पटना: बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री और राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी (Rajya Sabha MP Sushil Kumar Modi) के एक सवाल के जबाव में रसायन और उर्वरक मंत्रालय के राज्यमंत्री भगवंत खुबा ने बताया कि बरौनी में यूरिया खाद कारखाना (Urea fertilizer factory) बनकर तैयार हो गया है. उन्होंने बताया कि भारत सरकार के द्वारा 8388 करोड़ रुपये खर्च कर खाद कारखाने का निर्माण करवाया गया.
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कारखाने में शुरू है यूरिया का उत्पादन: राज्यसभा में मंत्री ने बताया कि इस कारखाने में 18 अक्टूबर 2022 से यूरिया का उत्पादन शुरु कर दिया गया है. बरौनी प्लांट की यूरिया उत्पादन क्षमता 12.70 लाख मैट्रिक टन प्रतिवर्ष है. मंत्री ने बताया कि पूरे देश में यूरिया उत्पादन की कुल 6 इकाईयों की स्थापना की गई है. जिसमें 4 सरकारी क्षेत्र और 2 प्राइवेट सेक्टर में स्थापित किया गया है. इन छह इकाई की यूरिया उत्पादन की स्थापित क्षमता 283.74 लाख मैट्रिक टन प्रतिवर्ष होगी.
यूरिया की बोरी पर सब्सिडी तय: सुशील मोदी ने बताया कि पूरे देश में 341.73 लाख मीट्रिक टन यूरिया की खपत है. जबकि उत्पादन मात्र 250.72 लाख मीट्रिक टन है. शेष 91.36 लाख मैट्रिक टन यूरिया विदेशों से आयात करना पड़ रहा है. उन्होंने बताया कि एक बोरा यूरिया के पैकेट में 45 किलोग्राम यूरिया की अधिकतम कीमत 242 रुपये तय की गई है. जिसकपर सरकार 1800 रुपये की सब्सिडी तय की गई है.
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