ETV Bharat / state

वैशाली: दम तोड़ रहा यहां CM नीतीश का ड्रीम प्रोजेक्ट, बुनियादी सुविधाएं भी हैं नदारद

इस बस्ती के लोग विकास नहीं होने पर खुद को ठगा महसूस करते हैं. बिजली की भी स्थिति काफी जर्जर है. तार नीचे लटके हुए हैं. ऐसे में बारिश के समय में हमेशा खतरा बना रहता है.

स्तीपुर गांव में नहीं पहुंची हर-घर नल जल योजना
author img

By

Published : Jul 20, 2019, 12:36 PM IST

वैशाली: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का ड्रीम प्रोजेक्ट 'हर घर, नल से जल' योजना सफेद हाथी साबित हो रहा है. इसकी एक और बानगी दिखी हाजीपुर प्रखंड के अस्तीपुर गांव के वार्ड नंबर 2 और 3 में. यहां बुनियादी सुविधाएं भी नदारत हैं. यहां लोग सड़क से लेकर पानी और बिजली तक की समस्याओं से जूझ रहे हैं.

जिला मुख्यालय हाजीपुर से महज सात किलोमीटर की दूरी पर स्थित है गौसपुर इजरा पंचायत. यहां के अस्तीपुर गांव के वार्ड 2 और 3 में बुनियादी सुविधाओं का घोर अभाव है. मुख्यमंत्री के सभी दावे खोखले साबित हो रहे हैं. लाख प्रयास के वाबजूद यहां पांच वर्षों में घर-घर नल जल योजना नहीं पहुंची है. सरकारी तौर पर सिर्फ चार चापाकल की व्यवस्था की गई है वो भी सूखे और खराब पड़े हैं.

स्वास्थ्य उपकेंद्र पर लटका ताला
इस क्षेत्र में दो साल पहले सरकार द्वारा लाखों रुपये खर्च करके स्वास्थ्य उपकेंद्र बनवाया गया था जो आजतक बंद पड़ा है. इसका खामियाजा आएं दिन लोगों को भुगतना पड़ता है. छोटे मोटे इलाज के लिए भी इन्हें हजारों रुपये खर्च कर सात किलोमीटर दूर जाना पड़ता है.

पेश है रिपोर्ट

पेयजल की समस्या से जूझ रहे लोग
क्षेत्र में ड्रेनेज नहीं होने के चलते नाले का पानी सड़कों पर बह रहा है. लोगों को आवागमन करने में काफी कठिनाई होती है. लोगों का कहना है कि यहां सबसे ज्यादा पेयजल की समस्या है. इस क्षेत्र में रह रहे अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों ने सरकार पर भेदभाव का भी आरोप लगाया है. गांव के एक बुजुर्ग की मानें तो आसपास के क्षेत्रों में सरकार ने कुछ कार्य भी कराया हैं लेकिन हाजीपुर प्रखंड के अस्तीपुर गांव में विकास के नाम पर कुछ नहीं कराया गया.

शिकायत करने पर भी नहीं निकला समाधान
इस बस्ती के लोग विकास नहीं होने पर खुद को ठगा महसूस करते हैं. बिजली की भी स्थिति काफी जर्जर है. तार नीचे लटके हुए हैं. ऐसे में बारिश के समय में हमेशा खतरा बना रहता है. इसकी शिकायत कई बार जनप्रतिनिधियों से की गई बावजूद इसके स्थिति में सुधार नहीं हुआ.

क्या कहते हैं पीएचइडी विभाग के कार्यपालक अभियंता
इस संबंध में पीएचइडी विभाग के कार्यपालक अभियंता मनोज कुमार ने बताया कि हमलोग लगातार युद्ध स्तर पर कार्य कर रहे हैं. सरकार के निर्देशानुसार निवेदा आवंटित किया गया है. कई जगहों पर काम शुरु हो गया है. जल संकट की समस्या से जूझ रहे लोगों के बीच जलापूर्ति की जा रही है.

वैशाली: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का ड्रीम प्रोजेक्ट 'हर घर, नल से जल' योजना सफेद हाथी साबित हो रहा है. इसकी एक और बानगी दिखी हाजीपुर प्रखंड के अस्तीपुर गांव के वार्ड नंबर 2 और 3 में. यहां बुनियादी सुविधाएं भी नदारत हैं. यहां लोग सड़क से लेकर पानी और बिजली तक की समस्याओं से जूझ रहे हैं.

जिला मुख्यालय हाजीपुर से महज सात किलोमीटर की दूरी पर स्थित है गौसपुर इजरा पंचायत. यहां के अस्तीपुर गांव के वार्ड 2 और 3 में बुनियादी सुविधाओं का घोर अभाव है. मुख्यमंत्री के सभी दावे खोखले साबित हो रहे हैं. लाख प्रयास के वाबजूद यहां पांच वर्षों में घर-घर नल जल योजना नहीं पहुंची है. सरकारी तौर पर सिर्फ चार चापाकल की व्यवस्था की गई है वो भी सूखे और खराब पड़े हैं.

स्वास्थ्य उपकेंद्र पर लटका ताला
इस क्षेत्र में दो साल पहले सरकार द्वारा लाखों रुपये खर्च करके स्वास्थ्य उपकेंद्र बनवाया गया था जो आजतक बंद पड़ा है. इसका खामियाजा आएं दिन लोगों को भुगतना पड़ता है. छोटे मोटे इलाज के लिए भी इन्हें हजारों रुपये खर्च कर सात किलोमीटर दूर जाना पड़ता है.

पेश है रिपोर्ट

पेयजल की समस्या से जूझ रहे लोग
क्षेत्र में ड्रेनेज नहीं होने के चलते नाले का पानी सड़कों पर बह रहा है. लोगों को आवागमन करने में काफी कठिनाई होती है. लोगों का कहना है कि यहां सबसे ज्यादा पेयजल की समस्या है. इस क्षेत्र में रह रहे अल्पसंख्यक समुदाय के लोगों ने सरकार पर भेदभाव का भी आरोप लगाया है. गांव के एक बुजुर्ग की मानें तो आसपास के क्षेत्रों में सरकार ने कुछ कार्य भी कराया हैं लेकिन हाजीपुर प्रखंड के अस्तीपुर गांव में विकास के नाम पर कुछ नहीं कराया गया.

शिकायत करने पर भी नहीं निकला समाधान
इस बस्ती के लोग विकास नहीं होने पर खुद को ठगा महसूस करते हैं. बिजली की भी स्थिति काफी जर्जर है. तार नीचे लटके हुए हैं. ऐसे में बारिश के समय में हमेशा खतरा बना रहता है. इसकी शिकायत कई बार जनप्रतिनिधियों से की गई बावजूद इसके स्थिति में सुधार नहीं हुआ.

क्या कहते हैं पीएचइडी विभाग के कार्यपालक अभियंता
इस संबंध में पीएचइडी विभाग के कार्यपालक अभियंता मनोज कुमार ने बताया कि हमलोग लगातार युद्ध स्तर पर कार्य कर रहे हैं. सरकार के निर्देशानुसार निवेदा आवंटित किया गया है. कई जगहों पर काम शुरु हो गया है. जल संकट की समस्या से जूझ रहे लोगों के बीच जलापूर्ति की जा रही है.

Intro:लोकेशन: वैशाली
रिपोर्टर: राजीव कुमार श्रीवास्तवा

EXCLUSIVE:

बिहार के मुख्यमंन्त्री नीतीश कुमार के ड्रीम प्रॉजेक्ट योजना में से एक योजना घर-घर नल का जल योजना सफेद हाथी साबित हो रहा हैं। इसकी एक बानगी दिखीं वैशाली जिले के हाजीपुर प्रखण्ड क्षेत्र के गौसपुर इजरा पंचायत के अस्तीपुर गांव के वार्ड 2 और 3 में । यहा हजारों आबादी के बीच बुनियादी सुविधाएं नदारत हैं ।


Body:जिला मुख्यालय हाजीपुर से महज सात किलोमीटर दूरी पर स्थित हैं गौसपुर इजरा पंचायत ।यहा के अस्तीपुर गांव के वार्ड 2 और 3 में तीन हजार की आबादी के बीच सरकार द्वारा मिलने वाले बुनियादी सुविधायें नदारद हैं ।नतीजा यहा के लोगों को भारी परेशानियो का सामना रोजमर्रा जीवन मे करना पड़ता हैं। मुख्यमंन्त्री के लाख प्रयास के वाबजूद यहा पांच वर्षों में ड्रीम प्रॉजेक्ट योजना घर- घर नल का जल योजना पहुँच ही नहीं सका ।यहा सरकारी तौर पर सिर्फ चार चापाकल की व्यवस्था जरूर कराया गया है पर सभी के सभी चापाकलों की स्थिति जर्जर और सूखा पड़ा हैं जिसकी मरम्मती आज तक नहीं हो सकीं। यही वजह हैं कि यहा के लोगों द्वारा अपनी जमा पूंजी की कमाई की मोटी राशि परिवार की प्यास मिटाने के लिये बोरिंग कराना पड़ा ।

क्षेत्र में आज से दो वर्ष पूर्व सरकार द्वारा लाखों रुपये की राशि खर्च करके स्वास्थ्य उपकेंद्र जरूर बनवा दिया गया था जो आजतक बन्द पड़ा हुआ हैं ।यहा डॉक्टर, एनम और दवाईयां नहीं मिलने से छोटी मोटी इलाज के लिये यहा की लोगों को हजारों रुपये खर्च करके सात किलोमीटर की दूरी पर स्थित जिला सफर अस्पताल में जाकर अपना इलाज कराना पड़ता हैं।

क्षेत्र में ड्रेनेज नहीं होने के चलते सभी घरों की पानी गलियों की कच्ची सड़क पर बहती रहती हैं ।वारिस के समय में यह सड़कें भी पानी मे लापता हो जाती हैं ।घर से एक स्थान से दूसरे स्थान आवागमन करने में आयेदिन भारी कठिनाइयों की सामना करते हुए लोगों को देखा जाता हैं। यहा की एक जागरूक छात्रा ने बताया कि यहा पेयजल की समस्या बहुत हैं। उसने आगें सवालिया लहजे में सीएम नीतीश कुमार से पूछना चाहा कि आपके द्वारा 2020 वर्ष के पूर्व घर -घर नल के जल पूरे प्रदेश भर में पहुचाना था ..?इसका अभी तक क्या हुआ ।उसने जोड़ देकर पूछा कि मेरे गाँव मे अभी तक इस योजना के तहत अभी तक हमलोगों को इसका लाभ नहीं मिला , यह बहुत दुर्भाग्य की बात हैं। उंसने बुनियादी सुविधाओं से जूझता अपने गाँव को ETV भारत मीडिया के माध्यम से सरकार तक पहुचाने की आग्रह भी किया हैं।

यह क्षेत्र में अल्पसंख्यक समुदाय के लोग रहने के चलते लोगों ने सरकार पर भेदभाव का भी आरोप लगाया हैं। गाव के एक बुजुर्ग जनता की मानें तो आसपास के क्षेत्र में सरकार ने कुछ कार्य भी कराया हैं पर हमलोगों के क्षेत्र में नहीं कराया जाना कही न कहीं हमलोगो के साथ खिलवाड़ हो रहा हैं।

क्षेत्र में लोगो की शिकायत किये जानें पर हमने पूरे क्षेत्र में पड़ताल करने पर लोगों की शिकायत को सही पाया ।
इस बस्ती में रहने वाले लोग विकास नहीं होने पर खुद को ठगा ठगा सा महसूस करते हैं।

यहा की एक युवक जनता ने हमें बताया कि यहा क्षेत्र में बिजली की सभी तार पुरानी होने के साथ लुंज- पुंज की स्थिति से और सभी बिजली की तार और नीचे होने से वारिस के समय खतरा बनी रहती हैं। इसको लेकर जनप्रतिनिधियों से कई बार शिकायत करने के बाबजूद स्थिति में आज तक सुधार नही हुआ ।

जिला के पीएचइडी विभाग के कार्यपालक अभियंता मनोज कुमार से ETV भारत के इस संवाददाता ने जब पूछा तो उनका साफ तौर पर यही कहना था कि सरकार के इस ड्रीम प्रॉजेक्ट के तहत हमलोगों लगातार युद्ध स्तर पर कार्य कर रहें हैं और लोगों की पेयजल जैसी समस्याओं को यथा सम्भव दूर करने में भी सफलता पायी हैं।


Conclusion:बहरहाल, सरकार की भले यह ड्रीम प्रॉजेक्ट योजना कहलाती हैं पर जिले के इस क्षेत्र में यह योजना जिस तरह से टॉय- टॉय फिस्स हुई हैं इससे साफ पता चलता हैं कि सरकार के दावे हकीकत से कोशो दूर हैं।

विजुअल
विओ
बाइट: ग्रामीण जनता
बाइट : मनोज कुमार कार्यपालक अभियंता PHED विभाग हाजीपुर

PTC: संवाददाता , राजीव, वैशाली
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.