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Patna High Court News : खुले में मांस-मछली की बिक्री को लेकर कोर्ट ने पटना नगर निगम से मांगा जवाब

खुले में मांस मछली की बिक्री के विरुद्ध पटना हाईकोर्ट में दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान पटना नगर निगम से इस मामले में जवाब मांगा गया है. इसके साथ ही अगली सुनवाई की तारीख 27 सितंबर दी गई है. पढ़ें पूरी खबर..

पटना हाईकोर्ट
पटना हाईकोर्ट
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By ETV Bharat Bihar Team

Published : Sep 5, 2023, 3:42 PM IST

पटना : पटना हाईकोर्ट ने राजधानी सहित राज्य के अन्य क्षेत्रों में खुलेआम नियमों का उल्लंघन कर मांस- मछली बेचने पर पाबन्दी लगाने सम्बंधित जनहित याचिका पर सुनवाई की. इस दौरान हाईकोर्ट ने 27 सितम्बर तक पटना नगर निगम को इस मामले पर जवाब देने का निर्देश दिया है. चीफ जस्टिस केवी चन्द्रन की खंडपीठ इस जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही है. पिछली सुनवाई में भी कोर्ट ने इस बारे में पटना नगर निगम को विस्तृत जानकारी देने के लिए समय दिया था.

ये भी पढ़ें : पटना: खुले में ही हो रही मांस-मछली की बिक्री, शहर कैसे बनेगा स्मार्ट

आधुनिक बूचड़खाने के लिए हो रहे स्थान चिह्नित : पटना नगर निगम की ओर से कोर्ट को बताया गया था कि आधुनिक बूचड़खाने के निर्माण और विकास के लिए स्थानों को चिह्नित कर लिया गया है. साथ ही निविदा की कार्रवाई की जा रही है. पूरा ब्यौरा प्रस्तुत करने के लिए पटना नगर निगम ने तीन सप्ताह की मोहलत मांगी, जिसे कोर्ट ने मंजूर कर लिया था. ये जनहित याचिका अधिवक्ता संजीव कुमार मिश्र ने दायर की है.

खुले में चल रहे बूचड़खाना तत्काल बंद हो : सुनवाई में अधिवक्ता अंकिता कुमारी ने कोर्ट को बताया कि पटना समेत राज्य विभिन्न क्षेत्रों में अस्वास्थ्यकर और नियमों के विरुद्ध मांस मछली काटे और बेचे जाते हैं. उन्होंने कहा कि इससे जहां आम आदमी के स्वास्थ्य पर पर बुरा असर पड़ता है, वहीं खुले में इस तरह से जानवरों के काटे जाने से छोटे लड़कों के मन पर बुरा प्रभाव पड़ता है. याचिकाकर्ता की वकील ने कोर्ट से यह भी आग्रह किया कि खुले में और अवैध रूप से चलने वाले बूचड़खानों को नगर निगम को तत्काल बंद कराना चाहिए.

पटना के कई इलाकों में हो रहा नियमों का उल्लंघन : अंकिता कुमारी ने कोर्ट को बताया कि पटना के राजा बाजार, पाटलिपुत्रा, राजीव नगर, बोरिंग केनाल रोड, कुर्जी, दीघा, गोला रोड, कंकड़बाग आदि क्षेत्रों में नियमों का उल्लंघन कर खुले में मांस-मछ्ली की बिक्री होती है. अधिवक्ता अंकिता कुमारी ने कोर्ट को जानकारी दी कि अस्वस्थ और बगैर उचित प्रमाणपत्र के ही जानवरों को मार कर इनका मांस बेचा जाता है, जो कि जनता के स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है.

27 सितंबर को होगी अगली सुनवाई : अधिवक्ता का कहना था कि शुद्ध और स्वस्थ मांस मछ्ली उपलब्ध कराने के लिए सरकार को आधुनिक सुविधाओं के साथ बूचड़खाने बनाना चाहिए, ताकि मांस मछली बेचने वालोंं को भी सुविधा मिले. याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता अंकिता कुमारी और संजीव मिश्रा ने कोर्ट के समक्ष पक्षों को प्रस्तुत किया. इस मामलें पर अब अगली सुनवाई 27 सितम्बर, 2023 को होगी.

पटना : पटना हाईकोर्ट ने राजधानी सहित राज्य के अन्य क्षेत्रों में खुलेआम नियमों का उल्लंघन कर मांस- मछली बेचने पर पाबन्दी लगाने सम्बंधित जनहित याचिका पर सुनवाई की. इस दौरान हाईकोर्ट ने 27 सितम्बर तक पटना नगर निगम को इस मामले पर जवाब देने का निर्देश दिया है. चीफ जस्टिस केवी चन्द्रन की खंडपीठ इस जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही है. पिछली सुनवाई में भी कोर्ट ने इस बारे में पटना नगर निगम को विस्तृत जानकारी देने के लिए समय दिया था.

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आधुनिक बूचड़खाने के लिए हो रहे स्थान चिह्नित : पटना नगर निगम की ओर से कोर्ट को बताया गया था कि आधुनिक बूचड़खाने के निर्माण और विकास के लिए स्थानों को चिह्नित कर लिया गया है. साथ ही निविदा की कार्रवाई की जा रही है. पूरा ब्यौरा प्रस्तुत करने के लिए पटना नगर निगम ने तीन सप्ताह की मोहलत मांगी, जिसे कोर्ट ने मंजूर कर लिया था. ये जनहित याचिका अधिवक्ता संजीव कुमार मिश्र ने दायर की है.

खुले में चल रहे बूचड़खाना तत्काल बंद हो : सुनवाई में अधिवक्ता अंकिता कुमारी ने कोर्ट को बताया कि पटना समेत राज्य विभिन्न क्षेत्रों में अस्वास्थ्यकर और नियमों के विरुद्ध मांस मछली काटे और बेचे जाते हैं. उन्होंने कहा कि इससे जहां आम आदमी के स्वास्थ्य पर पर बुरा असर पड़ता है, वहीं खुले में इस तरह से जानवरों के काटे जाने से छोटे लड़कों के मन पर बुरा प्रभाव पड़ता है. याचिकाकर्ता की वकील ने कोर्ट से यह भी आग्रह किया कि खुले में और अवैध रूप से चलने वाले बूचड़खानों को नगर निगम को तत्काल बंद कराना चाहिए.

पटना के कई इलाकों में हो रहा नियमों का उल्लंघन : अंकिता कुमारी ने कोर्ट को बताया कि पटना के राजा बाजार, पाटलिपुत्रा, राजीव नगर, बोरिंग केनाल रोड, कुर्जी, दीघा, गोला रोड, कंकड़बाग आदि क्षेत्रों में नियमों का उल्लंघन कर खुले में मांस-मछ्ली की बिक्री होती है. अधिवक्ता अंकिता कुमारी ने कोर्ट को जानकारी दी कि अस्वस्थ और बगैर उचित प्रमाणपत्र के ही जानवरों को मार कर इनका मांस बेचा जाता है, जो कि जनता के स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है.

27 सितंबर को होगी अगली सुनवाई : अधिवक्ता का कहना था कि शुद्ध और स्वस्थ मांस मछ्ली उपलब्ध कराने के लिए सरकार को आधुनिक सुविधाओं के साथ बूचड़खाने बनाना चाहिए, ताकि मांस मछली बेचने वालोंं को भी सुविधा मिले. याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता अंकिता कुमारी और संजीव मिश्रा ने कोर्ट के समक्ष पक्षों को प्रस्तुत किया. इस मामलें पर अब अगली सुनवाई 27 सितम्बर, 2023 को होगी.

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