सारण: भारत (India) सहित दुनिया भर में हर साल कैंसर (Cancer) से लाखों लोगों की मौत होती है. अधिकतर मामलों में मरीज डॉक्टर के पास तब पहुंचते हैं जब बीमारी पहली या दूसरी स्टेज को पार कर चुकी होती है. ऐसे में इस बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक करने को लेकर डॉक्टर क्या कहते हैं, पढ़िए इस रिपोर्ट में...
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छपरा में कैंसर जागरुकता शिविर में बुद्धा कैंसर संस्थान के निदेशक डॉ अरविंद कुमार ने वहां आए लोगों को कैंसर के बारे में जानकारी देकर उन्हें जागरूक किया. वहीं शिविर में कैंसर के 60 और जेनरल 50 रोगियों का स्क्रीनिंग (Screening) कर उपचार भी किया गया.
इस दौरान कैंसर के 20 रोगी सीरियस पाये गये, जबकि गर्भाशय कैंसर के दो, ब्लड कैंसर के चार, थायराइड कैंसर के चार, जीभ कैंसर के दो, किडनी, आंख और मुंह के कैंसर के एक-एक रोगी मिले.
डॉ अरविंद कुमार ने बताया कि कैंसर पर नियंत्रण के लिए सबसे पहले जागरुकता की जरूरत है. पहले और दूसरे स्टेज में पाये जाने वाले रोगी को कैंसर से छुटकारा मिल सकता है. इसके लिए उन्हें शुरुआत में ही स्क्रीनिंग कराकर चिकित्सकों की सलाह पर दवा का सेवन करना पड़ेगा.
कैंसर संस्थान के निदेशक ने बताया कि 80 प्रतिशत कैंसर रोग तंबाकू, बीड़ी, सिगरेट के सेवन के चलते पांव पसार रहा है. उन्होंने कहा कि अगर समय रहते हमें कैंसर के बारे में जानकारी मिल जाती है, तो हम कैंसर पर काबू पा सकते हैं.
डॉक्टर ने कहा कि कैंसर के रोगी अधिकतर मामले में तब आते हैं जब रोग पहली और दूसरी स्टेज पार कर चुकी होती है. उन्होंने कहा कि अगर पहले या दूसरे स्टेज में मरीज आते हैं तो उसे ठीक किया जा सकता है. कैंसर कोई लाइलाज बिमारी नहीं है. इसे ठीक किया जा सकता है अगर समय पर रोगी चिकित्सक के पास पहुंचे.
जागरुकता शिविर को लेकर विधायक जीतेंद्र राय ने बताया कि अब तक 9 जगहों पर कैंसर का निशुल्क उपचार कर सीरियस मरीज को बुद्धा कैंसर संस्थान में भेजा गया, ताकि उन्हें मुख्यमंत्री चिकित्सा कोष से सहायता प्राप्त हो सके.
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