ETV Bharat / state

ज्ञापन सौंपने पहुंचा महागठबंधन तो लापता हुए DM, मांझी ने नीतीश सरकार पर साधा निशाना

'कोई भी व्यक्ति या व्यक्ति का समूह किसी अधिकारी के पास किसी तरह की शिकायत लेकर पहुंचता है, तो उस अधिकारी को उसकी बात सुननी चाहिए. लेकिन जिस तरह से नीतीश कुमार के अधिकारी मुख्यमंत्री, पूर्व केंद्रीय मंत्री सहित कई महत्वपूर्ण लोगों की भी बात नहीं सुन रहे, तो आम जनता का क्या हाल होगा.'

महागठबंधन का प्रदर्शन
author img

By

Published : Nov 13, 2019, 6:13 PM IST

पटना: राजधानी पटना के गांधी मैदान में महागठबंधन के तमाम नेताओं ने एक साथ प्रदर्शन किया. इस प्रदर्शन में पूर्व सीएम जीतन राम मांझी, पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा, पूर्व मंत्री मदन मोहन झा और वीआईपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मुकेश सहनी समेत सीपीआई, सीपीएम के नेता मौजूद रहे. वहीं, अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन पर उतरे नेताओं ने जब ज्ञापन डीएम को सौंपना चाहा, तो वो मजिस्ट्रेट को जिम्मेदारी सौंप दफ्तर से चले गए.

महागठबंधन ने कई मुद्दों को लेकर राज्य सरकार के खिलाफ धरना प्रदर्शन किया. इस मौके पर मौजूद पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने कहा कि पटना डीएम एक मजिस्ट्रेट को जिम्मेवारी सौंप कर दफ्तर से बाहर चले गए हैं. पटना डीएम का इस तरह का रवैया घोर निंदनीय है. मांझी ने कहा कि जब पूर्व मुख्यमंत्री, पूर्व केंद्रीय मंत्री और पूर्व मंत्री सहित कई बड़े नेता अपना ज्ञापन लेकर उनके पास पहुंचे, तो उन्हें ज्ञापन लेने के लिए दफ्तर में मौजूद रहना चाहिए था.

क्या बोले मांझी और मदन मोहन झा

नीतीश कुमार पर साधा निशाना
मांझी ने सीएम नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए कहा कि इससे सीएम की कार्यप्रणाली का पता चलता है. मांझी ने कहा कि ऐसा बिना विकल्प के करना गलत है. डीएम के ज्ञापन न लेने को पर कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा ने इसे लोकतंत्र का अपमान बताया है. उन्होंने कहा कि महागठबंधन तो आता-जाता रहेगा. लेकिन, अगर कोई भी व्यक्ति या व्यक्ति का समूह किसी अधिकारी के पास किसी तरह की शिकायत लेकर पहुंचता है, तो उस अधिकारी को उसकी बात सुननी चाहिए. लेकिन जिस तरह से नीतीश कुमार के अधिकारी मुख्यमंत्री पूर्व केंद्रीय मंत्री सहित कई महत्वपूर्ण लोगों की भी बात नहीं सुन रहे, तो आम जनता का क्या हाल होगा. यह समझना बहुत मुश्किल नहीं है.

पटना: राजधानी पटना के गांधी मैदान में महागठबंधन के तमाम नेताओं ने एक साथ प्रदर्शन किया. इस प्रदर्शन में पूर्व सीएम जीतन राम मांझी, पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा, पूर्व मंत्री मदन मोहन झा और वीआईपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मुकेश सहनी समेत सीपीआई, सीपीएम के नेता मौजूद रहे. वहीं, अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन पर उतरे नेताओं ने जब ज्ञापन डीएम को सौंपना चाहा, तो वो मजिस्ट्रेट को जिम्मेदारी सौंप दफ्तर से चले गए.

महागठबंधन ने कई मुद्दों को लेकर राज्य सरकार के खिलाफ धरना प्रदर्शन किया. इस मौके पर मौजूद पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने कहा कि पटना डीएम एक मजिस्ट्रेट को जिम्मेवारी सौंप कर दफ्तर से बाहर चले गए हैं. पटना डीएम का इस तरह का रवैया घोर निंदनीय है. मांझी ने कहा कि जब पूर्व मुख्यमंत्री, पूर्व केंद्रीय मंत्री और पूर्व मंत्री सहित कई बड़े नेता अपना ज्ञापन लेकर उनके पास पहुंचे, तो उन्हें ज्ञापन लेने के लिए दफ्तर में मौजूद रहना चाहिए था.

क्या बोले मांझी और मदन मोहन झा

नीतीश कुमार पर साधा निशाना
मांझी ने सीएम नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए कहा कि इससे सीएम की कार्यप्रणाली का पता चलता है. मांझी ने कहा कि ऐसा बिना विकल्प के करना गलत है. डीएम के ज्ञापन न लेने को पर कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा ने इसे लोकतंत्र का अपमान बताया है. उन्होंने कहा कि महागठबंधन तो आता-जाता रहेगा. लेकिन, अगर कोई भी व्यक्ति या व्यक्ति का समूह किसी अधिकारी के पास किसी तरह की शिकायत लेकर पहुंचता है, तो उस अधिकारी को उसकी बात सुननी चाहिए. लेकिन जिस तरह से नीतीश कुमार के अधिकारी मुख्यमंत्री पूर्व केंद्रीय मंत्री सहित कई महत्वपूर्ण लोगों की भी बात नहीं सुन रहे, तो आम जनता का क्या हाल होगा. यह समझना बहुत मुश्किल नहीं है.

Intro:पटना डीएम ने महागठबंधन का मेमोरेंडम नहीं लिया। इससे नाराज होकर महागठबंधन के नेताओं ने नहीं सौंपा।
दरअसल राजधानी पटना के गांधी मैदान से विपक्ष के तमाम नेताओं ने प्रदर्शन किया। इस प्रदर्शन में पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी, पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा, पूर्व मंत्री मदन मोहन झा, वीआईपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मुकेश सहनी और सीपीआई सीपीएम के नेता मौजूद थे।


Body:महागठबंधन के तमाम नेता कई मुद्दों को लेकर राज्य सरकार के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे थे। इस मौके पर मौजूद पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने कहा कि पटना डीएम एक मजिस्ट्रेट को जिम्मेवारी सौंप कर दफ्तर से बाहर चले गए हैं।
पटना डीएम का इस तरह का रवैया घोर निंदनीय है। माझी ने कहा कि जब पूर्व मुख्यमंत्री पूर्व केंद्रीय मंत्री और पूर्व मंत्री सहित कई बड़े नेता अपना ज्ञापन लेकर उनके पास पहुंचे तो उन्हें ज्ञापन लेने के लिए दफ्तर में मौजूद रहना चाहिए था।
उन्होंने कहा कि इसी से नीतीश कुमार के कार्य प्रणाली का पता चलता है। पटना डीएम किसी अतिक्रमण के लिए बाहर गए हुए हैं। मांझी ने कहा कि गरीब गुरुओं को बिना उचित व्यवस्था के उजाड़ ना बिल्कुल गलत है।


Conclusion:इस मौके पर कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा ने इसे लोकतंत्र का अपमान बताया है। उन्होंने कहा कि महागठबंधन तो आते जाते रहेंगे । लेकिन अगर कोई भी व्यक्ति या व्यक्ति का समूह किसी अधिकारी के पास किसी तरह का शिकायत लेकर पहुंचता है तो उस अधिकारी को उसकी बात सुननी चाहिए। लेकिन जिस तरह से नीतीश कुमार के अधिकारी मुख्यमंत्री पूर्व केंद्रीय मंत्री सहित कई महत्वपूर्ण लोगों की भी बात नहीं सुन रहे। तो आम जनता का क्या हाल होगा यह समझना बहुत मुश्किल नहीं।
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.