दर्जनों किसानों की फसल नदी में विलीन हो चुकी है.

पीड़ित किसान बताते हैं कि बड़ी उम्मीद के साथ महंगाई की मार झेलकर उनलोगों ने फसल लगाई थी. लेकिन पहले बाढ़ और कटाव के कारण उनकी फसल नष्ट हो चुकी है. लोगों ने सलोन जिला प्रशासन से मदद की गुहार लगाई.

जिला प्रशासन बेखबर

हालांकि, कटाव की खबर को लेकर जल संसाधन विभाग के अधिकारी अभी तक बेखबर है. नौरंगिया दरदरी पंचायत पछफेड़वा गांव के समाजसेवी राजेश काजी ने बताया कि नदी के कटाव की चपेट में आने वाले किसानों की हालत दयनीय है. प्रशासन को कटाव रोकने के लिए फौरन पहल करनी चाहिए. उन्होंने बताया कि कटाव के कारण इलाके कि एक किलोमीटर कच्ची सड़क भी नदी की चपेट में आ गई है. बता दें कि पछफेड़वा गांव नौरंगिया थाना से लगभग पांच किमी की दूरी पर है.

बेतिया(वाल्मीकिनगर): नेपाल के पहाड़ी क्षेत्रों में लगातार हो रही बारिश से ददरी पंचायत के पछफेड़वा गांव के किसानों पर पहाड़ी नदी (छोटा भापसा) नदी का कहर जारी है. दरअसल, नदी से हो रहे कटाव के कारण किसानों के खेत में लगे गन्ना की फसल नदी की गर्भ में समाहित हो रहे हैं. लगातार जारी कटाव के कारण इलाके के किसानों में बेचैनी बढ़ गई है.

दर्जनों किसान परेशान

शुक्रवार शुक्रवार को भी कटाव में दर्जनों किसान के कई एकड़ की फसल नदी की गर्भ में समाहित हो गए. जिसमें बरड़लाल खतईत की ढेड़ एकड़, चन्द्रलाल खतईत की तीन एकड़, ओमप्रकाश महतो की एक एकड़, राज खतईत की एक एकड़, नन्दकिशोर खतईत की ढाई एकड़, बेचनलाल काजी एक एकड़, राजेश काजी की एक एकड़ सहित दर्जनों किसानों की फसल नदी में विलीन हो चुकी है.

पीड़ित किसान बताते हैं कि बड़ी उम्मीद के साथ महंगाई की मार झेलकर उनलोगों ने फसल लगाई थी. लेकिन पहले बाढ़ और कटाव के कारण उनकी फसल नष्ट हो चुकी है. लोगों ने सलोन जिला प्रशासन से मदद की गुहार लगाई.

जिला प्रशासन बेखबर

हालांकि, कटाव की खबर को लेकर जल संसाधन विभाग के अधिकारी अभी तक बेखबर है. नौरंगिया दरदरी पंचायत पछफेड़वा गांव के समाजसेवी राजेश काजी ने बताया कि नदी के कटाव की चपेट में आने वाले किसानों की हालत दयनीय है. प्रशासन को कटाव रोकने के लिए फौरन पहल करनी चाहिए. उन्होंने बताया कि कटाव के कारण इलाके कि एक किलोमीटर कच्ची सड़क भी नदी की चपेट में आ गई है. बता दें कि पछफेड़वा गांव नौरंगिया थाना से लगभग पांच किमी की दूरी पर है.

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