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यूरोप के बूडापेस्ट में चल रहे 'आर्ट कॉर्निवल 2023' में बिहार के लाल का कमाल, 43539 बार Zero से उकेरी आकृति

विश्व को भारत ने शून्य दिया, इसकी महत्ता को दर्शाती एक पेंटिंग भारत की ओर से यूरोप के देश बूडापेस्ट में धमाल मचा रही है. दरअसल यह पेंटिंग इतनी खास है कि इसकी विशेषता जानकर हर कोई सुमित सिन्हा की कला का दीवाना हो जा रहा है.

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Published : Aug 12, 2023, 6:07 AM IST

बूडापेस्ट आर्ट कार्निवल 2023 में सुमित की पेटिंग्स का जलवा

पटना : दुनिया को शून्य का ज्ञान भारत ने दिया. बिहार की माटी के लाल आर्यभट्ट ने दुनिया को शून्य का ज्ञान दिया. ऐसे में भारत के इस गौरव का बखान करते हुए बिहार के पटना के बिहटा क्षेत्र के रहने वाले युवक सुमित सिन्हा ने एक शानदार पेंटिंग तैयार की. इस पेंटिंग का टाइटल जीरो है, जिसे यूरोपियन देश हंगरी की राजधानी बुडापेस्ट में चल रहे पेंटिंग एग्जीबिशन 'आर्ट कार्निवल 2023' में टिटॉक गैलेरिया में प्रदर्शित किया गया है.

ये भी पढ़ें- बीएचयू की छात्रा ने बनाई विश्व की पहली फिंगर प्रिंट आधारित गौमाता की तस्वीर, जानिए क्या है खासियत

शून्य से बना दी पेंटिंग : यह पेंटिंग बुडापेस्ट में लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बन गई है, क्योंकि 2x2 की कैनवास शीट पर बारीक तरीके से 43,539 बार शून्य लिखा गया है. इसे बिना लेंस की मदद से नहीं देखा जा सकता. सुमित सिन्हा ने बताया कि शून्य की खोज भारत के आर्यभट्ट ने की थी. ऐसे में इस पेंटिंग में उन्होंने शून्य के माध्यम से भारत की महानता को प्रदर्शित किया है. वह अपने पेंटिंग के माध्यम से बता रहे हैं कि भारत कितना महान रहा है और कितना कुछ भारत ने दुनिया को दिया है.

Budapest art carnival 2023
बूडापेस्ट आर्ट कार्निवल 2023 में सुमित की पेटिंग्स देखते लोग

यूरोप की पेंटिंग एग्जिबिशन में भारत का डंका : इस पेंटिंग को मिनिएचर पेंटिंग कहा जाता है. इस पेंटिंग को बनाने में उन्हें लगभग 3 महीने लगे हैं. वह प्रतिदिन इस पेंटिंग पर 4 से 5 घंटे बैठकर काम करते थे. ब्रश से बहुत ही सूक्ष्म तरीके से शून्य लिखना होता था. इस पेंटिंग में शून्य को मैग्नीफाइंग ग्लास से ही देखा जा सकता है. यूरोप के इस प्रसिद्ध आर्ट एग्जिबिशन आर्ट कार्निवल 2023 में पेंटिंग के प्रति लोगों का अच्छा खासा आकर्षण देखने को मिल रहा है.

पेटिंग में झलकती है भारतीयता : सुमित सिन्हा ने बताया कि पेंटिंग में उन्होंने एक मस्तिष्क बनाया है, एक पुस्तक को डिजाइन किया है. पेंटिंग में उन्होंने दर्जन भर से अधिक किस्म के रंगों का इस्तेमाल किया है. पेंटिंग में जो मस्तिष्क बना है उसके ऊपर भारत का तिरंगा है और उस के माध्यम से वह बता रहे हैं कि भारत बौद्धिक क्षमता में कितना धनी देश रहा है और भारत ने दुनिया को ज्ञान देने का ही काम किया है.

Budapest art carnival 2023
बूडापेस्ट आर्ट कार्निवल 2023 में सुमित की पेटिंग्स

दुनिया को बनाना चाहते हैं अपनी कला का दीवाना : उन्होंने बताया कि इस एग्जीबिशन में विभिन्न देशों के कलाकारों की प्रदर्शनी लगी हुई है. लेकिन, उनके पेंटिंग के बारे में काफी लोग जानना चाह रहे हैं. इससे पहले उन्होंने बिहार में आर्ट एग्जीबिशन में सूक्ष्म तरीके से ओम लिखकर एक पेंटिंग तैयार की थी, जिसके लिए उन्हें शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने एक समारोह में सम्मानित भी किया था. वह अपने पेंटिंग के माध्यम से भारत के गौरव को और यहां के आर्ट को दुनिया में प्रसिद्ध करने की ख्वाहिश रखते हैं और इसी सिलसिले में वह लगे हुए हैं.

बूडापेस्ट आर्ट कार्निवल 2023 में सुमित की पेटिंग्स का जलवा

पटना : दुनिया को शून्य का ज्ञान भारत ने दिया. बिहार की माटी के लाल आर्यभट्ट ने दुनिया को शून्य का ज्ञान दिया. ऐसे में भारत के इस गौरव का बखान करते हुए बिहार के पटना के बिहटा क्षेत्र के रहने वाले युवक सुमित सिन्हा ने एक शानदार पेंटिंग तैयार की. इस पेंटिंग का टाइटल जीरो है, जिसे यूरोपियन देश हंगरी की राजधानी बुडापेस्ट में चल रहे पेंटिंग एग्जीबिशन 'आर्ट कार्निवल 2023' में टिटॉक गैलेरिया में प्रदर्शित किया गया है.

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शून्य से बना दी पेंटिंग : यह पेंटिंग बुडापेस्ट में लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बन गई है, क्योंकि 2x2 की कैनवास शीट पर बारीक तरीके से 43,539 बार शून्य लिखा गया है. इसे बिना लेंस की मदद से नहीं देखा जा सकता. सुमित सिन्हा ने बताया कि शून्य की खोज भारत के आर्यभट्ट ने की थी. ऐसे में इस पेंटिंग में उन्होंने शून्य के माध्यम से भारत की महानता को प्रदर्शित किया है. वह अपने पेंटिंग के माध्यम से बता रहे हैं कि भारत कितना महान रहा है और कितना कुछ भारत ने दुनिया को दिया है.

Budapest art carnival 2023
बूडापेस्ट आर्ट कार्निवल 2023 में सुमित की पेटिंग्स देखते लोग

यूरोप की पेंटिंग एग्जिबिशन में भारत का डंका : इस पेंटिंग को मिनिएचर पेंटिंग कहा जाता है. इस पेंटिंग को बनाने में उन्हें लगभग 3 महीने लगे हैं. वह प्रतिदिन इस पेंटिंग पर 4 से 5 घंटे बैठकर काम करते थे. ब्रश से बहुत ही सूक्ष्म तरीके से शून्य लिखना होता था. इस पेंटिंग में शून्य को मैग्नीफाइंग ग्लास से ही देखा जा सकता है. यूरोप के इस प्रसिद्ध आर्ट एग्जिबिशन आर्ट कार्निवल 2023 में पेंटिंग के प्रति लोगों का अच्छा खासा आकर्षण देखने को मिल रहा है.

पेटिंग में झलकती है भारतीयता : सुमित सिन्हा ने बताया कि पेंटिंग में उन्होंने एक मस्तिष्क बनाया है, एक पुस्तक को डिजाइन किया है. पेंटिंग में उन्होंने दर्जन भर से अधिक किस्म के रंगों का इस्तेमाल किया है. पेंटिंग में जो मस्तिष्क बना है उसके ऊपर भारत का तिरंगा है और उस के माध्यम से वह बता रहे हैं कि भारत बौद्धिक क्षमता में कितना धनी देश रहा है और भारत ने दुनिया को ज्ञान देने का ही काम किया है.

Budapest art carnival 2023
बूडापेस्ट आर्ट कार्निवल 2023 में सुमित की पेटिंग्स

दुनिया को बनाना चाहते हैं अपनी कला का दीवाना : उन्होंने बताया कि इस एग्जीबिशन में विभिन्न देशों के कलाकारों की प्रदर्शनी लगी हुई है. लेकिन, उनके पेंटिंग के बारे में काफी लोग जानना चाह रहे हैं. इससे पहले उन्होंने बिहार में आर्ट एग्जीबिशन में सूक्ष्म तरीके से ओम लिखकर एक पेंटिंग तैयार की थी, जिसके लिए उन्हें शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने एक समारोह में सम्मानित भी किया था. वह अपने पेंटिंग के माध्यम से भारत के गौरव को और यहां के आर्ट को दुनिया में प्रसिद्ध करने की ख्वाहिश रखते हैं और इसी सिलसिले में वह लगे हुए हैं.

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