पटनाः बिहार विधान मंडल के मानसून सत्र (Monsoon session of Bihar Legislature) का दूसरा दिन अग्निपथ योजना पर हंगामे की भेंट चढ़ गया. दूसरे दिन की कार्यवाही कल तक के लिए स्थगित कर दी गई. आपको बता दें अग्निपथ योजना (Agneepath Protest) को लेकर सदन में जमकर हंगामा हुआ. विधायक सदन के वेल तक पहुंच गए. स्पीकर विजय सिन्हा ने विधायकों को समझाया और कहा कि प्रस्ताव भी आपके द्वारा लाया गया और हंगामा भी आप ही कर रहे हैं यह ठीक नहीं है. सदन के सम्मान और सुरक्षा की बात पहले हो तभी देश की बात किया जा सकता है. विपक्षी सदस्यों ने सदन में कहा कि हम देश के युवाओं के भविष्य की चिंता सता रही है.
सदन की कार्यवाही कल 11 बजे तक स्थगित: दरअसल, दूसरे दिन सदन शुरू होने से पहले विपक्षी सदस्यों ने जमकर विरोध किया. आरजेडी, माले और कांग्रेस के सदस्यों ने अलग-अलग विरोध प्रदर्शन किया और अग्निपथ योजना को वापस लेने की मांग की लेकिन जैसी ही सदन की कार्यवाही शुरू हुई विपक्षी सदस्य एकजुटता दिखाते हुए नारेबाजी शुरू कर दी और वेल में पहुंच गए. स्पीकर की कोशिशों के बावजूद विपक्ष का हंगामा जारी रहा. जिस वजह से सदन की कार्यवाही को पहले 2 बजे तक के लिये स्थगित करना पड़ा और फिर 2:45 बजे तक स्थगित करना पड़ा. लेकिन जैसे ही लंच टाइम के बाद कार्यवाही शुरू हुई हंगामे के चलते कल तक के लिए स्थगित कर दिया गया.
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- विधानसभा की कार्यवाही हंगामे के साथ शुरू
- विपक्षी सदस्य वेल में पहुंचकर लगा रहे हैं नारेबाजी
- हंगामे के बीच मध निषेध विभाग ने पेश किया छठा संशोधन विधेयक पेश
- विधानसभा अध्यक्ष विजय सिन्हा ने विपक्षी सदस्यों को दी चेतावनी रिपोर्टिंग टेबल उलटने या पटकने पर होगी कार्रवाई
- राजद, कांग्रेस, वामपंथी सदस्य वेल में कर रहे हैं हंगामा
- विधानसभा अध्यक्ष विजय सिन्हा ने विपक्षी सदस्यों से कहा- जो इस सदन का मामला नहीं है, उसे यहां क्यों उठा रहे हैं, अपने स्थान पर जा कर बैठें
- हंगामे के बीच है मद्य निषेध मंत्री सुनील कुमार विधेयक पर सदन को दे रही हैं जानकारी
- छठा संशोधन विधेयक विधानसभा से पारित
- वायु प्रदूषण के कारण लोगों की आयु लगातार घट रही है और इसको लेकर विधानसभा में आज चर्चा होनी था. इसके लिए विपक्ष की ओर से प्रस्ताव दिया गया था
- आरजेडी के विधायक समीर महासेठ ने प्रस्ताव दिया था लेकिन हंगामे के कारण अपना प्रस्ताव मूव नहीं कर रहे हैं
- विधानसभा अध्यक्ष विजय सिन्हा के बार-बार समीर महासेठ का नाम पुकारने के बाद भी प्रस्ताव नहीं रखा
- हंगामे के बीच विधानसभा की कार्यवाही 2:45 बजे तक स्थगित
अग्निपथ पर बिहार विधानसभा में घमासान: इससे पहले विधानसभा अध्यक्ष ने सदन शुरू होने से पहले कार्य मंत्रणा समिति की बैठक की थी. उसमें जो तय हुआ था, उसे सदन के अंदर भी उन्होंने पढ़ा. 28 जून को उत्कृष्ट विधायक के चयन को लेकर सदन में चर्चा की जाएगी. इस पर सभी सदस्यों ने सहमति भी जताई. साथ ही ब्लॉक कार्यालय में एक रूम सदस्यों के लिए व्यवस्था की जाए, इस पर भी विधानसभा अध्यक्ष ने सदन में घोषणा की. कुछ देर के लिए विपक्षी सदस्य जरूर अपने स्थान पर बैठ गए लेकिन जैसे ही कार्य मंत्रणा समिति के फैसले विधानसभा अध्यक्ष ने सुनाया, उसके बाद फिर से सभी विपक्ष सदस्य वेल में पहुंचकर नारेबाजी शुरू कर दी.
संसदीय कार्य मंत्री विजय चौधरी ने इस पर आपत्ति भी जताई तो वहीं उपमुख्यमंत्री तार किशोर प्रसाद ने कहा कि जो बिहार से जुड़ा हुआ मामला नहीं है, उसे सदन में उठाना सही नहीं है. साथ ही प्रधानमंत्री के खिलाफ टिप्पणी की जा रही है, यह भी ठीक नहीं है.
विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि जो सदन के सदस्य नहीं है, उसके बारे में चर्चा करेंगे तो कुछ भी कार्यवाही में नहीं जाएगी. जो भी हंगामा कर रहे हैं, आपकी कोई भी बात कार्यवाही में नहीं जा रही है लेकिन इसके बाद भी विपक्षी सदस्यों की नारेबाजी होती रही अंत में हंगामे के बीच विधानसभा अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही 2:00 बजे तक के लिए स्थगित कर दी.
वैसे तो सदन की कार्यवाही शुरू होने से पहले विपक्षी सदस्य अलग-अलग विरोध प्रदर्शन कर रहे थे लेकिन सदन में एकजुट दिखे. इस पर माले के सदस्य सुदामा प्रसाद ने सफाई देते हुए कहा कि नहीं हम लोग एक हैं. सब से बात हो गई है. सुदामा प्रसाद ने कहा कि जेडीयू ने भी इस योजना का विरोध किया है, वह भी सर्वसम्मति प्रस्ताव पास कराने में मदद करे.
वहीं कांग्रेस के शकील अहमद खान ने कहा है हमारी पार्टी की अपनी पहचान है और इसलिए अलग प्रदर्शन कर रहे हैं लेकिन सदन में हम लोग एक साथ इस मुद्दे को उठाएंगे. वैसे सदन में आज नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के बिना ही विपक्षी सदस्य अग्निपथ योजना के विरोध में अपनी आवाज बुलंद करते रहे.
प्रश्नकाल से सत्र की शुरुआत: आज गृह विभाग, वाणिज्य कर विभाग, वित्त विभाग, मंत्रिमंडल सचिवालय, निगरानी विभाग, गन्ना उद्योग, सूचना एवं जनसंपर्क, सामान्य प्रशासन विभाग, उद्योग विभाग, अल्पसंख्यक कल्याण विभाग, निर्वाचन विभाग और साइंस टेक्नोलॉजी विभाग से संबंधित प्रश्न सदस्य पूछेंगे और संबंधित विभाग के मंत्री उत्तर देंगे. इनमें से अधिकांश विभाग मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री के हैं.
मानसून सत्र केवल 5 दिन का ही सत्र होगाः 24 जून से सदन की कार्यवाही शुरू होकर 30 जून तक चलेगा लेकिन शनिवार और रविवार होने के कारण केवल 5 दिन का ही सत्र होगा. स्वास्थ्य जैसे महत्वपूर्ण विभागों के तो प्रश्नों के उत्तर ही नहीं हो पाएंगे और विपक्षी सदस्यों को इसको लेकर भी नाराजगी है. ऐसे में विपक्ष अग्निपथ योजना का मामला हो बेरोजगारी का मामला हो अपराध शिक्षा और बाढ़ जैसे मुद्दे हो सरकार की मुश्किलें बढ़ाने की तैयारी कर रहा है. कुल मिलाकर देखें तो मानसून सत्र हंगामेदार होने के पूरे आसार हैं.
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