सहरसा: जिले में शराब कारोबारी पर नकेल कसने के दायित्व का निर्वहन करने वाले उत्पाद विभाग के अधिकारियों पर ही कार्रवाई हो गई. जिले की पुलिस ने उन्हें शराब के बरामद खेप में हेराफेरी और कारोबारी की मदद पहुंचाने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया. पुलिस ने उत्पात निरीक्षक और सहायक उत्पात सब इंस्पेक्टर को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया.
दरसल ये मामला 12 दिसंबर को शराब बरामदगी से जुड़ा हुआ है. जब उत्पाद विभाग ने एक ट्रक से 2 हजार लीटर शराब बरामद किया था. बताया जाता है कि इसमें शराब कारोबारी को मदद पहुंचाने के उद्देश्य से शराब बरामदगी के 13 घंटे बाद सीजर बना. फिर 16 घंटे के बाद मामला दर्ज किया गया. वहीं, दर्ज मामले में ट्रक मालिक और ड्राइवर का नाम भी दर्ज नहीं किया गया.
तीन स्तरीय जांच के बाद हुआ खुलासा
बता दें कि मामला दर्ज करने में विलंब होने के कारण मामले का तीन स्तरीय जांच हुआ. जिसमें मामला संदेहास्पद पाया गया. इसके बाद सदर थाना में उत्पात अधीक्षक असरफ जमाल, उत्पात निरीक्षक फैयाज अहमद के अलावा केस का अनुसंधानकर्ता वीरेंद्र पाठक के खिलाफ मामला दर्ज किया गया. इसके बाद दो को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया.
'दोषी पर की जाएगी कार्रवाई'
इस मामले को लेकर पुलिस अधीक्षक राकेश कुमार ने कहा कि एक माह पूर्व लगभग उत्पात विभाग ने 2 हजार लीटर शराब की बरामदगी की थी. इस केस का अनुसंधान उत्पात विभाग के अनुसंधानकर्ता वीरेंद्र पाठक कर रहे थे. लेकिन केस में कुछ कमी नजर आने के बाद इसपर जांच की गई तो यह मामला सामने आया. जिस पर कार्रवाई की गई.