पटनाः माध्यमिक और उच्च माध्यमिक शिक्षकों के छठे चरण के नियोजन की प्रक्रिया तत्काल प्रभाव से स्थगित (Secondary Shikshak Niyojan Postponded) कर दी गई है. शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी ने इसकी जानकारी दी है. पटना हाईकोर्ट (Patna Highcourt) के आदेश के बाद शिक्षा विभाग (Bihar Education Department) ने सभी जिलों को नियोजन की प्रक्रिया को तत्काल रोकने का आदेश दिया है. बता दें कि 32,714 पदों के लिए 17 और 18 फरवरी को नियोजन पत्र देने की तैयारी आखिरी चरण में थी.
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दरअसल, बिहार में साल 2019 में माध्यमिक और उच्च माध्यमिक स्कूलों में 32,714 पदों के लिए शिक्षक नियोजन की प्रक्रिया शुरू हुई थी. विभिन्न कारणों से स्थगित होते हुए फरवरी में 17 और 18 फरवरी को छठे चरण के इस नियोजन प्रक्रिया के तहत चयनित अभ्यर्थियों को नियोजन पत्र देने की तैयारी चल रही थी, लेकिन इसी बीच पटना हाईकोर्ट के आदेश के बाद छठे चरण के माध्यमिक उच्च माध्यमिक शिक्षकों के नियोजन को तत्काल प्रभाव से रोकने का आदेश शिक्षा विभाग ने जारी किया है.
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शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी ने बताया कि 2 दिन पहले पटना हाईकोर्ट ने वर्ष 2011 में एसटीइटी पास करने वाले अभ्यर्थियों की याचिका पर सुनवाई करते हुए यह आदेश जारी किया है. छठे चरण के माध्यमिक उच्च माध्यमिक शिक्षक नियोजन में वर्ष 2011 में एसटीइटी पास करने वाले अभ्यर्थियों को भी आवेदन देने का मौका देने का आदेश जारी किया है.
शिक्षा मंत्री ने कहा कि फिलहाल पटना हाईकोर्ट के आदेश को लेकर नियोजन की प्रक्रिया स्थगित कर दी गई है, लेकिन सरकार की तरफ से हाईकोर्ट में अपना पक्ष रखा जाएगा और यह बताया जाएगा कि इस नियोजन की प्रक्रिया के तहत अब नियोजन पत्र देने की तैयारी आखिरी चरण में है. उसके बाद कोर्ट का जो आदेश होगा उस पर सरकार अमल करेगी.
उन्होंने बताया कि वर्ष 2011 में एसटीईटी पास करने वाले अभ्यर्थियों के सर्टिफिकेट की वैलिडिटी 2 साल बढ़ाने के बाद भी वर्ष 2019 में समाप्त हो गई थी. इसलिए वे छठे चरण के माध्यमिक उच्च माध्यमिक शिक्षकों के नियोजन की प्रक्रिया में शामिल नहीं हो पाए थे. लेकिन, कुछ समय पहले एनसीटीई ने शिक्षक पात्रता परीक्षा के सर्टिफिकेट की वैलिडिटी बढ़ाकर लाइफटाइम कर दी है.
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लेकिन लाइफटाइम वैलिडिटी भी तब तक मानी जाएगी जब तक अभ्यर्थियों की उम्र सीमा समाप्त नहीं होती है. यही वजह है कि वर्ष 2011 में एसटीइटी पास करने वाले अभ्यर्थियों ने पटना हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी और इस पर पटना हाईकोर्ट ने उन्हें भी छठे चरण के तहत मौका देने का आदेश जारी किया है.
ऐसे में फिलहाल छठे चरण के तहत माध्यमिक और उच्च माध्यमिक शिक्षकों के नियोजन की प्रक्रिया तत्काल प्रभाव से स्थगित हो गई है. इससे उन हजारों अभ्यर्थियों को निराशा हाथ लगी है जो 17 और 18 फरवरी को विभिन्न नियोजन इकाइयों में नियोजन पत्र लेकर शिक्षक बनने का इंतजार कर रहे थे.
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