सीवान: कोरोना संकट काल में भी बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया कराने के लिए स्वास्थ्य विभाग प्रयासरत है. खासकर शिशुओं के स्वास्थ्य को लेकर विभाग ने कई स्वास्थ्य सुविधाएं शुरु की गई है. कोरोना महामारी में शिशुओं के लिए जरुरी स्वास्थ्य सेवाएं जैसे एसएनएससीयू और एनआरसी की सुविधा पहले की तरह प्रदान की जाएगी. सिविल सर्जन डॉक्टर यदुवंश कुमार शर्मा ने बताया कि इसको लेकर राज्य स्वास्थ्य समिति के कार्यपालक निदेशक मनोज कुमार ने पत्र जारी किया है.
इस लेटर में शिशुओं के स्वास्थ्य संबंधित गतिविधियों को सुचारु रुप से संचालित करने के लिए गाइडलाइन दिया गया है. इसमें कंटेनमेंट जोन, बफर जोन और ग्रीन जोन में शिशु स्वास्थ्य सेवाओं के संचालन को लेकर दिशा निर्देश दिया गया है. कंटेनमेंट जोन और बफर जोन में बीमार नवजात शिशु को नजदीक के एसएनसीयू में चिकित्सकीय सुविधा प्रदान किया जाएगा. प्रत्येक एसएनसीयू (स्पेशल न्यू बोर्न केयर यूनिट) में प्रवेश द्वार के पास ट्राइजिंग के लिए एक रेडिंयट वार्मर भी उपलब्ध कराया जाएगा. कोविड-19 के संदिग्ध मरीजों के लिए फैमली पार्टीसिपेट्री केयर कमरे को दो रेडियण्ट वार्मार के साथ तैयार रखने के भी निर्देश दिए गए हैं. बफर जोन से बाहर यानि ग्रीन जोन में सामान्य दिशा-निर्देशों के अनुसार सभी सेवाओं को जारी रखा जाएगा.
नियमित फॉलो-अप करेंगे स्वास्थ्य कर्मी
सीएस डॉक्टर यदुवंश कुमार शर्मा ने बताया गया है कि कोविड-19 के पॉजिटिव नवजात को स्थिरीकरण करने के बाद राज्य सरकार के दिशा-निर्देश के आलोक में कोविड-19 के मरीजों के लिए चिन्हित संस्थानों एनएमसीएच, एएनएमएमसीएच, जेएलएनएमसीएच और नजदीकी मेडिकल कॉलेज अस्पताल में उचित व्यवस्था के साथ रेफर किया जाएग.सीएस ने बताया कि एसएनसीयू से डिस्चार्ज नवजात शिशुओं के संबंध में उनके माता या देखभाल कर्ता के साथ अस्पताल के कर्मी समन्वय स्थापित कर काम करेंगें. एसएनसीयू के डाटा इंट्री ऑपरेटर के द्वारा फैसलिटी फॉलो-अप और आशा कार्यकर्ता के द्वारा सामुदायिक फॉलोअप दूरभाष के माध्यम से किया जाएगा. सिर्फ गंभीर नवजातों को उचित वाहन के माध्यम से एसएनसीयू में भर्ती कराया जाएगा.
घर-घर जाकर स्वास्थ्य कार्यकर्ता करेंगे पूछताछ
कोविड-19 के बचाव के उद्देश्य से स्वास्थ्य कार्यकर्ता घर-घर जाकर शिशुओं के स्वास्थ्य संबंधित आवश्यक पूछताछ करेंगे. साथ ही आवश्यक सेवा के लिए सुविधाएं भी प्रदान की जाएगी. कंटेनमेंट और बफर जोन में नवजात शिशुओं को फोन से रोजाना गृह आधारित देखभाल की सुविधा दी जाएगी. वहीं, आशा कार्यकर्ता नियमित रुप से फॉलोअप करेंगे. कंटेनमेंट और बफर जोन में कोविड-19 से बचाव के लिए चिकित्सकीय जटिलता वाले अतिगंभीर कुपोषित बच्चों को पोषण पुनर्वास केंद्र में चिकित्सकीय सुविधा उपलब्ध करायी जाएगी.