पटना: कोरोना वायरस के कारण देश में लॉकडाउन है. ऐसे में लोगों को राहत देने के लिए केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आर्थिक पैकेज को लेकर शनिवार को चौथी बार प्रेस कॉन्फ्रेंस किया. उन्होंने कहा कि रक्षा उत्पादन में एफडीआई की सीमा 49% से बढ़ाकर 74% की गई है. इसी को लेकर बीएसएफ के रिटायर्ड कमांडेंट ललन सिंह ने ईटीवी भारत से बातचीत की.
बीएसएफ के रिटायर्ड कमांडेंट ललन सिंह ने रक्षा बजट की सराहना की है. उन्होंने कहा कि तीनों सेनाओं को ध्यान में रखकर यह बजट बनाया गया है. आने वाले दिनों में बहुत लाभदायक होगा.
'बजट में की गई है बढ़ोतरी'
ललन सिंह ने कहा कि केंद्रीय वित्त मंत्री द्वारा प्रेस कांफ्रेंस के माध्यम से रक्षा बजट पेश किया. उन्होंने कहा कि देश के तत्कालीन वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण पहले रक्षा मंत्रालय संभाल चुकी हैं. इस वजह से उन्होंने जो बजट पेश किया है. वह तीनों सेनाओं के हित में है. पिछले साल की तुलना में इस बार बजट में बढ़ोतरी की गई है. उन्होंने कहा कि स्थल सेना के आधुनिकीकरण के लिए रक्षा उत्पादन में मेक इन इंडिया पर जोर दिया गया है, जिससे आने वाले दिनों में नए तरह के हथियार, टैंक और तोप खरीदे जाएंगे. यह बहुत सराहनीय कदम है. साथ ही कहा कि तीनों सेनाओं के तालमेल को लेकर आधुनिकरण के क्षेत्र में हम आगे बढ़ेंगे.
'दुश्मनों से घिरी हुई देश'
बीएसएफ के रिटायर्ड कमांडेंट ने बताया कि इस समय भारत की जो स्थिति है. वह इस समय दोनों तरफ से दुश्मनों से घिरी हुई है. साथ ही साथ आतंकवाद एक बड़ा मुद्दा है. इसलिए इस बजट से ऐसा प्लान बनाना चाहिए कि भारत इन दोनों दुश्मनों पर चौकस और अपनी ताकत के साथ दुश्मनों से मुकाबला कर सके. साथ ही उन्होंने कहा कि 12 लाख फौज की कैपेसिटी है. उनके लिए यह बजट बहुत ही अच्छा है, लेकिन दूसरे देश के मुताबिक भारत के जीडीपी का 1.54 पूरे बजट का रक्षा पर खर्च होता है.