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फेस्टिव सीजन में लोगों की लापरवाही से बढ़ा कोरोना की दूसरी लहर का खतरा- डॉ. मनोज कुमार सिन्हा - लोगों में जागरूकता की कमी

दुनिया के कई हिस्सों में कोरोना संकट बढ़ चुका है. भारत के अधिकांश हिस्सों में भी यह देखने को मिल रहा है. कई राज्य संक्रमण को रोकने के लिए रात्रि कर्फ्यू भी लगा चुके हैं. डॉक्टर दिसंबर के महीने में बिहार में कोरोना संकट की प्रबल आशंका जता रहे हैं.

डॉ.मनोज कुमार सिन्हा
डॉ.मनोज कुमार सिन्हा
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Published : Nov 23, 2020, 5:28 PM IST

पटना: जिस तरह दुनियाभर में कोरोना की दूसरी लहर देखने को मिल रही है उसी तरह बिहार में भी डॉक्टर कोरोना संकट बढ़ने की आशंका जता रहे हैं. न्यू गार्डिनर रोड हॉस्पिटल के अधीक्षक डॉ.मनोज कुमार सिन्हा ने बताया कि फेस्टिव सीजन में बिहार में लोगों ने काफी लापरवाही बरती है. जिसके कारण आने वाले दिनों में कोरोना भी बढ़ सकता है.

बिहार में बढ़ सकता है कोरोना
डॉ.मनोज कुमार सिन्हा ने कहा कि दशहरा, दीपावली और छठ में लोगों की काफी गैदरिंग हुई है. इस दौरान संक्रमण से बचाव के जो तीन प्रमुख प्रोटोकॉल हैं जैसे कि मास्क पहनना, एक दूसरे से प्रॉपर डिस्टेंसिंग मेंटेन करना और सेनिटाइजेशन का पालन नहीं हुआ है. उन्होंने कहा कि ठंड के मौसम में कोई भी संक्रमण की बीमारी ज्यादा फैलती है. ऐसे में दिसंबर के महीने में कोरोना की दूसरी लहर आने की प्रबल संभावना बन रही है.

बढ़ा कोरोना की दूसरी लहर का खतरा

लोगों में जागरूकता की कमी
शहरी क्षेत्रों में कोरोना के बचाव के नियमों के प्रति लोगों में थोड़ी बहुत जागरूकता दिख रही है, लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में ये ना के बराबर है. डॉक्टर मनोज कुमार सिन्हा ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों में अवेयरनेस की कमी है मगर वहां जनसंख्या घनत्व कम है इसलिए संक्रमण काबू में है.

पटना बना कोरोना का हॉटस्पॉट
राजधानी पटना बिहार में कोरोना का हॉटस्पॉट बना हुआ है. आए दिन यहां 100 से अधिक संक्रमित मरीज मिल रहे हैं. ग्रामीण क्षेत्रों, दूसरे प्रदेशों और विदेशों से भी बिहार में प्रतिदिन सर्वाधिक लोग पटना में ही आते हैं. इसलिए यहां इस स्तर पर संक्रमण फैलने की ये प्रमुख वजह है.

प्रोटोकॉल से ही कोरोना से बचाव
डॉक्टर ने कहा कि कोरोना से बचाव का एकमात्र उपाय तीन प्रमुख प्रोटोकॉल है. उसका गंभीरता से पालन करें जैसे कि चेहरे पर मास्क का उपयोग, एक दूसरे से प्रॉपर डिस्टेंसिंग मेंटेन करना और नियमित हाथों को सेनिटाइज करते रहना. इन तीन प्रमुख प्रोटोकॉल से ही हम कोरोना को हरा सकते हैं.

पटना: जिस तरह दुनियाभर में कोरोना की दूसरी लहर देखने को मिल रही है उसी तरह बिहार में भी डॉक्टर कोरोना संकट बढ़ने की आशंका जता रहे हैं. न्यू गार्डिनर रोड हॉस्पिटल के अधीक्षक डॉ.मनोज कुमार सिन्हा ने बताया कि फेस्टिव सीजन में बिहार में लोगों ने काफी लापरवाही बरती है. जिसके कारण आने वाले दिनों में कोरोना भी बढ़ सकता है.

बिहार में बढ़ सकता है कोरोना
डॉ.मनोज कुमार सिन्हा ने कहा कि दशहरा, दीपावली और छठ में लोगों की काफी गैदरिंग हुई है. इस दौरान संक्रमण से बचाव के जो तीन प्रमुख प्रोटोकॉल हैं जैसे कि मास्क पहनना, एक दूसरे से प्रॉपर डिस्टेंसिंग मेंटेन करना और सेनिटाइजेशन का पालन नहीं हुआ है. उन्होंने कहा कि ठंड के मौसम में कोई भी संक्रमण की बीमारी ज्यादा फैलती है. ऐसे में दिसंबर के महीने में कोरोना की दूसरी लहर आने की प्रबल संभावना बन रही है.

बढ़ा कोरोना की दूसरी लहर का खतरा

लोगों में जागरूकता की कमी
शहरी क्षेत्रों में कोरोना के बचाव के नियमों के प्रति लोगों में थोड़ी बहुत जागरूकता दिख रही है, लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में ये ना के बराबर है. डॉक्टर मनोज कुमार सिन्हा ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों में अवेयरनेस की कमी है मगर वहां जनसंख्या घनत्व कम है इसलिए संक्रमण काबू में है.

पटना बना कोरोना का हॉटस्पॉट
राजधानी पटना बिहार में कोरोना का हॉटस्पॉट बना हुआ है. आए दिन यहां 100 से अधिक संक्रमित मरीज मिल रहे हैं. ग्रामीण क्षेत्रों, दूसरे प्रदेशों और विदेशों से भी बिहार में प्रतिदिन सर्वाधिक लोग पटना में ही आते हैं. इसलिए यहां इस स्तर पर संक्रमण फैलने की ये प्रमुख वजह है.

प्रोटोकॉल से ही कोरोना से बचाव
डॉक्टर ने कहा कि कोरोना से बचाव का एकमात्र उपाय तीन प्रमुख प्रोटोकॉल है. उसका गंभीरता से पालन करें जैसे कि चेहरे पर मास्क का उपयोग, एक दूसरे से प्रॉपर डिस्टेंसिंग मेंटेन करना और नियमित हाथों को सेनिटाइज करते रहना. इन तीन प्रमुख प्रोटोकॉल से ही हम कोरोना को हरा सकते हैं.

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