पटना: बिहार में वर्ष 2019 में ही प्रारंभिक विद्यालयों में करीब 94000 पदों पर शिक्षकों के नियोजन की प्रक्रिया शुरू हुई थी. लेकिन यह नियोजन प्रक्रिया विभिन्न कारणों से बीच-बीच में लटकती रही. आखिरकार दिसंबर में पटना हाईकोर्ट ने इस मामले में सुनवाई करते हुए सरकार को जल्द से जल्द नियोजन प्रक्रिया को पूरा करने का आदेश जारी किया था.
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शिक्षा मंत्री को आया गुस्सा
अभ्यर्थियों के प्रदर्शन करने के दौरान शिक्षा मंंत्री को गुस्सा आ गया और उन्होंने साफ शब्दों में कह दिया कि पहले की तरह किसी भी हाल में बहाली नहीं की जायेगी.
अनिश्चितकालीन आंदोलन की तैयारी
शिक्षक अभ्यर्थियों को आशंका है कि सरकार की मंशा नहीं है कि वह इस नियोजन प्रक्रिया को पूरा करे. शिक्षक अभ्यर्थी पप्पू कुमार ने बताया कि लंबे समय से नियोजन का इंतजार किया जा रहा है और अब इंतजार करने की स्थिति खत्म हो चुकी है. इसलिए 18 जनवरी से पटना में अनिश्चितकालीन धरने का एलान किया गया है.
कोर्ट मामले को लेकर गंभीर
आपको बता दें कि 4 दिसंबर को पटना हाईकोर्ट ने एक मामले की सुनवाई करते हुए आदेश दिया था कि प्राथमिक शिक्षकों के छठे चरण के नियोजन की प्रक्रिया को पूरा किया जाय. और इसे पूरा करते हुए नियुक्ति पत्र अविलंब जारी किया जाए. इसे देखते हुए प्राथमिक शिक्षा निदेशालय ने सभी नियोजन इकाइयों से समय पर मेरिट लिस्ट की प्रक्रिया पूरा करने का निर्देश जारी किया था.
अभ्यर्थियों को आशंका
काउंसलिंग को लेकर सरकार के रवैए को देखते हुए अभ्यर्थियों को आशंका है कि शिक्षक नियोजन की प्रक्रिया को सरकार ने रोक दिया है. अभ्यर्थियों का यह भी आरोप है कि यह पटना हाई कोर्ट के आदेश की अवमानना है जिसमें इस नियोजन प्रक्रिया को जल्द से जल्द पूरा करने का आदेश दिया गया है.