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पटना हाईकोर्ट ने शिक्षण संस्थानों द्वारा सामान्य महिला और SC/ST से वसूले गए शुल्क लौटाने के दिए आदेश - Public interest litigation

पटना हाईकोर्ट में आज एक जनहित याचिका पर सुनवाई की गई. सुनवाई के दौरान कोर्ट ने सामान्य महिला, एससी-एसटी उम्मीदवारों से शिक्षण संस्थाओं में प्रवेश, शिक्षण व अन्य लिए गए शुल्कों को एक सप्ताह के भीतर लौटाने का निर्देश राज्य के मुख्य सचिव को दिया है.

patna high court decision
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Published : Jul 12, 2021, 6:36 PM IST

पटना: पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) ने आज एक अहम मामले की सुनवाई की. कोर्ट ने सामान्य महिला, एससी-एसटी (SC-ST) उम्मीदवारों से शिक्षण संस्थाओं में प्रवेश, शिक्षण और अन्य लिए गए शुल्कों को एक हफ्ते के भीतर लौटाने का निर्देश राज्य के मुख्य सचिव को दिया है. रंजीत पंडित की जनहित याचिका (Public interest litigation) पर चीफ जस्टिस संजय करोल (Chief Justice Sanjay Karol) की खंडपीठ ने सुनवाई करते हुए ये निर्देश दिया है.

यह भी पढ़ें- पटना HC में राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन, 195 मामलों पर हुई सुनवाई

इस याचिका में यह कहा गया कि महिला, एससी, एसटी उम्मीदवारों से स्नातकोत्तर स्तर तक प्रवेश, शिक्षण और अन्य शुल्क नहीं लिए जाने का निर्णय लिया गया था. यह निर्णय राज्य सरकार ने 24 जुलाई, 2015 को लिया था.

लेकिन राज्य सरकार के निर्णय का उल्लघंन करते हुए विश्वविद्यालयों और कालेजों ने इन श्रेणी के उम्मीदवारों से सभी प्रकार के शुल्क लिए. इस पर पटना हाईकोर्ट ने इन श्रेणी के उम्मीदवारों को सारे लिए गए शुल्कों को एक सप्ताह में लौटाने का निर्देश राज्य सरकार को दिया है.

साथ ही कोर्ट (Patna High Court Decision) ने राज्य सरकार को यह भी सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है कि आगे से इन श्रेणियों के उम्मीदवारों से प्रवेश, शिक्षण व अन्य किसी तरह के शुल्क स्नातकोत्तर स्तर तक नहीं लिए जाएं. इस मामले पर अगली सुनवाई अगले सप्ताह बाद की जाएगी.

पटना: पटना हाईकोर्ट (Patna High Court) ने आज एक अहम मामले की सुनवाई की. कोर्ट ने सामान्य महिला, एससी-एसटी (SC-ST) उम्मीदवारों से शिक्षण संस्थाओं में प्रवेश, शिक्षण और अन्य लिए गए शुल्कों को एक हफ्ते के भीतर लौटाने का निर्देश राज्य के मुख्य सचिव को दिया है. रंजीत पंडित की जनहित याचिका (Public interest litigation) पर चीफ जस्टिस संजय करोल (Chief Justice Sanjay Karol) की खंडपीठ ने सुनवाई करते हुए ये निर्देश दिया है.

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इस याचिका में यह कहा गया कि महिला, एससी, एसटी उम्मीदवारों से स्नातकोत्तर स्तर तक प्रवेश, शिक्षण और अन्य शुल्क नहीं लिए जाने का निर्णय लिया गया था. यह निर्णय राज्य सरकार ने 24 जुलाई, 2015 को लिया था.

लेकिन राज्य सरकार के निर्णय का उल्लघंन करते हुए विश्वविद्यालयों और कालेजों ने इन श्रेणी के उम्मीदवारों से सभी प्रकार के शुल्क लिए. इस पर पटना हाईकोर्ट ने इन श्रेणी के उम्मीदवारों को सारे लिए गए शुल्कों को एक सप्ताह में लौटाने का निर्देश राज्य सरकार को दिया है.

साथ ही कोर्ट (Patna High Court Decision) ने राज्य सरकार को यह भी सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है कि आगे से इन श्रेणियों के उम्मीदवारों से प्रवेश, शिक्षण व अन्य किसी तरह के शुल्क स्नातकोत्तर स्तर तक नहीं लिए जाएं. इस मामले पर अगली सुनवाई अगले सप्ताह बाद की जाएगी.

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