वैशाली: बिहार के वैशाली के हाजीपुर व्यवहार न्यायालय (Hajipur Civil Court) ने 4 दोषियों को उम्रकैद की सजा सुनाई है. यह अपने आप में बिहार का पहला मामला बन गया है, जब उत्पाद कोर्ट ने 4 दोषियों को एक साथ उम्र कैद की सजा सुनाई हो. इतना ही नहीं इन चारों में एक दोषी को 7 वर्ष की अतिरिक्त सजा भी आर्म्स एक्ट के तहत दी गई है. साथ ही अदालत ने उस पर 10 हजार रुपए का अर्थदंड भी लगाया है. अर्थदंड की राशि नहीं देने पर 3 माह की अतिरिक्त सजा का प्रावधान रखा गया है. बताया जा रहा है कि हाजीपुर व्यवहार न्यायालय के उत्पात कोर्ट 2 ने राघोपुर थाना कांड में चार लोगों को आजीवन सजा सुनाई है. जिसमें जागबली राय, मनोज राय, दिनेश राय और पांचू राय शामिल है.
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शराब को लेकर गोली मारकर हत्या: बताया जाता है कि अभियुक्तों ने वादी (शिकायकर्ता) के बयान पर शराब पीने से संबंधित विवाद में उसके लड़के सतीश कुमार की गोली मारकर हत्या कर दी थी. इस मामले में आरोपियों को अदालत ने पहले ही दोषी करार दे दिया था. वहीं सजा के बिंदु पर सुनवाई के बाद चारों दोषियों को उम्रकैद की सजा सुनाई गई है. इस विषय में उत्पाद के स्पेशल पीपी रमेश राय ने बताया कि यह शराबबंदी के बाद की घटना है. 13 अगस्त 2017 को केस के सूचक अमीरा राय ने इसकी सूचना दी थी. उनके बथान में अभियुक्त हथियार से लैस होकर झोला में शराब लेकर गए थे. जिस पर अमीरा राय और उनके पुत्र सतीश कुमार ने शराब पीने से मना किया गया. इसे लेकर दोनों पक्षों में में बकझक और धक्का-मुक्की शुरू हो गई. इसी दौरान जागबल्ली राय ने पिस्तौल से सतीश कुमार पर गोली चला दी.
इलाज के दौरान वादी की मौत: गोली लगने पर आनन-फानन में सतीश को प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र राघोपुर ले जाया गया. जहां उसकी स्थिति को गंभीर देखते हुए डॉक्टरों ने पीएमसीएच रेफर कर दिया. जहां डॉक्टरों ने जांच के दौरान उसे मृत घोषित कर दिया. इसमें अभियोजन की ओर से नौ साक्षी प्रस्तुत किए गए. इसमें डॉक्टर की इन्वेस्टिगेशन ऑफिसर की गवाही हुई. साक्षय और पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बयान के आधार पर न्यायालय ने चारों अभियुक्त को दोषी पाया और चारों अभियुक्त को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई. जिसमें जागबली राय को तीनों की अपेक्षा अतिरिक्त सजा सुनाई गई है. जिसमें 7 वर्षों की आर्म्स एक्ट की सजा के साथ ही 10 हाजर रुपए का अर्थदंड भी दिया गया है. जुर्माना की राशि नहीं देने पर 3 माह की अतिरिक्त सजा सुनाई गई है. सभी सजाएं साथ-साथ चलेंगी, बिहार में एक्साइज कोर्ट में पहली बार ऐसी सजा हुई है.
"यह घटना 13 अगस्त 2017 की है, केस के सूचक अमीरा राय ने इसकी सूचना दी थी. उनके बथान में अभियुक्त हथियार से लैस होकर झोला में शराब लेकर गए थे. जिस पर अमीरा राय और उनके पुत्र सतीश कुमार ने शराब पीने से मना किया गया. इसे लेकर दोनों पक्षों में में बकझक और धक्का-मुक्की शुरू हो गई. इसी दौरान जागबल्ली राय ने पिस्तौल से सतीश कुमार पर गोली चला दी. आनन-फानन में उनके परिवार के लोग प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र राघोपुर ले गए जहां उनकी स्थिति को गंभीर देखते हुए डॉक्टरों द्वारा पीएमसीएच रेफर कर दिया गया. जहां डॉक्टरों ने उनको जांच के उपरांत मृत घोषित कर दिया. साक्षय और पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बयान के आधार पर न्यायालय ने चारों अभियुक्त को दोषी पाया और चारों अभियुक्त को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई." -रमेश राय, स्पेशल पीपी, उत्पाद विभाग