पटना: आज से छठे चरण में प्राथमिक शिक्षकों के नियोजन (Bihar Shikshak Niyojan) के दूसरे चरण की काउंसिलिंग (counseling) शुरू हो रही है. दूसरे चरण में करीब 65 हजार पदों के लिए काउंसिलिंग होनी है. आज केवल नगर निकायों में काउंसिलिंग होगी, जो वर्ग 6 से 8 के लिए जिला मुख्यालय पर सामाजिक विज्ञान विषय की होगी.
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7 से 10 अगस्त तक प्रखंड नियोजन इकाइयों की काउंसिलिंग जिला मुख्यालय में होगी. जबकि 13 अगस्त को पंचायत नियोजन इकाइयों की काउंसिलिंग प्रखंड मुख्यालय में होगी. दरअसल, इस बार सामाजिक विज्ञान विषय के लिए अलग से एक दिन दिया गया है. क्योंकि कुल अभ्यर्थियों में अकेले इस विषय के लिए पचास फीसदी से अधिक अभ्यर्थी हैं. अभी तक सभी विषयों की एक साथ काउंसिलिंग करायी जाती थी.
जानकारी के मुताबिक काउंसिलिंग के दौरान प्राथमिक शिक्षा निदेशालय की तरफ से कंट्रोल रूम एक्टिव रहेगा. ऑनलाइन विशेषकर यू-ट्यूब के जरिये भी मॉनिटरिंग जारी रहेगी. इस चरण में पहले चरण में आयी कठिनाइयों से सीख लेते हुए शिक्षा विभाग ने कई सावधानियां रखे जाने के लिए शिक्षा जिला पदाधिकारियों को निर्देश दिया है.
कक्षा 6 से 8 के अन्य विषयों के लिए 4 अगस्त को नगर निकायों में काउंसिलिंग होगी. जबकि 5 अगस्त को कक्षा 1 से 5 की काउंसिलिंग नगर निकायों में होगी. दूसरे चरण की काउंसिलिंग 13 अगस्त तक होगी. महत्वपूर्ण बात ये कि दूसरे फेज में 29 जुलाई तक जिस नियोजन इकाई की तरफ से मेधा सूची जारी कर दी गयी है, केवल उन्हीं नियोजन इकाइयों में काउंसिलिंग करायी जायेगी.
जुलाई में जिन नियोजन इकाइयों की काउंसिलिंग प्रक्रिया पूरी नहीं हो पायी थी, वहां काउंसिलिंग तभी होगी, जब वहां अंतिम मेधा सूची प्रकाशित हो चुकी हो. जिन इकाइयों में चयन सूची में गड़बड़ी पाये जाने पर काउंसिलिंग प्रक्रिया रद्द या स्थगित कर दी गयी थी, वहां भी शर्तें पूरी होने पर काउंसलिंग होगी.
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शिक्षक नियोजन हेतु काउंसिलिंग प्रक्रिया में शामिल होने वाले अभ्यर्थियों को अपने साथ फोटो युक्त पहचान पत्र लाना होगा. काउंसलिंग प्रक्रिया में केवल वही अभ्यर्थी शामिल हो पाएंगे, जिनका नाम नियोजन इकाई द्वारा अनुमोदित और सार्वजनिक मेधा सूची में होगा. यह सूची www.munger.nic.in पर उपलब्ध है.
अभ्यर्थियों को अपने साथ शैक्षणिक योग्यता से संबंधित अंक पत्र एवं प्रमाण पत्र, प्रशिक्षण का अंकपत्र एवं प्रमाण पत्र, टीईटी का अंकपत्र, आरक्षित कोटि के लिए जाति प्रमाण-पत्र, आवासीय प्रमाण पत्र, स्वतंत्रता सेनानी के लिए उत्तराधिकारी होने का प्रमाण पत्र, दिव्यांग का प्रमाण पत्र और ईडब्ल्यूएस से संबंधित प्रमाण पत्र की मूल प्रति एवं सभी की स्व अभिप्रमाणित 2 छाया प्रति काउंसिलिंग के समय लेकर आना होगा.
काउंसिलिंग के क्रम में चयनित अभ्यर्थियों का शैक्षणिक प्रमाण पत्र व शिक्षक पात्रता परीक्षा का मूल प्रमाण-पत्र जमा कर लिया जाएगा. जिसे बाद में वापस कर दिया जाएगा. इसके बाद शिक्षा विभाग द्वारा सभी प्रमाण पत्रों को वेब पोर्टल पर अपलोड कर दिया जाएगा.
बता दें कि बिहार के करीब 100 से ज्यादा नगर निकाय, करीब 400 प्रखंड और करीब 4000 पंचायत नियोजन इकाइयों में करीब 65000 शिक्षक पदों के लिए काउंसिलिंग (Bihar Shikshak Niyojan Counseling) की प्रक्रिया होनी है.
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