सारणः जिले के तरैया गांव (Saran Taraiya Village) में एक पिता ने अपने ही 10 माह के मासूम बेटे को 10 हजार रुपये में बेच दिया. अपने कलेजे के टुकड़े के अलग होते ही मां रोते-बिलखते हुए तरैया थाना पहुंच गयी. थानाध्यक्ष से अपने बेटे को वापस दिलाने की गुहार लगाने लगी. पीड़िता तरैया निवासी चंदन सिंह की पत्नी कुसुम देवी है. बता दें कि पुलिस की दबिश के बाद बच्चे के खरीदार ने बच्चा वापस कर दिया है.
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पीड़िता ने पुलिस को बताया कि वह असम की रहने वाली है. असम में ही लगभग 3 वर्ष पूर्व उसने चंदन से शादी की थी. अब अपने पति, ससुर एवं देवर के साथ तरैया में रहती है. उसके पति का असम में भी कारोबार है. उसे एक डेढ़ वर्ष की पुत्री और एक 10 माह का पुत्र है. 10 माह के पुत्र को उसके पति, ससुर और देवर ने मिलकर तरैया-मसरख मोड़ पर एक वेल्डिंग की दुकान के दुकानदार को 10 हजार रुपए में बेच दिया है.
वेल्डिंग दुकानदार बच्चे को लेकर जब तरैया से अपने घर सिवान चल दिया, तो महिला ने थाना में पहुंचकर थानाध्यक्ष से बच्चे को वापस दिलाने की गुहार लगाने लगी. जिस पर थानाध्यक्ष ने पहल करते हुए आरोपी से फोन से बात की. फिर आरोपी ने बच्चे को लाकर महिला को सुपुर्द कर दिया. थानाध्यक्ष के इस सरहनीय पहल पर ग्रामीणों ने थानाध्यक्ष की प्रशंसा की है.
बता दें कि 10 माह के मासूम के पिता को गांजा एवं शराब पीने की लत है. जितना कमाता है, उतनी का गांजा-शराब पी जाता है. पत्नी अक्सर घर में बिना खाए रह जाती है. आसपास के पड़ोसी मदद में खिला-पीला देते हैं. जिससे महिला का गुजर बसर हो जाता है. महिला जब थाने पर पहुंची तो कह रही थी कि वह एक माह से अक्सर बिना खाए रह रही है.
महिला के पति का संपर्क उसके घर के पास के एक वेल्डिंग दुकानदार से था. वेल्डिंग दुकानदार सिवान जिले के बसंतपुर निवासी शंभु कुशवाहा है. उसे तीन पुत्री ही है. उसे पुत्र की लालसा थी. पुत्र पाने के लिए चंदन को पैसे का प्रलोभन दिया और बोला कि तुम अपना पुत्र मुझे दे दो. इसपर चंदन राजी हो गया.
चंदन के पिता एक दिन पहले ही असम चले गए. फिर चंदन अपने पुत्र को वेल्डिंग दुकानदार शंभु कुशवाहा के हवाले कर पत्नी को बोला कि असम चलो, तब पत्नी बोली कि मेरा बेटा कहां है. इस पर उसका पति चंदन बोला कि उसे हम बेच दिए हैं. जब महिला बिना पुत्र के असम जाने को राजी नहीं हुई, तो वह असम जाने के लिए अकेले ही घर से निकल गया.
उसके बाद महिला रोते-बिलखते थाना पहुंच गयी. रिपोर्ट दर्ज करवाया फिर रोते हुए गांव पहुंची. गांव के लोगों ने जब सबकुछ जाना तो आसपास के लोग भी आक्रोशित हो गए. तबतक पुलिस भी मामले की तहकीकात कर रही थी. फिर थानाध्यक्ष राजीव रंजन सिंह आरोपी को फोन कर दबाव बनाया तो आरोपी महिला को बच्चा लाकर सौंप दिया. महिला का पति अभी भी घर से फरार है. पड़ोसी महिला की मदद कर रहे हैं. लेकिन महिला अभी भी सहमी हुई है.
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