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Punaura Dham को अयोध्या की तर्ज पर करना था विकसित, फंड जारी होने के बाद भी काम नहीं होने से लोगों में मायूसी - Punaura Dham Development Work

सीतामढ़ी में सरकार से फंड जारी होने के बाद भी अब तक पुनौरा धाम विकास कार्य (Punaura Dham In Sitamarhi) नहीं शुरू हुआ है. लोगों में इसे लेकर नाराजगी है और कर्य को जल्द शुरू करने की मांग की गई है. आगे पढ़ें पूरी खबर...

सीतामढ़ी में पुनौरा धाम
सीतामढ़ी में पुनौरा धाम
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By ETV Bharat Bihar Team

Published : Oct 24, 2023, 12:31 PM IST

सीतामढ़ी में पुनौरा धाम विकास कार्य

सीतामढ़ी: बिहार में माता सीता की जन्म भूमि सीतामढ़ी का विकास अयोध्या की तर्ज पर करने की बात कही गई थी. सरकार ने इसे लेकर कैबिनेट की बैठक में 72 करोड़ 47 लाख रुपये की स्वीकृति दी है. इसके बाद जिले में हर्षो उल्लास का माहौल था, लेकिन पुनौरा धाम के विकास का कार्य अब तक शुरू नहीं होने के कारण आम लोगों में मायूसी है. लोगों की मांग है कि जल्द से जल्द पुनौरा धाम को विकसित किया जाए, ताकि यहां के लोगों को रोजगार मिल सके.

पढ़ें-Ram Navami 2023: भगवान राम की ससुराल पुनौरा धाम में गाया जा रहा सोहर, श्रद्धालुओं की उमड़ी भीड़

धरती की गर्व से माता की हुई थी उत्पत्ति: पुराणों में बताया गया है कि जब राजा जनक के राज्य में अकाल पड़ा था. बारिश नहीं हो रही थी तो राजा जनक ने हलेसरी यज्ञ का आयोजन हलेश्वर स्थान स्थित महादेव मंदिर में किया था. यज्ञ पूर्ण होने पर राजा जनक ने हलेश्वर स्थान से हल चलाया था तब पुनौरा धाम जाकर हाल एक घड़े से टकरा गया और घड़ा को निकालने के बाद घड़े से माता सीता की उत्पत्ति हुई थी.

लाखों की संख्या में आते हैं श्रद्धालु: वहीं इसके बाद आकाश में बादल छाए गए और जमकर बरसात हुई इसीलिए माता-सीता की जन्मस्थली पुनौरा धाम को शक्तिपीठ माना जाता है. देश ही नहीं विदेशों से भी लाखों की संख्या में श्रद्धालु माता के दर्शन को लेकर पुनौरा धाम आते हैं. स्थानीय नेताओं की पूर्व से भी मांग थी कि पुनौरा धाम को भगवान राम की नगरी अयोध्या के तर्ज पर ही विकसित किया जाए. इसको लेकर बिहार विधान परिषद के सभापति सहित कई बरिए नेता ने भी सदन में आवाज उठाया था.


"राशि तो मिलता है लेकिन उसका उपयोग नहीं होता है. यहां काम शुरू होगा तो इससे विकास होगा और देश ही नहीं विदेश के मानचित्र पर भी माता सीता की जन्म भूमि सीतामढ़ी का मान बढ़ेगा."- महंत कौशल किशोर

धर्मशाला और मंदिर परिसर को किया जाएगा विकसित: पुनौरा धाम के महंत कौशल किशोर दास का कहना है कि इसके विकास को लेकर सरकार के द्वारा राशि जारी की जाती है लेकिन उसका उपयोग पुनौरा धाम के विकास कार्य में नहीं हो पता है. महंत का कहना है कि सरकार की अच्छी पहल है सरकार ने जो राशि जारी किया है विकास को लेकर अगर उसे मंदिर परिसर का विकास होता है तो पर्यटकों को यहां आने के बाद रहने में कठिनाइयों का सामना नहीं करना पड़ेगा. धर्मशाला को विकसित किया जाएगा और मंदिर परिसर को भी विकसित किया जाएगा.

विकास के लिए जारी हुई बड़ी राशि: जनता दल यूनाइटेड के सुरसंड विधायक दिलीप राय का कहना है कि पुनौरा धाम के विकास को लेकर उन्होंने भी विधान परिषद और विधानसभा में आवाज उठाई थी. जिसके बाद सरकार ने संज्ञान में लेते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने सकारात्मक कदम उठाते हुए कैबिनेट की बैठक में पुनौरा धाम के विकास को लेकर एक बड़ी राशि जारी की है.

सीतामढ़ी में पुनौरा धाम विकास कार्य

सीतामढ़ी: बिहार में माता सीता की जन्म भूमि सीतामढ़ी का विकास अयोध्या की तर्ज पर करने की बात कही गई थी. सरकार ने इसे लेकर कैबिनेट की बैठक में 72 करोड़ 47 लाख रुपये की स्वीकृति दी है. इसके बाद जिले में हर्षो उल्लास का माहौल था, लेकिन पुनौरा धाम के विकास का कार्य अब तक शुरू नहीं होने के कारण आम लोगों में मायूसी है. लोगों की मांग है कि जल्द से जल्द पुनौरा धाम को विकसित किया जाए, ताकि यहां के लोगों को रोजगार मिल सके.

पढ़ें-Ram Navami 2023: भगवान राम की ससुराल पुनौरा धाम में गाया जा रहा सोहर, श्रद्धालुओं की उमड़ी भीड़

धरती की गर्व से माता की हुई थी उत्पत्ति: पुराणों में बताया गया है कि जब राजा जनक के राज्य में अकाल पड़ा था. बारिश नहीं हो रही थी तो राजा जनक ने हलेसरी यज्ञ का आयोजन हलेश्वर स्थान स्थित महादेव मंदिर में किया था. यज्ञ पूर्ण होने पर राजा जनक ने हलेश्वर स्थान से हल चलाया था तब पुनौरा धाम जाकर हाल एक घड़े से टकरा गया और घड़ा को निकालने के बाद घड़े से माता सीता की उत्पत्ति हुई थी.

लाखों की संख्या में आते हैं श्रद्धालु: वहीं इसके बाद आकाश में बादल छाए गए और जमकर बरसात हुई इसीलिए माता-सीता की जन्मस्थली पुनौरा धाम को शक्तिपीठ माना जाता है. देश ही नहीं विदेशों से भी लाखों की संख्या में श्रद्धालु माता के दर्शन को लेकर पुनौरा धाम आते हैं. स्थानीय नेताओं की पूर्व से भी मांग थी कि पुनौरा धाम को भगवान राम की नगरी अयोध्या के तर्ज पर ही विकसित किया जाए. इसको लेकर बिहार विधान परिषद के सभापति सहित कई बरिए नेता ने भी सदन में आवाज उठाया था.


"राशि तो मिलता है लेकिन उसका उपयोग नहीं होता है. यहां काम शुरू होगा तो इससे विकास होगा और देश ही नहीं विदेश के मानचित्र पर भी माता सीता की जन्म भूमि सीतामढ़ी का मान बढ़ेगा."- महंत कौशल किशोर

धर्मशाला और मंदिर परिसर को किया जाएगा विकसित: पुनौरा धाम के महंत कौशल किशोर दास का कहना है कि इसके विकास को लेकर सरकार के द्वारा राशि जारी की जाती है लेकिन उसका उपयोग पुनौरा धाम के विकास कार्य में नहीं हो पता है. महंत का कहना है कि सरकार की अच्छी पहल है सरकार ने जो राशि जारी किया है विकास को लेकर अगर उसे मंदिर परिसर का विकास होता है तो पर्यटकों को यहां आने के बाद रहने में कठिनाइयों का सामना नहीं करना पड़ेगा. धर्मशाला को विकसित किया जाएगा और मंदिर परिसर को भी विकसित किया जाएगा.

विकास के लिए जारी हुई बड़ी राशि: जनता दल यूनाइटेड के सुरसंड विधायक दिलीप राय का कहना है कि पुनौरा धाम के विकास को लेकर उन्होंने भी विधान परिषद और विधानसभा में आवाज उठाई थी. जिसके बाद सरकार ने संज्ञान में लेते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने सकारात्मक कदम उठाते हुए कैबिनेट की बैठक में पुनौरा धाम के विकास को लेकर एक बड़ी राशि जारी की है.

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