पटना: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के रांची दौरे को लेकर बिहार की राजनीतिक सरगर्मी तेज हो गई है. एनडीए गठबंधन को लेकर विपक्ष कई अटकलें लगा रहा है. विपक्ष का कहना है कि एनडीए से अलग होने की नीतीश कुमार ने शुरुआत कर दी है. इसका आगाज वो रांची से करेंगे. इधर, बीजेपी का कहना है कि हर पार्टी को राष्ट्रीय स्तर का दर्जा चाहिए. इसलिये जदयू वहां चुनाव लड़ रही हैं. जदयू से बीजेपी का गठबंधन बिहार में है अन्य राज्यों में नहीं.
झारखंड में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर जदयू ने कमर कस ली है. पार्टी लगातार जमीनी स्तर पर काम कर रही है. आज जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार झारखंड में चुनाव को लेकर आगाज करने पहुंचे हैं. इसे लेकर बिहार के राजनीतिक गलियारों में हलचल बढ़ गई है.
विपक्ष ने एनडीए गठबंधन पर साधा निशाना
हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के राष्ट्रीय प्रवक्ता दानिश रिजवान ने कहा कि देश में तथाकथित जो गठबंधन है, वह अब टूटता हुआ दिखाई दे रहा है. उन्होंने कहा कि एनडीए में दरार अब साफ तौर पर दिखाई दे रहा है. मोदी सरकार के तुगलकी फरमान से एनडीए गठबंधन के नेताओं के साथ मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी अब तंग आ चुके हैं. दानिश रिजवान ने कहा कि पीएम मोदी अपना राज्य चला रहे हैं, अपने तुगलकी फरमान देश पर थोप रहे हैं जिसका नतीजा है कि नीतीश कुमार जैसे नेता को अपनी अलग राह चुनने के लिए बीजेपी ने मजबूर कर दिया है. इसलिए उन्होंने झारखंड जाकर विधानसभा चुनाव अलग से लड़ने का फैसला किया है. एनडीए गठबंधन टूटने का सिलसिला झारखंड से शुरू हो गया है और यह पूरे देश में चलेगा. इसीलिए अब एनडीए का बिखरना तय हो चुका है.
'जदयू से बिहार में गठबंधन है अन्य राज्यों में नहीं'
वहीं, मुख्यमंत्री के झारखंड दौरे को लेकर बीजेपी ने कहा कि हर पार्टी की इच्छा होती है कि वो अपनी पार्टी को राष्ट्रीय स्तर का दर्जा दिलाये. जदयू ने भी झारखंड में अलग चुनाव लड़ने का फैसला लिया है. जदयू से बीजेपी का बिहार में गठबंधन है अन्य राज्यों में नहीं. बीजेपी के नेता प्रेम रंजन पटेल ने कहा कि जदयू का यह अपना मामला है, इसलिए नीतीश कुमार की पार्टी वहां अलग चुनाव लड़ेगी. बिहार में जदयू और बीजेपी के गठबंधन में झारखंड को लेकर किसी तरह का अनबन नहीं है.