पटना : नए साल के पहले महीने में बिहार प्रदेश कांग्रेस जनता से संवाद करने के लिए योजना बनाएगी. इसके साथ ही पिछले विधानसभा चुनाव में हुई हार की समीक्षा कर पार्टी हाईकमान को रिपोर्ट सौंपेगी. एनडीए की वर्तमान सरकार की पल-पल गतिविधि पर भी कांग्रेस की प्रदेश इकाई नजर बनाए हुए हैं. ईटीवी भारत से विशेष बातचीत में प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष डॉ. मदन मोहन झा ने इन बातों की पुष्टि की.
डॉ. मदन मोहन झा ने कहा कि किसी भी राजनीतिक दल के लिए जनता से जनसंवाद रखना सबसे महत्वपूर्ण होता है. प्रदेश कांग्रेस के तमाम नेता जनता से संवाद बहाल करेंगे और जनता के मुद्दों की बात करेंगे. इसके लिए पार्टी वरिष्ठ नेताओं के साथ युवा नेताओं को भी जोड़ कर साझा कार्यक्रम बनाएगी. उन्होंने कहा कि जनता से संवाद हीनता होना पार्टी के लिए नुकसानदायक होता है.
'हार को लेकर की जाएगी समीक्षा'
चुनाव में 70 सीटों पर लड़ने वाली कांग्रेस मात्र 19 सीटों पर जीत दर्ज कर पाई, इसको लेकर समीक्षा की जाएगी. मदन मोहन झा ने कहा, 'जल्द ही इस को लेकर एक रूपरेखा तैयार किया जाएगी. राज्य के 9 प्रमंडलो में हार की समीक्षा को लेकर कमेटी बैठक करेगी. हार की विस्तार से समीक्षा कर इसकी एक रिपोर्ट आलाकमान को सौंपने की तैयारी में कांग्रेस जुट गई है.'
मदन मोहन झा ने कहा कि यह एक स्वाभाविक प्रक्रिया है, हर चुनाव के बाद पार्टी समीक्षा कर रिपोर्ट आलाकमान को सौंपती है. बिहार की वर्तमान सरकार पर भी कांग्रेस नजर बनाए हुए हैं. उन्होंने कहा कि वर्तमान एनडीए की सरकार में कई तरह के गतिरोध दिख रहे हैं. लिहाजा, राज्य की कानून-व्यवस्था और प्रशासनिक तंत्र प्रभावित हो रहा है. उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार को जितना हम जानते हैं वह बहुत दिनों तक दबाव में काम नहीं कर सकते. लेकिन वह अभी तक किस दबाव में भाजपा के साथ हैं, यह नीतीश कुमार ही बता सकते हैं.
कांग्रेस करेगी नीतीश का वेलकम?
इस सवाल के जवाब में कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि यह नीतीश कुमार को तय करना है, जब तक वह एनडीए के साथ हैं. इस पर कोई विचार नहीं हो सकता. एनडीए छोड़ने के बाद अगर कोई प्रस्ताव आता है, तो उससे आलाकमान को अवगत कराया जाएगा.
पिछले दिनों आरजेडी के कई नेताओं के बयान पर उन्होंने कहा कि गठबंधन को लेकर किसी भी नेता की अपनी निजी राय हो सकती है. लेकिन जब भी कोई परिवर्तन होगा तो उसमें महागठबंधन के सभी दलों की बैठक के बाद ही तय होगा.
कांग्रेस पर फोड़ा गया हार का ठीकरा
गौरतलब है कि बीते विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के खिलाफ प्रदर्शन के बाद महागठबंधन के सभी सहयोगी दलों के द्वारा हार का ठीकरा कांग्रेस पर ही फोड़ा गया था. अब कांग्रेस अपनी हार की समीक्षा करने जा रही है. वहीं, राजद के वरिष्ठ नेता आरजेडी के वरिष्ठ नेता उदय नारायण चौधरी ने सीएम नीतीश कुमार को ऑफर देते हुए महागठबंधन में शामिल होने की बात कही. इसके बाद से लगातार ठंड के मौसम में बिहार की सियासत गर्म है.
'नीतीश कुमार कहते थे मिट्टी में मिल जाएंगे लेकिन कभी बीजेपी में नहीं जाएंगे. आज वही बीजेपी उन्हें मिट्टी में मिलाने पर लगी हुई है. ऐसे में उन्हें महागठबंधन में वापस आ जाना चाहिए और तेजस्वी को मुख्यमंत्री बना देना चाहिए.नीतीश कुमार को दिल्ली जाना चाहिए और वहां की राजनीति में सक्रिय हो जाना चाहिए. वो पीएम कैंडिडेट बनें. हम सभी उनका साथ देंगे.'- उदय नारायण चौधरी, वरिष्ठ नेता राजद