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अररिया सामूहिक दुष्कर्म मामले में महिला आयोग ने अररिया प्रशासन को भेजा नोटिस

सामूहिक दुष्कर्म मामले में हुई पीड़िता की गिरफ्तारी पर महिला आयोग ने संज्ञान लिया है. आयोग ने पूरे मामले पर अररिया प्रशासन से जवाब मांगा है.

महिला आयोग कार्यालय
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Published : Jul 17, 2020, 10:41 PM IST

पटना: सामूहिक दुष्कर्म की पीड़िता को गिरफ्तार कर लेना हैरान करने वाली बात है. अररिया के इस मामले में राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष दिलमणि मिश्रा संज्ञान लेते हुए अररिया प्रशासन को नोटिस भेजकर घटना की पूरी जानकारी मांगी है. साथ ही कहा कि आगे की कार्रवाई प्रशासन का जवाब आने के बाद की जाएगी.

राज्य महिला आयोग ने दुष्कर्म पीड़िता को इंसाफ दिलाने का भरोसा दिया है. दरअसल, जिले में बीते दिनों महिला के साथ हुए सामूहिक दुष्कर्म की घटना ने सुशासन पर बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है. लेकिन उससे भी बड़ा सवाल तब खड़ा हो गया है जब अररिया प्रशासन ने पीड़िता को ही गिरफ्तार कर लिया. इस घटना के बाद सरकार की हर तरफ किरकिरी होने लगी है.

patna
दिलमणि मिश्रा,राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष

दिलमणि मिश्रा ने दी जानकारी
मामले पर महिला आयोग की अध्यक्ष दिलमणि मिश्रा ने कहा कि अररिया में दुष्कर्म पीड़िता को ही जेल भेजने संबंधित जानकारी मिल रही है. बताया जा रहा है कि पीड़िता जब 164 का बयान दर्ज करवाने गयी तो किसी बात को लेकर वहां तैनात अधिकारी से उसकी कहासुनी हो गई. जिससे अधिकारी ने नाराज होकर पीड़िता को ही जेल में बंद करवा दिया. यदि ये बात सही है तो मैं इसकी निंदा करती हूं.

ये है पूरा मामला
बता दें कि अररिया में बीते 6 जुलाई की शाम एक 22 वर्षीय युवती के साथ सामूहिक दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया गया. इसके बाद वारदात के अगले दिन यानी 7 जुलाई को पीड़िता ने इसकी रिपोर्ट अररिया महिला थाने में दर्ज कराई. पीड़िता के बयान के मुताबिक दुष्कर्म के बाद आरोपी ने उसे नहर के पास लाकर छोड़ दिया. बाद में उसने अररिया में ही काम करने वाले जन जागरण शक्ति संगठन के सदस्यों की मदद ली. मामले में 7 और 8 जुलाई को पीड़िता की मेडिकल जांच हुई. फिर 10 जुलाई को उसे बयान दर्ज कराने के लिए ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट कोर्ट में ले जाया गया. इस दिन शाम 5 बजे पीड़िता और जेएसएस के दो सदस्यों को हिरासत में ले लिया गया और 11 जुलाई को उन्हें जेल भेज दिया गया.

पटना: सामूहिक दुष्कर्म की पीड़िता को गिरफ्तार कर लेना हैरान करने वाली बात है. अररिया के इस मामले में राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष दिलमणि मिश्रा संज्ञान लेते हुए अररिया प्रशासन को नोटिस भेजकर घटना की पूरी जानकारी मांगी है. साथ ही कहा कि आगे की कार्रवाई प्रशासन का जवाब आने के बाद की जाएगी.

राज्य महिला आयोग ने दुष्कर्म पीड़िता को इंसाफ दिलाने का भरोसा दिया है. दरअसल, जिले में बीते दिनों महिला के साथ हुए सामूहिक दुष्कर्म की घटना ने सुशासन पर बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है. लेकिन उससे भी बड़ा सवाल तब खड़ा हो गया है जब अररिया प्रशासन ने पीड़िता को ही गिरफ्तार कर लिया. इस घटना के बाद सरकार की हर तरफ किरकिरी होने लगी है.

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दिलमणि मिश्रा,राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष

दिलमणि मिश्रा ने दी जानकारी
मामले पर महिला आयोग की अध्यक्ष दिलमणि मिश्रा ने कहा कि अररिया में दुष्कर्म पीड़िता को ही जेल भेजने संबंधित जानकारी मिल रही है. बताया जा रहा है कि पीड़िता जब 164 का बयान दर्ज करवाने गयी तो किसी बात को लेकर वहां तैनात अधिकारी से उसकी कहासुनी हो गई. जिससे अधिकारी ने नाराज होकर पीड़िता को ही जेल में बंद करवा दिया. यदि ये बात सही है तो मैं इसकी निंदा करती हूं.

ये है पूरा मामला
बता दें कि अररिया में बीते 6 जुलाई की शाम एक 22 वर्षीय युवती के साथ सामूहिक दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया गया. इसके बाद वारदात के अगले दिन यानी 7 जुलाई को पीड़िता ने इसकी रिपोर्ट अररिया महिला थाने में दर्ज कराई. पीड़िता के बयान के मुताबिक दुष्कर्म के बाद आरोपी ने उसे नहर के पास लाकर छोड़ दिया. बाद में उसने अररिया में ही काम करने वाले जन जागरण शक्ति संगठन के सदस्यों की मदद ली. मामले में 7 और 8 जुलाई को पीड़िता की मेडिकल जांच हुई. फिर 10 जुलाई को उसे बयान दर्ज कराने के लिए ज्यूडिशियल मजिस्ट्रेट कोर्ट में ले जाया गया. इस दिन शाम 5 बजे पीड़िता और जेएसएस के दो सदस्यों को हिरासत में ले लिया गया और 11 जुलाई को उन्हें जेल भेज दिया गया.

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